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आज हर हाथ में मोबाइल है। इसी के साथ है एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर शुरू करने का एक आसान तरीका। किसी से चैटिंग करना, रोमांटिक बातें करना, इन्हें पार्टनर से छिपाना, अब पहले से कहीं ज्यादा आसान है। ऐसे में डिजिटल डेटिंग, वर्चुअल अफेयर, वर्चुअल चीटिंग के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं।
Digital Affair Trends: पिछले कुछ सालों में डिजिटल दुनिया ने लोगों की असल जिंदगी पर गहरा असर किया है। लेकिन क्या डिजिटल दुनिया आपका प्यार भी छीन सकती है, क्या ये आपको पार्टनर को धोखा देना सिखा रही है। इन सवालों का जवाब है ‘हां’। हाल ही में हुए डेटिंग एप के एक सर्वे ने कई चौकाने वाले खुलासे किए हैं।
क्या आसान है अफेयर करना?

आज हर हाथ में मोबाइल है। इसी के साथ है एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर शुरू करने का एक आसान तरीका। किसी से चैटिंग करना, रोमांटिक बातें करना, इन्हें पार्टनर से छिपाना, अब पहले से कहीं ज्यादा आसान है। ऐसे में डिजिटल डेटिंग, वर्चुअल अफेयर, वर्चुअल चीटिंग के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। डेटिंग एप्स ने इस काम को और भी आसान बना दिया है। एक सर्वे के अनुसार 40% विवाहित भारतीयों ने स्वीकार किया है कि उनका ‘डिजिटल अफेयर’ है। वे अपने पार्टनर की जगह किसी दूसरे इंसान के साथ रोमांटिक और अश्लील ऑनलाइन बातें करते हैं।
जानते हुए भी देते हैं धोखा
पार्टनर से बेवफाई करने वाले लोग अच्छी तरह जानते हैं कि वे गलत कर रहे हैं। फिर भी वे धोखा देने से बाज नहीं आते। सर्वे में 37 % लोगों ने माना कि शारीरिक बेवफाई असल में भावनात्मक बेवफाई से भी ज्यादा बुरी है। लेकिन फिर भी वे अपने डिजिटल अफेयर को जारी रखना चाहते हैं।
धोखेबाजों ने दिया ये तर्क
अधिकांश लोग ऐसा सिर्फ खुश होने के लिए करते हैं। क्योंकि डिजिटल अफेयर शुरू करने वाले करीब 72 % धोखेबाज अपनी शादी को तोड़ने का कोई इरादा नहीं रखते हैं। वे डिजिटल अफेयर सिर्फ अपने घरेलू तनाव को दूर करने और इमोशनल सपोर्ट पाने के लिए करते हैं। डिजिटल अफेयर चलाने वाले पुरुषों और महिलाओं की उम्र में भी बड़ा अंतर है। 25 से 40 साल की महिलाएं डिजिटल अफेयर्स में ज्यादा सक्रिय हैं। वहीं पुरुषों में यह उम्र 30 से 45 साल के बीच है।
महिलाओं ने कही दिल की बात
यह सर्वे महिलाओं की भावनात्मक स्थिति को भी उजागर करता है। डिजिटल अफेयर में शामिल 56% महिलाएं असल जिंदगी से बेहतर डिजिटल संबंधों को मानती हैं। उनका कहना है कि डिजिटल रिश्तों में शामिल पार्टनर उन्हें ज्यादा सम्मान, अपनाप, प्यार और महत्व देता है। डिजिटल पार्टनर बहुत ही शांति और आराम से बात सुनता है। उनकी फीलिंग्स को बेहतर तरीके से समझते हैं। उन्हें बात-बात पर जज नहीं किया जाता। उन्हें लगता है कि कोई तो ऐसा है जो उन्हें सुनना पसंद करता है।
कोरोना ने बढ़ाया ट्रेंड
लोगों को डिजिटल अफेयर शुरू करने के लिए कहीं जाने की जरूरत नहीं है। इसके लिए सिर्फ मोबाइल और इंटरनेट की जरूरत है, जो आज के समय में आसानी से मिल रहा है। ऑनलाइन डेटिंग और अफेयर के इस ट्रेंड को कोरोना महामारी ने तेजी से बढ़ाया। कोरोना काल में लोग अकेलापन महसूस करने लगे थे। कई परिवारों में भावनात्मक दूरियां आने लगी। ऐसे में डिजिटल डेटिंग का ट्रेंड 30 % तक बढ़ा। कुछ लोगों ने इसे सिर्फ समय बिताने के लिए शुरू किया। लेकिन यह शुरुआत इमोशनल बॉन्ड में बदल गई और फिर रोज की बातचीत में। 49% लोग ने स्वीकारा कि उनके साथ यही हुआ है।
इस समय होती है ज्यादा चैटिंग
डिजिटल अफेयर चलाकर रोमांटिक और इमोशनल चैटिंग करने वाले लोग रात के समय ज्यादा सक्रिय होते हैं। खासतौर पर रात 10 से 1 बजे के बीच। 33 % का कहना है कि वे अपने जीवन में उत्साह की कमी महसूस करते हैं और इसी लिए ऑनलाइन पार्टनर की तलाश की। वहीं 4.1 % लोग खुद को भावनात्मक उपेक्षा का शिकार मानते हैं। 22 % लोगों का कहना था कि उन्हें कोई आकर्षक नहीं मानता, लेकिन डिजिटल अफेयर में ऐसा कुछ नहीं है।
नहीं मंजूर पार्टनर की बेवफाई
भारत में शादी को एक पवित्र बंधन माना जाता है। जिसकी नींव विश्वास पर डाली जाती है। लेकिन डिजिटल दुनिया इसे सीधे चुनौती दे रही है। वहीं भारतीय पार्टनर खुद भले ही डिजिटल अफेयर्स में शामिल हैं, लेकिन वे अपने पार्टनर से पूरी ईमानदारी की ख्वाहिश रखते हैं। सर्वे में 68% लोगों ने माना कि अगर उनका पार्टनर किसी दूसरे से ऑनलाइन संबंध बनाएगा तो उन्हें धोखा महसूस होगा।
