A happy Indian family of four is playing a board game on the floor in front of a brick wall.
A happy Indian family of four is playing a board game on the floor in front of a brick wall.

Summary:समय, ध्यान और प्यार—यही है बच्चों के अच्छे बचपन की बुनियाद

नई पीढ़ी के बच्चों को जरूरत है पेरेंट्स की मौजूदगी, प्यार भरे लम्हों और पॉजिटिव माहौल की। वही यादें उन्हें ज़िंदगीभर संबल देती हैं।

Quality Time with Kids:आजकल लगभग हर पेरेंट्स वर्किंग हैं। ऐसे में यह बात बहुत स्वाभाविक सी है कि हम अपने बच्चों को वो वक्त नहीं दे पाते जो हमें हमारे पेरेंट्स ने दिया है। हम नब्बे के दशक की जेनरेशन हैं। जहां परिवार के नाम पर सिर्फ पेरेंट्स नहीं होते थे बल्कि उस वक्त संयुक्त परिवार थे। ऐसे में मां पिता के साथ हमें दादा दादी और दूसरे लोगों को भी भरपूर प्यार मिला है। लेकिन इस जेनेरेशन के हमारे बच्चे एक तरह से न्यूक्लियर फैमिली में रहे रहे हैं। और अक्सर ही पेरेंट्स कामकाजी हैं। ऐसे में अपनी व्यस्तता के चलते हम अपने वो प्यार और ना ही वो समय उन्हें दे पा रहे हैं लेकिन इन चीजों को महंगे ट्रिप्स और लग्जरी डिनर्स से कम्पनसेट ना करें। जानते हैं कि बच्चों को इनके अलावा किस चीज की है जरुरत

जल्दबाजी ना करें

जाहिर है कि आज हमारे पास टाइम कम है। ऐसे में हम हर चीज बहुत जल्दबाजी में करते हैं। हम जल्दी जल्दी अपने घर के कामों को निपटातें है। भागते हुए ऑफिस जाते हैं और भागते हुए घर आते हैं। ऐसा लगता है जैसे कि हम किसी रेस में शामिल हैं। लेकिन बच्चों के मामले में आप ऐसा ना करें। अगर वो कभी आपसे कोई बात कर रहे हैं तो उसे ध्यान से सुनें। यह मुमकिन है कि उस वक्त आपके पास समय ना हो आप कह दें कि हम रात को इस बारे में बात करेंगे लेकिन यह ध्यान रहे कि आप इस बात को ना भूलें। उनके साथ खूब बातें करें। उनके अंदर आत्मविश्वास आएगा।

उसे वो खूबसूरत याद चाहिए

A smiling woman prepares sandwiches with leafy greens while sitting at a kitchen counter with two children, a boy and a girl, who watch her.
Sharing happy moments while preparing breakfast as a family.

हमें लगता है कि यह आज के जमाने के बच्चे हैं। इन्हें घूमना फिरना और बाहर खाना ही पसंद है। नहीं ऐसा नहीं हैं। जमाना चाहे कोई भी क्यों ना हो। उन्हें आपके साथ एक खूबसूरत याद चाहिए होती है। आपके पास जो भी टाइम है जितना भी टाइम है आप उनके साथ स्पेंड करें। उन्हें अच्छा लगेगा। आपका साथ जरुरी है। उनके लिए मौके बेमौके वक्त निकालें। सिर्फ वेकेशंस पर ही या फिर किसी काम के लिए अपने ऑफिस से छुट्टी लेने की जरुरत नहीं है। अगर कभी उनकी छुट्‌टी हो तो आप घर से काम को मैनेज करें, या फिर छुट्‌टी ले लें। उन्हें अच्छा लगेगा। आप आधे दिन की छुट्‌टी लेकर भी उन्हें सरप्राज कर सकते हैं। उनके साथ डिनर टेबल पर बैठकर सुकून से खुश होकर खाना खाना भी उन्हें खुश करने के लिए काफी है।

उन्हें बताइए कि वो खास हैं

हम सभी को हमारे बच्चे बहुत प्यार हैं। जब वो छोटे होते हैं तो वो हमारी गोद में रहते हैं लेकिन जब वो सात से आठ साल की उम्र तक पहुंच जाते हैं तो उन्हें गले लगाकर प्यार करना, उन्हें बताना कि वो बहुत क्यूट लग रहे हैं हम भूल जाते हैं। लेकिन नहीं बच्चे चाहे कितने भी बड़े क्यों ना हो जाएं, उन्हें मौके बेमौके गले लगाइए। उन्हें बताइए कि उन्होंने आपकी जिंदगी में आकर आपको कितनी खुशी दी है। हर इंसान को इंपोर्टेंस लेना अच्छा लगता है।

खुश और पॉजिटिव रहिए

A smiling Indian family of four, a mother, father, son, and daughter, take a selfie together on a white couch.
Family enjoying with each other.

आपको सुनकर अजीब लगेगा लेकिन यह बात सच है कि अगर आप बहुत दुखी और परेशान रहते हैं तो आपके बच्चे सभी कुछ होते हुए भी अजीब से एक असमंजस की स्थिति में रहते हैं। इंसान हैं आप हमेशा मुमकिन नहीं होता, लेकिन कोशिश किया करें कि आप और आपके पति बच्चों के सामने खुश और पॉजिटिव नजर आएं। जब आप खुश और पॉजिटिव रहेंगे तो ही खुशियां आपके घर में वास करेंगी। यही पॉजिटिव एनर्जी आपके बच्चों को भी खुश रखेगी और उनका बचपन खूबसूरत गुजरेगा।