DNA Diet
DNA Diet

Overview:

कीटो डाइट, वीगन डाइट, वाइल्ड डाइट, मेडिटेरियन डाइट के बीच एक अब एक और डाइट आ गई है, जिसका नाम है डीएनए डाइट। यह एक एडवांस डाइट है, जिसमें व्यक्ति के डीएनए पर आधारित डाइट उसे दी जाती है।

DNA Diet Tips: आज के समय में फिट रहना हर किसी के लिए बहुत जरूरी है। भागदौड़ भरी जिंदगी में खुद को एक्टिव रखने के लिए लोग एक्सरसाइज से लेकर स्ट्रिक्ट डाइट तक सब करते हैं। कीटो डाइट, वीगन डाइट, वाइल्ड डाइट, मेडिटेरियन डाइट के बीच एक अब एक और डाइट आ गई है, जिसका नाम है डीएनए डाइट। जी हां, यह एक एडवांस डाइट है, जिसमें व्यक्ति के डीएनए पर आधारित डाइट उसे दी जाती है। डाइट की दुनिया में आप इसे नई क्रांति कह सकते हैं। विशेषज्ञों का दावा है कि यह डाइट न सिर्फ लोगों को भरपूर पोषण देती है, बल्कि उनकी सेहत पर भी पॉजिटिव असर डालती है। इसके कई फायदे हैं, हालांकि अभी तक लोग इसके विषय में ज्यादा नहीं जानते हैं। आज इस आर्टिकल में हम डीएनए डाइट से जुड़े सभी पहलुओं के विषय में आपको बताएंगे।

डीएनए डाइट में व्यक्ति की आनुवंशिक प्रोफाइल के आधार पर पोषण और जीवनशैली का निर्धारण किया जाता है।
The DNA Diet determines nutrition and lifestyle based on an individual’s genetic profile. Credit: Istock

डीएनए डाइट में व्यक्ति की आनुवंशिक प्रोफाइल के आधार पर पोषण और जीवनशैली का निर्धारण किया जाता है। ऐसे में लोग एक बेहतर और सेहतमंद लाइफस्टाइल जी पाते हैं। यह न्यूट्रिजेनोमिक्स का एक शानदार कदम है। विशेषज्ञों के अनुसार लोगों के डीएनए अलग-अलग होते हैं, ऐसे में लोगों की जरूरतें भी अलग-अलग होती हैं। ऐसे में डीएनए डाइट एक कंप्लीट पैकेज की तरह है। इसमें सिंगल न्यूक्लियोटाइड पॉलीमोरफ़िज्म यानी आनुवंशिक विविधताओं पर फोकस किया जाता है। इस आधार पर यह ध्यान देने की कोशिश की जाती है कि व्यक्ति का मेटाबॉलिज्म कैसा है और वह आहार पर कैसी प्रतिक्रिया देता है।    

डीएनए डाइट के लिए कुछ टेस्ट करवाने होते हैं। सबसे पहले डीएनए के लिए व्यक्ति की लार का नमूना लिया जाता है। फिर प्रोफेशनल इसका परीक्षण करते हैं, जिससे मेटाबॉलिज्म, पोषण, सेहत, सूजन, भूख आदि की पहचान हो सके। इसके साथ ही क्रोन्यूट्रिएंट मेटाबोलिज्म जैसे-प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, फैट, आदि का विवरण भी लिया जाता है। साथ ही पसंद और डाइट पर भी गौर किया जाता है। भोजन के समय और मात्रा का भी उल्लेख इसमें होता है। इन सब बिंदुओं के आधार पर डाइट तैयार किया जाता है। विशेषज्ञों के अनुसार इस सटीक डाइट से व्यक्ति पर असर जल्दी नजर आता है।

डीएनए आधारित डाइट कई मायनों में खास है। आम डाइट में सिर्फ लोगों के खानपान और लाइफस्टाइल पर फोकस किया जाता है। लेकिन डीएनए डाइट में किए गए टेस्ट के कारण लोगों का बेहतर विश्लेषण हो पाता है। टेस्ट के कारण यह खासतौर पर आपकी जरूरतों, सेहत और लक्ष्यों के अनुसार बनाई जाती है। इससे यह भी आसानी से पता चल जाता है कि कौनसा आहार आपके शरीर पर कैसी प्रतिक्रिया देगा। ऐसे में आप एक बेहतर प्लानिंग कर पाते हैं। इससे कई रोगों का जोखिम भी कम होता है। यह डाइट चुनने का एक बेहतर, विकसित और सुरक्षित तरीका है। जिसके प्रभाव आपको लंबे समय तक नजर आते हैं।  

मैं अंकिता शर्मा। मुझे मीडिया के तीनों माध्यम प्रिंट, डिजिटल और टीवी का करीब 18 साल का लंबा अनुभव है। मैंने राजस्थान के प्रतिष्ठित पत्रकारिता संस्थानों के साथ काम किया है। इसी के साथ मैं कई प्रतियोगी परीक्षाओं की किताबों की एडिटर भी...