गलती से प्रेग्नेंट हो जाए तो क्या करें
गलती से प्रेग्नेंट होना या अनचाही प्रेग्नेंसी कोई असामान्य बात नहीं है। इस स्थिति में कई ऐसे विकल्प हैं जिन्हें आप अपनी इच्छा से चुन सकती हैं। आइए जानें इसके बारे में विस्तार से और जानें कुछ महत्वपूर्ण बातें।
Unwanted pregnancy: अब वो जमाना नहीं है, जब शादी के तुरंत बाद लोग फैमिली प्लानिंग के बारे में सोचते थे। आजकल शादी के बाद पूरी तरह से सोच विचार के बाद ही फैमिली प्लानिंग की जाती है। अनचाही प्रेग्नेंसी से बचाव के लिए कई तरीके हैं जैसे गर्भनिरोधक गोलियां, कंडोम का इस्तेमाल आदि। पूरी सावधानियां बरतने के बाद भी अगर गलती या जल्दबाजी के कारण आप गर्भवती हो जाती हैं, तो यह एक आपके लिए चिंता का विषय हो सकता है। लेकिन, कुछ तरीकों को अपना कर आप अनचाही प्रेग्नेंसी से बच सकती हैं और उसे नजरअंदाज भी कर सकती हैं। आइए जानें कि अगर गलती से प्रेग्नेंट हो जाएं, तो क्या करना चाहिए। लेकिन, उससे पहले जान लेते हैं कि प्रेग्नेंसी के लक्षण क्या हो सकते हैं?
प्रेग्नेंसी के सबसे पहले लक्षण क्या हो सकते हैं?
कुछ लक्षण आपको इस बात का संकेत दे सकते हैं कि कहीं आप गर्भवती तो नहीं हैं। इन लक्षणों को पहचानना बहुत ही जरूरी है। यह लक्षण इस प्रकार हो सकते हैं:
- आपके पीरियड्स मिस हो जाएं
- थकावट
- ब्रेस्टस में सूजन या दर्द
- बार-बार बाथरूम जाना
- जी मिचलाना
इसके अलावा प्रेग्नेंसी को चेक करने के अन्य कई तरीके भी हैं जैसे प्रेग्नेंसी किट का इस्तेमाल। इसमें उस हॉर्मोन के लिए यूरिन को टेस्ट किया जाता है, जो प्रेग्नेंसी के दौरान प्रोड्यूज होते हैं। इसके बाद आप यूरिन और ब्लड टेस्ट के लिए डॉक्टर के पास जा सकते हैं। अगर आपका यह रिजल्ट पॉजिटिव आता है तो उसके बाद आपके लिए यह जानकारी जरूरी है कि अब आप क्या कर सकते हैं।
अगर गलती से प्रेग्नेंट हो जाएं तो क्या करना चाहिए?
गलती से प्रेग्नेंट होना या अनचाही गर्भावस्था असामान्य बात नहीं है। अगर आप प्रेग्नेंट हैं और आप शिशु को जन्म देने के लिए तैयार हैं या शिशु को जन्म नहीं देना चाहती हैं, तो सबसे पहले यह जान लें कि आपके पास इस स्थिति में कुछ विकल्प हैं। इस स्थिति में आप निम्नलिखित विकल्पों के बारे में सोच सकते हैं और सही निर्णय ले सकते हैं:
शिशु को जन्म देना
अगर आप अपनी प्रेग्नेंसी को जारी रखना चाहती हैं, तो आपको तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए। प्रेग्नेंसी के दौरान नियमित रूप से डॉक्टर के पास जाने से आपको स्वयं हेल्दी रहने और शिशु को स्वस्थ रखने में मदद मिल सकती है। अगर आपने शिशु को जन्म देने का निर्णय लिया है, तो आपको इन चीजों का ख्याल रखना चाहिए:
- एल्कोहॉल का सेवन न करें
- स्मोकिंग से बचें
- हेल्दी खाएं
- डॉक्टर की सलाह के बाद ही कोई दवाई लें
- पर्याप्त आराम करें
- डॉक्टर की सलाह के अनुसार टेस्ट कराएं और उनकी सलाह का पूरी तरह से पालन करें।
एबॉर्शन
एबॉर्शन वो प्रक्रिया है जिससे प्रेग्नेंसी को रिमूव किया जा सकता है। अधिकतर गर्भपात यानी एबॉर्शन को पहली तिमाही या प्रेग्नेंसी के पहले बारह हफ्तों में किया जा सकता है। भारत में एबॉर्शन लीगल है लेकिन इसे लेकर कुछ प्रतिबंध भी हैं। इसके लिए आपका मेंटली और इमोशनली तैयार होना जरूरी है। प्रेग्नेंसी के टाइम के आधार पर डॉक्टर गर्भपात के तरीके को निर्धारित करेंगे। इसके कुछ तरीके इस प्रकार है:
–सर्जिकल एबॉर्शन
सर्जिकल एबॉर्शन के दो प्रकार हैं:
वैक्यूम एस्पिरशन एबॉर्शन– वैक्यूम एस्पिरशन एबॉर्शन प्रेग्नेंसी के पहले या दूसरे ट्राइमेस्टर के दौरान किया जाता है। इसमें दवाई के बाद महिला का सर्विक्स सुन्न कर दिया जाता ताकि दर्द न हो। इसके बाद सर्विक्स के माध्यम से यूट्रस में ट्यूब को इन्सर्ट किया जाता है। इसके बाद भ्रूण और गर्भनाल को निकालने के लिए सक्शन का इस्तेमाल किया जाता है।
डायलेशन और एवेक्यूएशन (D&E) एबॉर्शन- एबॉर्शन एक दूसरे तरीके में लोकल एनेस्थेटिक का इस्तेमाल कर के सर्विक्स को सुन्न किया जाता है और उसके बाद भ्रूण को रिमूव किया जाता है। सर्जिकल एबॉर्शन पूरी तरह से सुरक्षित है और इसमें केवल दस से बीस मिनट लगते हैं।
–एबॉर्शन पिल
एबॉर्शन पिल को मेडिकल एबॉर्शन के नाम से भी जाना जाता है। इसमें प्रेग्नेंसी को रिमूव करने के लिए दो पिल्स का इस्तेमाल किया जाता है जिनका नाम मिफेप्रिस्टोन (Mifepristone) और मिसोप्रोस्टोल (Misoprostol) है। यह एबॉर्शन प्रेग्नेंसी के दस हफ्तों तक किया जा सकता है। मिफेप्रिस्टोन प्रोजेस्टेरोन हॉर्मोन को ब्लॉक करने का काम करती है। इन हॉर्मोन के बिना भ्रूण गर्भाशय में इम्प्लांट और विकसित नहीं हो सकता। मिसोप्रोस्टोल को मिफेप्रिस्टोन के कुछ घंटों से लेकर चार दिनों के अंदर लिया जा सकता है।
प्रेग्नेंसी को रिमूव करना मानसिक और भावनात्मक रूप से परेशान करने वाला हो सकता है। ऐसे में आपके पास अपने परिवार, पार्टनर आदि का सहयोग होना जरूरी है। इन दोनों तरीकों के अलावा आप एडॉप्शन के बारे में भी सोच सकती हैं। इसमें आपको शिशु को जन्म के बाद किसी को गोद देना होगा। हालांकि, यह तरीका बहुत ही मुश्किल हो सकता है और इसके बारे में सही जानकारी होना भी जरुरी है।
-घरेलू उपाय
अगर आप गलती से प्रेग्नेंट हो गई हैं और अधिक समय नहीं गुजरा है, तो आप कुछ घरेलू उपायों का भी इस्तेमाल कर सकती हैं। लेकिन, ध्यान रखें कि इन नुस्खों पर आंख बंद कर के विश्वास न करें। क्योंकि इन नुस्खों के सफल होने की संभावना बहुत कम होती है। यही नहीं, आपको इनका इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर की राय भी लेनी चाहिए। डॉक्टर की सलाह के बिना कोई भी दवा लेने से बचें। यह तरीके इस प्रकार हैं:
- अदरक को को गर्म पानी में डाल कर इस पानी को पीने से अनचाही प्रेग्नेंसी को रिमूव करने में मदद मिलती है।
- नीम को भी एक गर्भनिरोधक माना गया है।
- अंजीर की तासीर गर्म होती है। ऐसे में आप गलती से प्रेग्नेंट हो गई हैं तो आप इसे खा सकती हैं। पपीता, हींग, दालचीनी आदि का सेवन करना भी प्रेग्नेंसी को नष्ट करने के लिए फायदेमंद माना गया है।
अनचाही प्रेग्नेंसी को हैंडल करने के अन्य तरीके
अगर आप गलती से प्रेग्नेंट हो गई हैं, तो सब से पहले यह जान लें कि आप अकेली नहीं हैं। रिपोर्ट्स की मानें तो हर साल इसके कई मामले सामने आते हैं। अनचाही प्रेग्नेंसी को हैंडल करने के अन्य तरीके इस प्रकार हैं:
अपने इमोशंस को समझें- यह खबर मिलने के बाद आपके मन में कई तरह से इमोशंस आ सकते हैं जैसे ड़र, उत्साह, गुस्सा, कन्फ्यूजन आदि। अपने इमोशंस को बाहर आने दें और इनकी समीक्षा करें।
इससे आपको यह निर्धारित करने में मदद मिल सकती है कि आप गर्भावस्था के बारे में क्या महसूस कर रही हैं।
सपोर्ट लेना न भूलें– इस दौरान आप क्या सोच और महसूस कर रही हैं, यह बताने के लिए आपको किसी सपोर्ट की जरूरत अवश्य होगी। इसमें आपके पेरेंट्स, काउंसलर, पार्टनर, दोस्त आदि काम आ सकते हैं। ध्यान रखे, यह व्यक्ति जजमेंटल नहीं होना चाहिए।
मानसिक और इमोशनल रूप से तैयार रहें- अनचाही प्रेग्नेंसी की स्थिति में आप चाहे कोई भी विकल्प चुनें। इसमें आपका मानसिक और इमोशनल रूप से तैयार होना बेहद जरूरी है। हो सकता है कि इस प्रेग्नेंसी का प्रभाव आपके अपने पार्टनर या परिवार के साथ रिश्तों पर पड़े। हर परिस्थिति में आपका स्ट्रांग रहना और खुद का ख्याल रखना जरूरी है।
अनचाही प्रेग्नेंसी को हैंडल करने के बारे में निर्णय लेना एक इमोशनल अनुभव हो सकता है। हर व्यक्ति की स्थिति अलग हो सकती है। ऐसे में आपको खुद यह निर्णय लेना है कि स्थिति के अनुसार आपके लिए क्या सही है। मजबूत सपोर्ट नेटवर्क और सही मेडिकल सलाह से आपको निर्णय लेने में मदद मिल सकती है। आप कोई भी विकल्प चुनें, इस बात का ध्यान रखें कि आपके लिए खुद का ध्यान रखना और अपने लिए समय निकालना जरूरी है। विषम परिस्थियों में सोशल वर्कर और थेरेपिस्ट भी आपके लिए मददगार साबित हो सकते हैं।
FAQ | क्या आप जानते हैं
अगर मैं गर्भवती हूं और शिशु को नहीं चाहती हूं तो क्या करूं?
अगर कोई महिला 3 महीने की गर्भवती है लेकिन शिशु को जन्म नहीं देना चाहती है, तो उसके पास क्या विकल्प हैं?
भारत में अनचाही प्रेग्नेंसी के मामले में क्या करना चाहिए?
अविवाहित महिलाओं के लिए भारत में एबॉर्शन कराना क्या गैरकानूनी है?
प्रेग्नेंसी के शुरुआती लक्षण क्या हो सकते हैं, जिन्हें बिना टेस्ट के समझा जा सकता है?
क्या कोई महिला एक बार सेक्स करने से प्रेग्नेंट हो सकती है?
अनचाही प्रेग्नेंसी को रिमूव करने के लिए कौन सी टेबलेट का इस्तेमाल किया जाता है?