छोटे बच्चों को प्यार दुलार में गोद में लेना, गले लगाना या किस करना पेरेन्ट्स के लिए भले ही अपने प्यार का इज़हार करना हो, लेकिन बच्चों पर इसका प्रभाव कहीं ज्यादा होता है। 

 
ये बच्चों के विकास में है मददगार
कई शोध में ये बात सामने आ चुकी है कि माता-पिता के साथ फिज़िकल कॉन्टैक्ट बच्चों खासतौर से कम उम्र के बच्चों के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। बच्चों को गले लगाने, किस  करने या पीठ थपथपाने से उनके शरीर में फील गुड हार्मोन्स बनता है और ये उनके विकास में भी सहायक होता है। 
 
उनके नखरे हो जाते हैं कम 
बच्चे का मूड कितना भी खराब क्यों न हो, ये सभी पेरेन्ट्स जानते हैं कि प्यार से गले लगाकर या एक किस देककर उनके मूड को सही किया जा सकता है।
 
बच्चों के इमोशनस हेल्थ के लिए अच्छा है
स्कूल जाने में, दोस्तों के साथ खेलने में भी बच्चों को स्ट्रेस महसूस हो सकता है और ऐशे में पेरेन्ट से किसी भी तरह की फिज़िकल कॉन्टैक्ट जैसे हाथ पकड़ना भी उनके लिए रिलैक्सिंग एहसास है।
 
उन्हें अच्छा फील कराता है
मम्मी-पापा से प्यार-दुलार के दौरान फिज़िकल कॉन्टैक्ट बच्चों को अच्छा महसूस कराता है, इससे उनका सेल्फ कॉन्फिडेंस बढ़ता है और वो अपने बारे में भी पॉज़िटिव सोचते हैं। 
 
पेरेन्ट चाइल्ड का रिलेशनशिप होता है मज़बूत
पेरेन्ट्स और बच्चों के बीच फिज़िकल कॉन्टैक्ट न सिर्फ दोनों को एक दूसरे के करीब लाता है, बल्कि इससे बच्चों के अंदर की इंसेक्योरिटी कम होती है और वो ज्यादा सुरक्षित महसूस करते हैं।