Rameshwaram Temple
Rameshwaram Temple

रामेश्वरम की ख़ास बात

रामेश्वरम धार्मिक महत्व के साथ-साथ ऐतिहासिक और सांस्कृतिक दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है। कहा जाता है कि भगवान राम ने लंका पर विजय प्राप्त करने के बाद यहीं शिवलिंग की स्थापना की थी।

Rameshwaram Temple: तमिलनाडु में स्थित रामेश्वरम भारत के सबसे पवित्र तीर्थस्थलों में से एक है। इसे देश के चार धामों में शामिल किया गया है और यह स्थान भगवान शिव की आराधना के लिए प्रसिद्ध है। रामेश्वरम धार्मिक महत्व के साथ-साथ ऐतिहासिक और सांस्कृतिक दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है। कहा जाता है कि भगवान राम ने लंका पर विजय प्राप्त करने के बाद यहीं शिवलिंग की स्थापना की थी। यहां कई अद्वितीय और पवित्र मंदिर हैं जो श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक अनुभव प्रदान करते हैं। यदि आप रामेश्वरम जा रहे हैं तो इन 5 लोकप्रिय मंदिरों का दर्शन अवश्य करना चाहिये। 

श्री रामनाथस्वामी मंदिर रामेश्वरम का सबसे प्रसिद्ध मंदिर है और इसका धार्मिक महत्व बहुत अधिक है। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और यहां 22 पवित्र कुंड हैं जिनमें स्नान करना पवित्र माना जाता है। इन कुंडों का जल अद्वितीय माना जाता है और इसे आध्यात्मिक शुद्धि का प्रतीक कहा गया है। मंदिर की भव्य वास्तुकला भी पर्यटकों को आकर्षित करती है। इसके लंबे और सुन्दर गलियारे, नक्काशीदार स्तंभ और विशाल गोपुरम इसे एक स्थापत्य कला का चमत्कार बनाते हैं।

पंचमुखी हनुमान मंदिर रामेश्वरम के प्रमुख मंदिरों में से एक है। यहां भगवान हनुमान की पंचमुखी मूर्ति स्थापित है। यह स्थान विशेष रूप से इसलिए प्रसिद्ध है क्योंकि यहां वह पत्थर रखा गया है जो कहा जाता है कि भगवान राम ने रामसेतु के निर्माण के दौरान उपयोग किया था। यह मंदिर हनुमान भक्तों के लिए अत्यंत पवित्र स्थल है और यहां की ऊर्जा श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक शांति प्रदान करती है। जिसकी वजह से इस जगह पर देश के कोने कोने से लोग दर्शन के लिए आते हैं। 

रामेश्वरम के इस मंदिर का विशेष महत्व इसलिए है क्योंकि इसे काशी विश्वनाथ मंदिर का दक्षिण भारत संस्करण माना जाता है। यहां भगवान शिव को विश्वनाथर के रूप में पूजा जाता है। यह मंदिर श्रद्धालुओं को एक आध्यात्मिक अनुभव प्रदान करता है। यदि आप काशी विश्वनाथ मंदिर के दर्शन नहीं कर सकते तो रामेश्वरम का यह मंदिर आपको वही दिव्यता महसूस कराएगा। जिसकी वजह से इस जगह पर दक्षिण भारत के हर राज्य से लोग दर्शन के लिए आते हैं। 

यह मंदिर समुद्र के बीच स्थित है और इसे रामेश्वरम के सबसे खूबसूरत मंदिरों में से एक माना जाता है। इस मंदिर का पौराणिक महत्व है क्योंकि यह वह स्थान है जहां भगवान राम ने विभीषण को लंका का राजा घोषित किया था।cश्री कोथंडारामस्वामी मंदिर का शांत और सुरम्य वातावरण इसे श्रद्धालुओं और पर्यटकों दोनों के लिए विशेष बनाता है। यहां का नज़ारा सूर्योदय और सूर्यास्त के समय अत्यंत मोहक होता है।

रामेश्वरम में जटायू तीर्थम का भी विशेष स्थान है। यह स्थान उस पौराणिक कथा से जुड़ा है जिसमें जटायू ने माता सीता को रावण से बचाने के लिए बलिदान दिया था। यहां जटायू की स्मृति में एक मंदिर बनाया गया है जो रामायण से जुड़े स्थलों में गिना जाता है। यह स्थान न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है बल्कि यहां की शांतिपूर्ण प्रकृति और आध्यात्मिक वातावरण मन को सुकून प्रदान करता है।

संजय शेफर्ड एक लेखक और घुमक्कड़ हैं, जिनका जन्म उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में हुआ। पढ़ाई-लिखाई दिल्ली और मुंबई में हुई। 2016 से परस्पर घूम और लिख रहे हैं। वर्तमान में स्वतंत्र रूप से लेखन एवं टोयटा, महेन्द्रा एडवेंचर और पर्यटन मंत्रालय...