Overview: नाक में उंगली डालने की आदत गंभीर संक्रमण का कारण बन सकती है
नाक में उंगली डालना भले ही आम आदत लगे, लेकिन यह गंभीर संक्रमण और ब्रेन डैमेज तक का कारण बन सकती है। बैक्टीरिया और वायरस नाक के जरिए सीधे दिमाग तक पहुंच सकते हैं और जानलेवा स्थिति पैदा कर सकते हैं।
Habit of Nose Picking: नाक में उंगली डालना बच्चों से लेकर बड़ों तक में आम आदत है। बहुत से लोग इसे मज़ाक या सामान्य हरकत मानते हैं, लेकिन असलियत इससे कहीं ज्यादा खतरनाक है। रिसर्च और मेडिकल एक्सपर्ट्स बताते हैं कि बार-बार नाक में उंगली डालना न केवल संक्रमण फैलाता है बल्कि बैक्टीरिया दिमाग तक पहुंचकर ब्रेन को भी डैमेज कर सकते हैं। आइए जानते हैं कैसे यह साधारण-सी आदत जानलेवा साबित हो सकती है।
नाक की नाज़ुक नसों को नुकसान

नाक के अंदर बेहद पतली और संवेदनशील नसें होती हैं। उंगली डालने से ये नसें चोटिल हो सकती हैं और खून निकलने की समस्या (नोज़ ब्लीड) शुरू हो सकती है।
हानिकारक बैक्टीरिया का प्रवेश
उंगलियों पर मौजूद बैक्टीरिया और गंदगी नाक के जरिए अंदर पहुंच जाते हैं। वहां से यह धीरे-धीरे साइनस और ब्रेन तक पहुंचकर खतरनाक इंफेक्शन का कारण बन सकते हैं।
ब्रेन तक संक्रमण का खतरा

नाक और मस्तिष्क के बीच सीधा कनेक्शन होता है। अगर नाक में चोट लग जाए या बैक्टीरिया ज्यादा बढ़ जाएं तो वे ब्रेन तक पहुंचकर मेनिनजाइटिस या ब्रेन एब्सेस जैसी गंभीर बीमारियां पैदा कर सकते हैं।
इम्यूनिटी पर असर
बार-बार नाक में उंगली डालने से संक्रमण होने का खतरा बढ़ जाता है। इससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है और बार-बार सर्दी-जुकाम और एलर्जी जैसी समस्याएं घेर लेती हैं।
नाक की संरचना में बदलाव
लगातार नाक में उंगली डालने से अंदरूनी परत मोटी हो सकती है और स्कार टिश्यू (घाव का निशान) बनने लगता है। इससे सांस लेने में दिक्कत और नाक की शेप तक प्रभावित हो सकती है।
कोविड और अन्य संक्रमण का रिस्क
कोविड-19 जैसे वायरस भी नाक के जरिए आसानी से शरीर में प्रवेश कर सकते हैं। उंगली डालने से संक्रमण का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।
मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ा संकेत
कई बार यह आदत सिर्फ़ शरारत नहीं होती बल्कि स्ट्रेस और एंग्ज़ायटी का संकेत भी हो सकती है। लगातार नाक में उंगली डालना एक तरह का ऑब्सेसिव बिहेवियर है जिसे नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए।
बचाव के उपाय
नाक साफ करने के लिए हमेशा रूमाल या टिश्यू का इस्तेमाल करें।
अगर नाक बार-बार बंद होती है तो डॉक्टर से परामर्श लें।
बच्चों को इस आदत से बचाने के लिए उन्हें हेल्दी हैबिट्स सिखाएं।
हाथों को नियमित रूप से धोते रहें ताकि बैक्टीरिया कम फैलें।
