Baby bump photoshoot ideas
Baby bump photoshoot ideas

Summary: प्रेगनेंसी में तनाव दूर करने का प्राकृतिक तरीका: जानें गार्डनिंग के फायदे और सावधानियाँ

गर्भावस्था में गार्डनिंग तनाव, मूड स्विंग और नींद की समस्याओं से राहत देने में मददगार होती है। यह मानसिक शांति और पॉजिटिविटी बढ़ाने का एक सुरक्षित और प्राकृतिक तरीका है, अगर कुछ जरूरी सावधानियाँ रखी जाएं।

Gardening in Pregnancy: प्रेगनेंसी के समय महिलाओं को न सिर्फ अपने शारीरिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना जरूरी है, बल्कि मानसिक स्वास्थ्य का भी ख्याल रखना उतना ही जरूरी है। ऐसे समय में आपकी मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर रखने में गार्डनिंग एक आसान और प्रभावी तरीका हो सकता है, जिससे आपको गर्भावस्था के दौरान होने वाले तनाव से राहत मिल सकता है। गार्डनिंग से आपको प्राकृतिक के समीप रहने का अनुभव मिलता है तथा आपका मूड भी बेहतर होता है। आइए इस लेख में जानते हैं, किस तरह गार्डनिंग आपकी मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मददगार है।

गार्डनिंग प्राकृतिक का ही एक छोटा रूप है, प्रकृति सकारात्मक ऊर्जा का बेहतरीन स्रोत है। जब आप गार्डनिंग करते हैं तो उस समय आपका ध्यान फल, पत्ती, पौधों पर होता है। आपके सभी विचारों का केंद्र उस समय गार्डनिंग पर होता है, जिससे आपके नकारात्मक विचार कम हो जाते हैं। रिसर्च बताते हैं कि जो लोग गार्डनिंग करते हैं वह मानसिक तनाव जैसे, एंजायटी, डिप्रेशन जैसी परिस्थितियों का सामना कम करते हैं। गर्भवती महिलाएं गार्डनिंग की मदद से अपने तनाव, मूड स्विंग जैसी समस्याओं को कम कर सकती है।

Gardening in Pregnancy-Ways to get relief from stress during pregnancy
Stress relief in pregnancy

तनाव से राहत: गार्डनिंग के समय आपका ध्यान पौधों की देखरेख पर होता है। आप पौधों की सुंदरता को देखते हैं, जिससे आपको अच्छा महसूस होता है और आपका तनाव कम होता है।

मूड स्विंग से राहत: प्रेगनेंसी में मूड स्विंग्स एक आम समस्या है। गार्डनिंग से आपके हार्मोन संतुलित होते है, जिससे आपका मूड अच्छा रहता है और आप बेहतर महसूस करते हैं।

नींद में सुधार: गार्डनिंग से आप हल्की फिजिकल एक्टिविटी कर पाते हैं। जिससे आप शारीरिक रूप से अच्छा महसूस करते हैं जो कि आपको बेहतर नींद में मददगार साबित होता है।

पॉजिटिविटी: गार्डनिंग एक धैर्य पूर्ण कार्य है किसी भी पौधे को बीज से निकलने, बढ़ने, फूल और फल देने में समय लगता है तथा हर रोज आपको उसकी देखरेख करनी होती है। इस तरह से आप किसी भी कार्य को पूर्ण होने में लगने वाले समय को लेकर पॉजिटिव रहते हैं।

गर्भावस्था के दौरान गार्डनिंग करते समय कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना जरूरी है आईए जानते हैं वह कौन सी बातें हैं।

बहुत देर तक ना झुके: गार्डनिंग करते समय झुककर गार्डनिंग ना करें। ऊंचाई पर गमले को रखकर गार्डनिंग करें। ज्यादा देर झुकने से आपको कमर में दर्द, एंजायटी और बॉडी पेन रह सकता है।

भारी सामान ना उठाएं: भारी गमले खिसकना, मिट्टी के थैले उठाने जैसे भारी काम ना करें। इसके लिए किसी की मदद लें। भारी सामान उठाने से आपके गर्भ पर दबाव पड़ता है जिससे आपको मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है।

दस्ताने का उपयोग करें: गर्भावस्था के दौरान अपना तथा गर्भ में पल रहे शिशु का विशेष ध्यान रखना जरूरी है। अगर आप ने इस दौरान मिट्टी को खुले हाथों से छूते हैं तो इन्फेक्शन का डर ज्यादा रहता है।

केमिकल फर्टिलाइजर से बचें: गर्भावस्था के दौरान केमिकल फ़र्टिलाइज़र के उपयोग से बचें, यह आपके तथा आपके शिशु के लिए हानिकारक है।

ज्यादा देर धूप में ना रहे: गर्भावस्था के दौरान ज्यादा समय धूप में रहने से डिहाइड्रेशन, चक्कर जैसी समस्या हो सकती है। गार्डनिंग के लिए सुबह या शाम का समय चुने जिस समय धूप काम हो।

इन छोटी-छोटी बातों का ध्यान रखकर आप अपने गर्भावस्था को गार्डनिंग के साथ तनाव मुक्त बना सकते हैं।

निशा निक ने एमए हिंदी किया है और वह हिंदी क्रिएटिव राइटिंग व कंटेंट राइटिंग में सक्रिय हैं। वह कहानियों, कविताओं और लेखों के माध्यम से विचारों और भावनाओं को अभिव्यक्त करती हैं। साथ ही,पेरेंटिंग, प्रेगनेंसी और महिलाओं से जुड़े मुद्दों...