Wrinkles on Face: स्वस्थ त्वचा ही किसी भी महिला के लिए सर्वोत्तम मेकअप होती हैं, मगर झुॢरयां चेहरे से उसकी यह रौनक छीन लेती हैं। क्या हैं झुॢरयां होने के कारण और क्या हैं इनके निवारण, जानिए इस लेख के द्वारा। जब आप आइने के सामने होती हैं तो चेहरे पर पड़ी झुर्रियां देख अपने- आपको समय से पहले बूढ़ी होता पाती हैं। बुढ़ापे में झुॢरयां पड़ना तो समझ में आता है, लेकिन प्रौढ़ावस्था में झुर्रियां पड़ना वाकई एक चिंता की बात है। आप चाहें तो समय से पूर्व पड़ने वाली इन झुर्रियां को रोक सकती हैं।
महिलाएं चाहे जिस उम्र की हों, उन्हें अपना रूप-सौंदर्य बड़ा प्रिय होता है। इसी से वे आकर्षण का केंद्र बनती हैं, लेकिन जब चेहरा झुर्रियां से भरा हो तो सारा नूर समाप्त हो जाता है और उनमें हीनभावना आने लगती है।
झुर्रियां पड़ने का सबसे बड़ा कारण त्वचा का तनाव कम होना है। जब त्वचा का तनाव या कसाव कम हो जाता है तो वह ढीली हो जाती है। त्वचा का यही ढीलापन झुर्रियां कहलाता हैं।
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आमतौर पर महिलाओं की त्वचा 40 साल तक तनी हुई या खिंची हुई रहती है। इसका कारण यह है कि जब तक युवा रहती हैं तो शरीर में ओइस्ट्रोजन नामक हार्मोन पैदा होता रहता है। इस हार्मोन का काम त्वचा को खिंचावपूर्ण स्थिति में बनाये रखना है। इसके बाद यह हार्मोन बनना कम हो जाता है, जिससे त्वचा ढीली होना शुरू हो जाती है, यानी झुर्रियां पड़ती जाती हैं।
सूर्य की किरणें यानी धूप के संपर्क में अधिक समय तक रहने से त्वचा पर उसका कुप्रभाव पड़ता है। ये अल्ट्रावायलेट किरणें न केवल त्वचा को झुलसा देती हैं, अपितु झुर्रियां का कारण भी बनती हैं। जो महिलाएं खानपान का ध्यान नहीं रखतीं और खूब मीठा या कार्बोहाइड्रेट्स खाद्य सामग्री लेती हैं, वे मोटापे का शिकार हो जाती हैं। जब मोटापा शरीर पर हावी हो जाता है तो वे निजात पाने के लिए डायटिंग करती हैं या अन्य उपायों से उसे दूर करने का प्रयास करती हैं। इनसे उनका मोटापा भले ही थोड़ा कम हो जाए, लेकिन चेहरे की कसावट ढीली पड़ जाती है और झुर्रियां पड़ जाती हैं।
अक्सर कई महिलाएं अपना रूप निखारने के लिए बाजार में मिलने वाली किसी क्रीम या लोशन का इस्तेमाल करने लगती हैं। सस्ती या घटिया सौंदर्य सामग्री लाभ कम, हानि ही अधिक पहुंचाती हैं तथा झुर्रियां का कारण बनती हैं। इससे त्वचा रूखी या शुष्क हो जाती है। अनिद्रा की शिकार या आठ घंटे से कम सोने वाली महिलाओं को भी समय से पूर्व झुर्रियां पड़ती हैं, क्योंकि दिनभर में क्षतिग्रस्त हुई कोशिकाओं को पुन: बनने का समय ही नहीं मिल पाता। नतीजतन झुर्रियां पड़ने लगती हैं।
यदि आप कोई व्यायाम नहीं करतीं तो ऐसे में रक्त संरचन ठीक से नहीं हो पाता है, जो त्वचा के कसाव को प्रभावित करता है और झुॢरयों का कारण बनता है।
झुॢरयों से निजात दिलाने के आकर्षक और लुभावने विज्ञापन पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित तथा टीवी पर प्रसारित होते रहते हैं, लेकिन डॉक्टर की सलाह के बगैर किसी भी प्रॉडक्ट का इस्तेमाल न करें। बेहतर होगा कि समय से पूर्व झुर्रियां पड़ने पर त्वचा रोग विशेषज्ञ को बताएं तथा उसके परामर्श के अनुसार ही उपचार कराएं।
घरेलू उपचार
1) धूप में अधिक समय तक रहने के बाद चेहरे पर तरबूज का ठंडा रस रुई के फाहे से चेहरे पर लगाएं।
2) अंगूर के रस में गुलाबजल मिलाकर रुई की सहायता से चेहरे पर लगाएं।
3) रात को सोने से पहले चेहरे पर खीरे का रस लगाएं। चाहे तो इसमें दूध, नींबू तथा शहद भी मिलाकर लगा सकती हैं।
4) खीरे के रस में जैतून का तेल मिलाकर चेहरे की मालिश की जा सकती है।
5) गाजर का रस रुई के फाहे से चेहरे पर लगाएं तथा सूखने के बाद चेहरा ठंडे पानी से धो लें। चाहेें तो इसमें टमाटर या नींबू का रस मिलाकर भी लगा सकती हैं।
6) नींबू के रस में समुद्री झाग मिलाकर चेहरे पर लगाएं तथा कुछ देर बाद चेहरा
धो लें।
7) संतरे का चूर्ण गुलाबजल में मिलाकर चेहरे पर लगाएं या इसके ताजे छिलकों को चेहरे पर रगड़ें।
