Baby Planning Tips: किसी भी कपल के लिए पैरेंट बनना यकीनन एक बहुत बड़ी खुशी होती है। इसके साथ ही उनका रिश्ता एक नया मोड़ ले लेता है और वे खुद को अधिक जिम्मेदार समझने लगते हैं, क्योंकि उनके साथ एक नन्हीं सी जान और एक बहुत बड़ी जिम्मेदारी जुड़ जाती है। इसलिए, किसी भी कपल के लिए यह बेहद जरूरी है कि वे बच्चे की प्लानिंग बेहद सोच-समझकर करें, जिससे बच्चे के जन्म के बाद उन्हें किसी भी तरह की परेशानी का सामना ना करना पड़े।
अधिकतर घरों में यह माना जाता है कि अगर कपल या फैमिली फाइनेंशियली स्ट्रॉन्ग है तो वे बच्चा प्लान कर सकते हैं। यकीनन बच्चे की प्लानिंग में आपकी फाइनेंशियल स्थिति बहुत मायने रखती है। लेकिन इसके अलावा भी ऐसी कई चीजें हैं, जिन पर आपको ध्यान देना चाहिए। अगर कपल बच्चा प्लान करते हुए आपस में इन फैक्टर्स पर बात करते हैं तो फिर उन्हें बाद में किसी तरह की समस्या नहीं होती है। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको ऐसी ही कुछ बातों के बारे में बता रहे हैं, जिन्हें कपल को बच्चा प्लान करते हुए आपस में डिस्कस जरूर करनी चाहिए-
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फाइनेंशियल सिचुएशन पर डिस्कशन

जब आप बच्चे के लिए प्लान कर रहे हैं तो सबसे पहले अपनी फाइनेंशियल सिचुएशन पर डिस्कशन करना बेहद जरूरी है। आपको पहले से ही बच्चे के लिए बजट बनाना चाहिए। जिसमें आप अपनी करंट फाइनेंशियल सिचुएशन से लेकर बचत और बच्चे के जन्म से जुड़ी लागतों, जैसे मेडिकल खर्च, बच्चे की देखभाल और शिक्षा पर चर्चा करें। साथ ही साथ, आप दोनों इस बात पर भी जरूर चर्चा करें कि एक बच्चा आपके करियर को कैसे प्रभावित कर सकता है और क्या आप में से कोई छुट्टी लेने या काम के घंटे कम करने की प्लानिंग बना रहा है। अगर आप ऐसा करते हैं तो इसका आपकी फाइनेंशियल कंडीशन पर क्या प्रभाव पड़ेगा, इन बातों पर विचार करना बेहद जरूरी है।
बच्चे की जिम्मेदारियों पर करें चर्चा
बच्चे के जन्म लेते के साथ ही आपके जीवन में कई तरह की जिम्मेदारियां जुड़ जाती है। अधिकतर घरों में यह माना जाता है कि महिला को ही सारी जिम्मेदारियां निभानी चाहिए। हालांकि, अगर मदर वर्किंग है तो उसके लिए ऐसा करना संभव नहीं हो पाता है। इसलिए, बच्चा प्लान करने से पहले ही आपको अपने पार्टनर से बारे में डिस्कशन करना चाहिए। मसलन, आप दोनों अपने घर की जिम्मेदारियों व बच्चे के जन्म के साथ आने वाली अतिरिक्त ज़िम्मेदारियों को किस तरह मैनेज करेंगे। साथ ही, इस बारे में बात करें कि आप बच्चे के पालन-पोषण से जुड़े कामों को मिलकर किस तरह निभाएंगे, जैसे कि खाना खिलाना, डायपर बदलना और रात के समय की जिम्मेदारियां आदि। अगर इन बातों पर पहले ही चर्चा कर ली जाती है तो बच्चे के जन्म के बाद पति-पत्नी के बीच आपसी तनाव नहीं बढ़ता है।
हेल्थ कंडीशन पर करें चर्चा

अक्सर बच्चे को आनुवंशिक स्वास्थ्य समस्याओं से जूझना पड़ता है, इसलिए अगर आप बच्चा प्लान कर रहे हैं तो आप दोनों को ही ऐसी किसी भी फैमिली मेडिकल हिस्ट्री को जरूर शेयर करना चाहिए, जो बच्चे को प्रभावित कर सकता है। इस विषय में आपसे में चर्चा करने के अलावा आपको डॉक्टर से भी एक बार सलाह जरूर लेनी चाहिए, ताकि बच्चे को जन्म के समय किसी भी तरह की स्वास्थ्य समस्या से बचाया जा सके। इसके अलावा, आप दोनों को ही अपने लाइफस्टाइल में होने वाले किसी भी तरह के बदलाव पर चर्चा जरूर करनी चाहिए, जिससे प्रेग्नेंसी हेल्दी हो। मसलन, डाइट व एक्सरसाइज पर फोकस करना या शराब व धूम्रपान से परहेज करना आदि।
भावनात्मक तैयारी पर करें चर्चा
जब एक बच्चे की प्लानिंग की जाती है तो कपल का शारीरिक या फाइनेंशियली बेहतर होना ही काफी नहीं है, बल्कि इसके लिए उन्हें पहले से ही भावनात्मक तैयारी भी जरूर करनी चाहिए। यह बेहद जरूरी है कि कपल्स इस बारे में बात करें कि आप दोनों प्रेग्नेंसी और पैरेंटिंग के दौरान होने वाले तनाव में एक-दूसरे को सपोर्ट कैसे करेंगे। अक्सर पैरेंट बनने के बाद कपल का लाइफस्टाइल काफी बदल जाता है, जिससे कहीं ना कहीं वे एक-दूसरे से दूर हो सकते हैं। इसलिए, आप पहले ही यह चर्चा करें कि बच्चे के जन्म के बाद आपका रिश्ता कैसे बदल सकता है और पालन-पोषण की मांगों के बीच आप अपने संबंध को कैसे मजबूत रखेंगे।
करियर गोल्स पर करें चर्चा

हो सकता है कि आप दोनों फाइनेंशियली मजबूत हों, लेकिन फिर भी आप दोनों के अपने कुछ करियर गोल्स हों। इसलिए, जब आप दोनों बच्चे की प्लानिंग करें तो आप दोनों को आपस में करियर गोल्स पर चर्चा जरूर करनी चाहिए। साथ ही, इस बात को लेकर भी एकमत हों कि बच्चा पैदा करने का सबसे अच्छा समय कब लगता है। आप दोनों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि आप दोनों माता-पिता बनने की चुनौतियों और खुशियों का सामना करने के लिए भावनात्मक रूप से तैयार हैं। जब आप दोनों आपसी सहमति से बच्चा प्लान करते हैं तो इससे आने वाले नन्हें मेहमान की खुशी अलग ही होती है। साथ ही, आप दोनों मिलकर उस नन्हीं सी जान का अधिक बेहतर तरीके से पालन-पोषण कर पाते हैं। ऐसे में बच्चे के कारण आपका आपसी रिश्ता, करियर या फिर फाइनेंशियल स्थिति पर किसी तरह का नेगेटिव इफेक्ट नहीं पड़ता है।
