Posted inप्रेरणादायक कहानियां, सामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

करामाती बाबा-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Social Story: महेश की अचानक मौत के बाद पत्नी करुणा पर तो जैसे मुसीबतों का पहाड़ ही टूट पड़ा। महेश और करूणा की शादी को अभी एक साल भी नहीं हुआ था। एक दिन फैक्ट्री में काम करते समय करंट लग जाने से महेश की अकाल मौत हो गई।महेश की मौत के बाद करूणा […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

स्टेटस—गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Social Story: सुबह की सैर करने के बाद संध्या और अमोल बालकनी में गर्म चाय का आनंद ले रहे थे साथ ही अमोल समाचार पत्र में न्यूज हेडलाइंस भी देखता जा रहा था!!!!चाय की चुस्कियां लेते हुए सन्ध्या ने अमोल से कहा,,,”तुम्हे मेरी सहेली अनुष्का याद है?”!!!“हाँ,, हाँ,, बहुत अच्छे से,,,अभी कुछ महीने पहले […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

कटोरे—कटोरियों वाला रिश्ता

Hindi Social Story: देख बहू…तू तो इतने दिनों में अच्छे से समझ चुकी है कि मैं उन सासों में से नहीं हूं जो बहू की खामियां ढूंढती रहती है और सुना सुना कर उनका जीना हराम कर देती है…वो इसलिए नहीं कि मैं एक महान इंसान हूं बल्कि इसलिए कि मैं नहीं चाहती जो मैंने […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

आखिर खता क्या मेरी-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Social Story in Hindi: काजल की आंखों में लगा हुआ काजल धीरे-धीरे पिघलते हुए उसके पूरे चेहरे पर फैल रहा था।वह मदहोश सी हो गई थी। उसे कुछ भी समझ नहीं आ रहा था कि आखिर ये जो कुछ भी हो रहा था उसका कारण क्या था? इतना बड़ा छल, वो भी उसका ही पति […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

“जीना इसी का नाम है”-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Social Story: गाँव की संकरी गलियों में, पीपल के नीचे बैठी एक बुज़ुर्ग महिला की हँसी दूर-दूर तक गूंजती है। चाय की केतली सीटी देती है, और उसके संग झूमता है उनका ठहाका — मस्त और बेपरवाह। “अम्मा तो गज़ब की हैं!”  “हँसी में जैसे शहद घुला हो!”*“बूढ़ी हो गईं हैं, पर दिल तो […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

रिश्तों की पहली सीढी-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Social Story in Hindi: ” पहाड़ों की सुंदरता और वादियों की खूबसूरती प्रत्येक मन को आकर्षित करती है इतनी ख़ामोशी और स्वयं के साथ मिलना सचमुच एक सुखद अनुभव है कहते हैं कि अगर किसी व्यक्ति को अपने अंदर की कला को बाहर लाना है तो उसे पहाड़ों और वादियों में आना चाहिए यहां आकर […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

वात्सल्य प्रेम-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Social Story: आज कमला बहुत गुस्से में अपने पति सूरज से लड़ने के मन से कमरे में जैसे घुसी चिल्लाते हुए मैंने बहुत साल गुजार दिए अब मुझे नहीं रहना  आपके मां बाबू जी के साथ आखिर मेरी भी तो  जिंदगी है कब तक आपके मां बाप की सेवा करती रहूंगी ?,, सूरज नेकमला […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

स्नेह का बंधन-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Social Story: मां तुम बाबू जी को मना लो ना…. कम से कम एक बार तो अपने बेटे बहू के पास आकर रहें। यदि मन नहीं लगे तो बेशक मैं खुद वापस गांव छोड़ने चला आऊंगा। विभु ने अपनी मां कल्याणी जी से ऐसा कहा तो कल्याणी जी ने जबाव दिया…. बेटा तू तो […]

Posted inसामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

इतना फ़र्क़ क्यों ?-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Social Story: ये किसकी बेटी है?बड़ी प्यारी लग रही है,श्रीमती वर्मा ने पार्क में बच्चों के साथ खेलती हुई सात वर्षीय जुड़वाँ बच्चियों को देखकर कहा…ये दोनो सामने वाले पुनीत सर की बेटी  त्रिशा और काकुल है, मोनिका जी व्यंग्यात्मक से मुस्कुराते हुए बोलीं…“क्या दोनोँ”? श्रीमती वर्मा ने उसके साथ उसकी बिल्कुल उलट साधारण पर आकर्षक […]

Posted inलघु कहानी - Short Stories in Hindi, सामाजिक कहानियाँ (Social Stories in Hindi), हिंदी कहानियाँ

बिचौलिया-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Social Story in Hindi: एक जमाने में शादी ब्याह के रिश्ते में बिचौलिए की भूमिका भी बडी महत्वपूर्ण होती थी। आज भी सब शादियां तो लव मैरिज नहीं हैं तो कुछ केस में तो बिचौलिए बिना आज भी शादी ब्याह मुश्किल हो गये है। नेट को बिचौलिए बनाना मुझे सिर्फ ऐसा लगता है कि जैसे […]

Gift this article