Parenting Style-अगर आप चाहते हैं कि आपका बच्चा अच्छी आदतें सीखे तो यह बहुत जरूरी है कि आप उसको प्यार से समझाएं और उसके साथ अपना भावात्मक लगाव पैदा करें l मारने या डांटने से आप बच्चे को उस टाइम तो रोक लेते हैं पर अच्छी आदतें उसके जीवन का हिस्सा नहीं बन पाती l जितना अधिक से अधिक भावात्मक रूप से आप अपने बच्चे से जुड़ेंगे, वे आपकी हर बात को उतना ही अच्छे से मानेंगे और अपने जीवन में अमल करेंगे l
जब तक आपका बच्चा छोटा है और आपकी निगरानी में है तब तक आप उसे डांट सकते हैं लेकिन जैसे ही आपका बच्चा इंडिपेंडेंट होगा, वह आपकी बात नहीं मानेगा। ज्यादातर पेरेंट्स ये गलती करते हैं कि वह बच्चे को कोई भी बात समझाने के लिए उसे मारते हैं या डराते हैं, इससे बच्चे के दिमाग और व्यक्तित्व पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है, उसका आत्मविश्वास कम होने लगता है,वे और जिद्दी हो जाता है, माता-पिता से दूरी बनाने की कोशिश करता है l
आपके उसके ऊपर बनाए हुए डर के कारण वो अपनी बातें आपसे छुपाने लगता है और आपकी बातों को इग्नोर करना भी शुरू कर देता है, इससे माता-पिता और बच्चों के संबंधों में भी दरार आने शुरू हो जाती है l आपकी बातों को ही नहीं बल्कि उनके दिमाग में आपका महत्व भी धीरे-धीरे खत्म होने लगेगा।
बच्चों के साथ शालीनता से पेश आएं

बच्चों को समझाने से पहले जरूरी है कि आप अपना गुस्सा शांत करें। जब आपका दिमाग थोड़ा शांत हो जाए, तो सारी स्थिति को देखें और सोचें कि बच्चे ने ऐसा क्यों किया होगा। अगर आपको लगता है कि बच्चे ने बड़ा नुकसान किया है या वाकई कोई गलत काम किया है, तो उसे समझाने का वक्त है। लेकिन ज्यादातर समय बच्चों की गलती इतनी बड़ी नहीं होती है, जितना आप उन पर नाराज हो जाते
बच्चों का उत्साह बढ़ाएं

बच्चों के हर छोटे-बड़े काम है उनको प्रोत्साहित कर, उनके द्वारा किए गए अच्छे कार्यों की आप तारीफ करें l कभी-कभी छोटे-छोटे तोहफे देकर भी उनका उत्साह बढ़ाएं lबच्चों के काम करने का माहौल जितना ज्यादा सकारात्मक होगा, वह उसमें ज्यादा दिलचस्पी दिखाएंगे। दो बच्चों के बीच तुलना बिल्कुल भी ना करें। अपने घर का माहौल सकारात्मक बनाएं।
बच्चों के दोस्त बन कर रहें

बच्चों को किसी भी काम से जुड़ा लॉजिक समझाएं। उनके दिमाग में उठ रहे सवालों को सुलझाएं। उन्हें समझाएं कि यह काम करना उनके लिए क्यों जरूरी है?इससे उन्हें क्या फायदे मिलने वाले हैं। उनके सवालों को ध्यान से सुनें और पूरी तसल्ली से उसका जवाब दें l उनके दोस्त बने और ज्यादा से ज्यादा उन्हें क्वालिटी टाइम दें l
गलतियों को नजरअंदाज करें

बच्चों से काम करते वक्त होने वाली हर तरह की गलतियों को नजरअंदाज करें। आपको यह समझना होगा कि यह उनकी सीखने की अवस्था है और बिना गलतियों के सीखना नामुमकिन है l अगर आप उन्हें गलतियों पर डांटने लगेंगे तो उनकी सीखने की प्रवृत्ति धीरे-धीरे कम होती जाएगी l अंग्रेजी में कहावत है ‘ फेलियरस आर द पिलर्स ऑफ़ सक्सेस ‘ l उनके द्वारा की गई हर गलती से वह सीखेंगे और जीवन में आगे बढ़ेंगे l
अपने शब्दों का ठीक प्रकार से इस्तेमाल करें

कहते हैं बच्चे मां बाप का आइना होते हैं l जो मां-बाप करते हैं बच्चे वो अपने आप ही सीख जाते हैं l बच्चों को कोई भी चीज सिखाते या समझाते समय अपने द्वारा उपयोग किए गए शब्दों का इस्तेमाल सौम्यता से करें। ध्यान रखें कि यही शब्द वह भी आगे जाकर इस्तेमाल करेंगे और हो सकता है कि यह उनकी जिंदगी पर बहुत गलत असर डाले। आपके द्वारा बोला गया एक-एक शब्द बच्चों का अपना शब्द बनता जाता है। आपके द्वारा किया गया व्यवहार उनकी आदत बन जाती है l
आपके डांटने, मारने और चीखने से बच्चों के अंदर भी आक्रमक प्रवति आ जाती है, वह भी दूसरों से चीख-चीख कर बात करना और अपने से छोटों पर हाथ उठाना शुरू कर देता है, इसके विपरीत आपके अच्छे व्यवहार से सकारात्मक रूप से आपके बच्चे का भावात्मक विकास होता है जो उसे जीवन में आगे बहुत कामयाबी और सफलता देगा और एक अच्छा इंसान बनाने में उसकी मदद करेगा l
