Mother Habits: सभी मां अपनी तरफ से अपने परिवार और बच्चों के लिए 100 प्रतिशत देती हैं और उनके मन में बच्चों के प्रति काफी स्नेह होता है। लेकिन हर एक मां का बच्चे का पालन पोषण करने का तरीका अलग अलग होता है। आज के समय में एक मां होना बिलकुल भी आसान नहीं है। अगर आप एक अच्छी मां बनना चाहती हैं तो आपको अपने बच्चों को अच्छी आदतें भी सिखानी होंगी और उन्हें हर बात मनवाने के लिए ज्यादा सख़्त रूल्स भी नहीं बनाने होंगे जिससे कि बच्चे चिढ़ जाएं।
जब आप यह कला सीख लेती हैं तो आप हर तरह से एक परफेक्ट मां बन जाती हैं। कुछ मां काफी सॉफ्ट स्वभाव की होती हैं और बच्चों को कभी किसी चीज के लिए मना नहीं करती हैं, ऐसा करने से बच्चे आगे जा कर बिगड़ सकते हैं तो कुछ मां काफी सख्त होती हैं और बच्चों के दिमाग में उनकी छवि काफी खराब बन जाती है। आइए जानें अच्छी मां बनने के लिए आप क्या क्या कर सकती हैं।
आप कंपटीशन में विश्वास नहीं रखती

अगर आप अच्छी मां बनना चाहती हैं तो आपको आस पास की मां क्या कर रही हैं या फिर उनके बच्चे क्या कर रहे हैं आप इस चीज से ज्यादा प्रभावित नहीं होना चाहिए। अगर आप इन चीजों से प्रभावित होती हैं तो इससे आपके बच्चे पर भी असर पड़ सकता है। इसलिए आपको सेल्फ ग्रोथ पर ज्यादा फोकस करना चाहिए।
फाइनेंस मैनेजमेंट के बारे में समझती हैं
बच्चे जब नया नया पैसा देखते हैं और खुद कमाना शुरू करते हैं तो वह मौज मस्ती में सारे पैसे उड़ा देते हैं और जरूरत के समय उनके पास पैसा नहीं बचता है। इसलिए आपको बच्चे को केवल पैसा कमाने के बारे में नहीं बल्कि उसे खर्च कैसे करना है और बचाना कैसे है यह सब मैनेजमेंट भी सिखाना चाहिए।
आप सख्ती रखती हैं
बच्चे को परिवार की हर गतिविधि में शामिल होने का शौक होता है और अगर आप बच्चे को ऐसा करने से रोक देती हैं और उन्हें अलग से एक कमरे में बंद कर देती हैं तो, इससे बच्चे के दिमाग में एक नेगेटिव इंप्रेशन बन सकता है। इसलिए आपको उन्हें हर चीज में शामिल करना चाहिए और इस मामले में थोड़ी कम सख्ती दिखानी चाहिए।
आदेश उन पर थोपती हैं

अगर आप बच्चों के लिए कोई नया नियम बनाना चाहती हैं तो उन्हें एकदम से थोपने की बजाए बच्चे को उस के मुताबिक ढलने का समय दें ताकि वह अचानक से आपका विरोध न करें और धीरे धीरे इस माहोल में ढलते चले जाए।
बच्चों की बातें सुननी भी हैं जरूरी
अगर आप बच्चों को केवल अपना ही उपदेश सुनाती रहती हैं तो बच्चे काफी बोर हो सकते हैं और आपकी बातों को गंभीरता से भी नहीं लेते हैं। इसलिए जब आपके बच्चे बोलना शुरू करते हैं तो आपको उनकी बात के बीच में बोलने की बजाए पहले उनकी पूरी बात सुननी चाहिए।
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आप उदाहरण बन कर दिखाती हैं
अगर आप बच्चों को कोई उदाहरण देती हैं तो वह इससे कम सीख पाते हैं लेकिन जब आप खुद वह उदाहरण बन कर दिखाती हैं तो वह ज्यादा सीख सकते हैं।
इन सब आदतों से आप अपनी बातें भी बच्चों से मनवा सकती हैं और बच्चों को एक बाउंड्री के अंदर रख सकती हैं। बच्चों पर भी आपको लेकर एक पॉजिटिव इंप्रेशन बनेगा।