एक बार स्कूल में समारोह था। कई तरह के कार्यक्रम आयोजित हुए थे। एक कार्यक्रम के अंतर्गत मैरिट में आने वाले बच्चों को सर्टिफिकेट दिए जाने थे, जिन में मेरा भी नाम शामिल था। छोटे होने के कारण मुझे मैरिट शब्द का सही अर्थ नहीं पता था। मैंने घर आकर सभी को बताना शुरू किया कि मुझे ‘मैरिड […]
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गृहलक्ष्मी की कहानियां – मैं साइड में कैसे पहुंच जाता हूं
गृहलक्ष्मी की कहानियां – बात कुछ महीने पहले की है, जब हमारे घर सास-ससुर और ननद रहने के लिए आए हुए थे। मेरा 4 साल का बेटा है, जो अपने दादा-दादी जी का काफी लाडला है। उनके आने पर पूरा दिन वो उन्हीं के साथ खेलता रहा। रात में सब लोगों के खाना खा लेने के बाद मैं […]
झाड़ू से निकाल लेंगे
मेरा तीन वर्षीय बेटा शानू बहुत बातूनी है। उसे पुरानी बातें बहुत ध्यान रहती हैं। एक दिन रात को मेरे पति कमरे से बाहर गए तो शानू ने पूछा, ‘मम्मी, पापा कहां हैं? मैंने हंसी में जवाब दिया, ‘पापा, पलंग के नीचे गिर गए। वह तपाक से बोला, ‘कोई बात नहीं, सुबह मोहन भैया (हमारा […]
गोलगप्पे के पानी में जूता
बात मेरे बचपन की है, जब मैं लगभग 5 साल की थी। मुझे बात-बात पर गुस्सा करने की बुरी आदत थी। एक रोज मेरे पापा ऑफिस से घर आए। व्यस्तता की वजह से या अन्य किसी कारण से वे मेरी मनपसंद चॉकलेट नहीं ला पाए। बस फिर क्या था! मैंने गुस्से में पैर पटकते हुए […]
दूध में पानी या पानी में दूध
बात 35 साल पुरानी है। जब मेरी शादी हुई थी। मैं रसोई में काम करने गई। सास भी आ गई। वह बोली, बेटी जब भी दूध उबालो तो बर्तन में थोड़ा पानी डाल दिया करो। उन्होंने थोड़ा सा पानी डाला और कहा कि पानी डालने से गाय के थन नहीं जलते हैं। कुछ दिनों बाद […]
चादर की सिलवटें
भतीजी की शादी थी। हम सब लोग शादी में गए हुए थे। मेरे दूसरे नंबर वाले जीजाजी बहुत ही बातूनी हैं। भाभी शादी के काम में व्यस्त थी। मैंने दीदी से कहा कि भाभी दूसरा काम कर रही हैं। अत: आप नाश्ता बना लें, मैं कमरा साफ कर लेती हूं। दीदी ने कहा, ‘ठीक है। […]
मूंगफली खानी आती है क्या?
मैं रेलगाड़ी में सफर कर रही थी। मेरे सामने की बर्थ पर एक संभ्रांत परिवार बैठा था। थोड़ी देर में ही हम आपस में घुलमिल गए। एक स्टेशन पर मैंने मूंगफली खरीदी और सामने बैठे बच्चों को भी दी। मैं मूंगफली छीलकर छिलकों को रेल के फर्श पर ही फेंकने लगी। सामने बैठे एक […]
अपने छोटे भाई के दांत तोड़े
मैं पहली कक्षा में पढ़ता था। मुझे मेरे दोस्त ने बताया कि जब उसका बहुत दिनों से हिलने वाला दांत टूटा तो उसे सोते वक्त अपने तकिए के नीचे रख दिया, सुबह तकिए के नीचे दांत के पास सिक्का मिला, वह बहुत खुश हो गया। उसने कहा कि यदि फिर उसका दांत टूटा तो वह उसे तकिये […]
