Divya Khosla Kumar : दिव्या खोसला कुमार ने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत ‘अब तुम्हारे हवाले वतन साथियों’ से की थी। उसके पहले वह फाल्गुनी पाठक और सलमान खान के साथ वीडियो सॉन्ग में भी नजर आ चुकी हैं। दिव्या अब डायरेक्टर-प्रोडयूसर भी हैं और फिलहाल अपनी आने वाली फिल्म ‘सत्यमेव जयते-2’ को लेकर चर्चा में हैं।
दिव्या खोसला कुमार एक साथ कई भूमिकाओं में होती हैं। रील में नहीं, रियल लाइफ में भी एक बिजनेस वुमन होने के साथ-साथ, वह अभिनेत्री, डायरेक्टर और एक सुपर मॉम भी हैं। जल्द ही उनकी फिल्म ‘सत्यमेव जयते-2’ भी आ रही है, जिसमें वह बतौर अभिनेत्री नजर आने वाली हैं। पेश है दिव्या खोसला कुमार से खास बातचीत, जिसमें उन्होंने अपनी जिंदगी से जुड़े अहम पहलुओं से हमें अवगत कराया-
काफी लंबे समय के बाद हम आपको बड़े पर्दे पर देखेंगे। इसकी कोई खास वजह?
वजह ऐसी कोई खास नहीं थी, बस यही थी कि मैं ऐक्टिंग तो हमेशा से ही करना चाहती थी, बचपन से ही मैंने ऐक्टर बनने का ही सपना देखा है। लेकिन मैंने एक फिल्म की और उसके बाद थोड़ा ब्रेक लिया था। बाद में मैं ऐसी ही फिल्म में काम करना चाह रही थी, जिसमें एक स्ट्रांग कैरेक्टर हो।
मैं इसी बात का इंतजार कर रही थी और मुझे $खुशी है कि मैं कोई ऐसी अच्छी स्क्रिह्रश्वट के साथ आ
रही हूं। इस फिल्म के लिए मिलाप ने जब मुझे अप्रोच किया था तो मैंने उनको यही कहा था कि मेरा रोल अच्छा होना चाहिए। मैंने क्योंकि अबतक एक ही फिल्म की थी ‘अब तुम्हारे हवाले वतन साथियों उसके बाद मैं डायरेक्शन कर रही थी, तो अब जब भी मैं कुछ करूं तो बेस्ट करूं।
फिर उन्होंने मुझे कन्विंस किया, फिर जब नैरेशन दिया तो मैं हैरान थी। फिल्म में मेरा एक पॉलिटिशन का रोल है। मैंने फिल्म भी देख ली है और मैं ये बात कहना चाहूंगी कि उन्होंने मेरा स्ट्रांग कैरेक्टर प्रेजेंट किया है। इस फिल्म में मैं जॉन के अपोजिट हूं, लेकिन मेरे किरदार का अपना एक अस्तित्व है। यही बात मुझे फिल्म में आकर्षित लगी।
फिल्म पूरी तरह से ऐक्शन फिल्म है तो हीरो ओरिएंटेड ही माना जाना रहा है, ऐसे में आपको लगता है कि आपके किरदार के साथ पूरी तरह से न्याय हुआ है?
आपको जान कर हैरानी होगी कि मैंने भी इस फिल्म में ऐक्शन किया है और मेरा ऐक्शन देखने के बाद काफी लोगों ने मुझे कहा कि मुझे आगे ऐक्शन फिल्में करनी चाहिए, हालांकि मैं करूंगी नहीं, क्योंकि मुझे पर्सनली कॉमेडी में मजा आता है। बहरहाल कहना चाहूंगी कि मेरे किरदार के साथ निर्देशक ने स्ट्रेंग्थ व डिग्निटी दोनों दिखाई है।
आप जब खुद देखेंगी तो समझेंगी। दूसरों के बारे में नहीं जानती, लेकिन अपने बारे में यह कह सकती हूं कि मुझे स्ट्रॉन्ग कैरेक्टर वाले किरदार ही करने हैं। जहां मेरे लिए करने को कुछ हो, मैं फिल्म में कुछ जोड़ पाऊं। मैं सिलेक्टिव हूं। उस मायने में यह फिल्म खरी उतरती है।
जॉन के साथ काम करने का अनुभव कैसा रहा?
जॉन एक बेहतरीन अदाकार होने के साथ, अच्छे इंसान भी हैं। व$क्त के काफी पंचुअल हैं। सेट पर सभी लोगों से बेहद ह्रश्वयार से बात करते हैं। उनसे मैंने काफी कुछ सीखने की कोशिश की। हम
दोनों का काम साथ में दर्शकों को अच्छा लगेगा।
आप खुद भी निर्देशक रही हैं तो इस फिल्म में कुछ इनपुट रहे आपके?
नहीं, मैंने मिलाप के काम में बिल्कुल दखल नहीं दिया है, उल्टा मेरा जो निर्देशन का बैकग्राउंड
रहा है, उससे मुझे ऐक्टिंग करने में काफी मदद मिली है। मैं निर्देशक के पॉइंट ऑफ व्यू को समझ पाई हूं। इसलिए उस लिहाज से अच्छा रहा। रही बात प्रोड्यूसर की तो मैं इस फिल्म में सिर्फ एक्ट्रेस की हैसियत से सेट पर होती थी।
अमूमन वीमेन पॉलिटिशन को लेकर मजाक बनता रहता है। इस बारे में आप क्या कहेंगी?
देखिये, महिलाओं को तो हर क्षेत्र में पीछे करने वाले लोग हैं। सिर्फ पॉलिटिक्स में ही नहीं, आप जहां भी अच्छा करेंगी, आपका पैर खींचने वाले हजार लोग मिल जाएंगे, लेकिन मैं सभी लड़कियों से यही कहना चाहूंगी कि इन बातों पर ध्यान नहीं देना है और अपना काम करते जाना है।
आप एक बिजनेस वुमन हैं, एक अभिनेत्री, निर्देशिका, डायरेक्टर, एक बहू, पत्नी और सबसे अहम मां भी हैं तो एक साथ ये सारी जिम्मेदारियां कैसे निभा पाती हैं?
मुझे लगता है कि अगर आप टाइम मैनेजमेंट और अपने रिश्तों के मैनेजमेंट में माहिर हैं तो सबकुछ
मुमकिन है। आप जिंदगी में जिस चीज को तवज्जो देंगे, उन्हें समय भी पूरा देंगे ही। मैं भी इस बात का खास ख्याल रखती आई हूं। मेरे परिवार ने मेरा हमेशा साथ दिया है।
खासतौर से मेरे पति भूषण कुमार हमेशा मेरे सपोर्ट सिस्टम रहे हैं। उन्होंने मुझे हमेशा प्रोत्साहित किया है और मैं उन सभी महिलाओं को कहना चाहूंगी कि अब वह दौर नहीं है कि आप सिर्फ घर पर रहें, आप में जो भी हुनर है उसको आपको सामने लाना ही चाहिए। मैं इस मामले में लकी हूं। मुझे बहुत सपोर्टिव हस्बेंड और परिवार मिला है।
इस समय लॉक डाउन ने पूरा ढांचा बदल दिया है। बच्चे अब घर पर हैं। ऐसे में पेरेंट्स को किस तरह से धैर्य रख कर उनके साथ पेश आना चाहिए?
मैं सभी पेरेंट्स से कहना चाहूंगी कि ये क्रूशियल टाइम है और हमें अपने बच्चों के साथ सिर्फ और सिर्फ धैर्य रख कर काम करना होगा। इसलिए बच्चों से जितना ज्यादा हो सके कूल बन कर बात करें, मैं मेरे बच्चों के साथ हमेशा कूल रही हूं और कूल बन कर ही उनकी दोस्त हूं। ऐसे ही आपके बच्चों के साथ आपकी बॉन्डिंग बन पाएगी।
अभी ज्यादातर फिल्में ओटीटी पर आ रही हैं। ऐसे में आप लोगों ने सिनेमा थिएटर खुलने का ही इंतजार क्यों किया?
क्योंकि हमारी जो फिल्म है, वह थिएटर के ही लायक है। जैसे हम सभी अमिताभ बच्चन की वह मार धाड़ वाली फिल्में देखा करते थे। ठीक वैसी ही फिल्म है ये। इसलिए हमें लगा कि हमें थिएटर का इंतजार करना चाहिए। इसलिए हमलोग वेट कर रहे थे और यह हम सबके लिए जश्न का माहौल है कि हमारे यहां थिएटर्स खुल रहे हैं।
दिवाली के लिए कोई खास तैयारी?
मैं इस बार दिवाली में अपनी फिल्मों के प्रोमोशन में ही रहूंगी। मेरी फिल्म दर्शकों को पसंद आ जाए तो मैं इसे ही अपना बेस्ट फेस्टिवल मानूंगी। ऐसे मुझे दिवाली में घरों में डेकोरेशन करना, बच्चों के साथ टाइम स्पेंड करना, फिर दीप जलाना, मिठाइयां खाना, यह सबकुछ बेहद अच्छा लगता है। पूरे
परिवार के साथ होना ही मेरे लिए दिवाली है।
दिव्या आपकी इस खूबसूरती और फिटनेस का राज़ क्या है?
मैं अपनी स्किन में कम-से-कम केमिकल इस्तेमाल करती हूं। मैंने कभी ब्लीच वगरैह जैसी चीजें स्किन में की ही नहीं हैं, मैं एकदम नैचुरल चीजें करती हूं। सुबह उठ कर योग, एक्सरसाइज और बहुत सारे वर्क आउट करती हूं। घर का बना खाना दाल, चावल, रोटी यही सब खाती हूं। अपनी स्किन को गंदे हाथों से कभी टच नहीं करती हूं। मैं अपनी फिटनेस को लेकर सजग रहती हूं और अपने परिवार को भी फिट रखने की हमेशा कोशिश करती हूं
मेकअप हैक्स के बारे में क्या कहना चाहेंगी?
मैं कभी भी ज्यादा मेकअप करना पसंद नहीं करती हूं। अच्छे ब्रांड्स और नैचुरल चीजें ही
गाती हूं और हाइजीन मेरे लिए बहुत अहम है।
वह एक चीज जो आप अपने वर्कह्रश्वलेस पर बदलना चाहेंगी?
मैं चाहती हूं कि लोग अधिक डेडिकेशन के साथ काम करें, मैं डेडिकेशन को एक रूल बनाना चाहूंगी, ताकि हम सभी मिल कर अच्छा करें।
वर्क लाइफ और फैमिली लाइफ में बैलेंस के लिए आप क्या टिह्रश्वस देंगी?
आपका आपके काम के प्रति डेडिकेशन हो, किसी को भी फॉर ग्रांटेड न लें, व$क्त पर चीजों को करें और अपने दिल की सुनें।
आप खुद को एक शब्द में ऐसे में कैसे परिभाषित करेंगी?
मैं एक स्ट्रॉन्ग वुमन कहलाना चाहूंगी और हर एक महिला को मैं एक स्ट्रांग महिला बनते ही देखना चाहती हूं। हम औरतों के पास दिमाग बहुत होता है, वह सबकुछ मैनेज कर लेती हैं।
आपका अपना मी टाइम क्या होता है?
मुझे फिल्में देखना अच्छा लगता है, नया कुछ सीखना अच्छा लगता है, अपने बच्चों के साथ
वक्त बिताना अच्छा लगता है।
अगर आपके फैशन फंडा के बारे में बात करें तो?
मैं उन चीजों को ही पहनना पसंद करती हूं, जिसमें मैं कम्फर्टेबल होती हूं। मुझे सलवार कमीज वगरैह भी अच्छा लगता है। मुझे फॉर्मल्स भी पसंद है। मैं हेवी ज्वेलरी की बहुत अधिक शौकीन नहीं हूं।
आपके फूड हैबिट्स के बारे में जानना चाहेंगे?
मुझे घर का बना दाल, चावल, सब्जी ही पसंद आता है। मुझे कुकिंग बिल्कुल पसंद नहीं है।
मुझे इंडियन सबसे ज्यादा पसंद है।
आप अपने फ्यूचर को किस तरह से देखती हैं?
मैं बहुत अधिक सोचती नहीं हूं, फ्यूचर के बारे में। हां, लेकिन नयी-नयी चीजें जरूर सीखते
रहना चाहती हूं।
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