त्वचा का लाल-गुलाबी हो जाना जहां खूबसूरती की निशानी माना जाता है, वहीं दूसरी ओर अगर यह ज्यादा हो जाए तो किसी बीमारी या त्वचा संबंधी समस्याओं का द्योतक भी है। ज्यादातर लाल-गुलाबी धब्बे चिंता का कारण नहीं होते, लेकिन इन्हें नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। त्वचा पर लाल- गुलाबी दाग छोटे या बड़े दोनों हो सकते हैं। जहां रेड स्पॉट है वहां दर्द या खुजली भी हो सकती है। लाल त्वचा आमतौर पर चेहरे, गर्दन और हाथों पर देखी जाती है। लाल, गुलाबी त्वचा होने के कई कारण हो सकते हैं जैसे कि एलर्जी, मौसम अनुवांशिक या पर्यावरण की स्थिति। त्वचा का लाल होना एक्जिमा, सेबोरहाइक डर्मोटाइटिस, रोसेसिया के लक्षण हो सकते हैं और दवाओं से इनका इलाज किया जा सकता है।
रोसेसिया
त्वचा का लाल और गुलाबी होने का सामान्य कारण रोसेसिया है जो चेहरे के मध्य भाग को मुख्य रूप से प्रभावित करता है। त्वचा तनाव, धूप के संपर्क, मसालेदार भोजन से लाल, गुलाबी हो जाती है। यह संवेदनशील त्वचा या किसी खास वस्तु से एलर्जी के कारण होती है, जैसे कि घरों में उपयोग आने वाले सफाई के सामान, इलास्टिक या रंग। इसी प्रकार सूरज की किरणों के संपर्क में आने के बाद कुछ दवाओं के प्रयोग से भी विपरीत प्रभाव होता है। रोसेसिया ऐसा त्वचा रोग है जिसमें चेहरे और नाक के पास लाल दाने व मुहांसे लगातार रहते हैं। नाक, ठुड्डी और गाल के पास की त्वचा ज्यादा प्रभावित होती है। रोसेसिया कई बार गंभीर घाव तथा चेहरे पर जलन का रूप ले लेती है। इलाज होने के बावजूद इससे पूरी तरह निजात पाना मुश्किल है। समय पर इलाज ना किया जाए तो यह असाध्य हो जाता है।
रोसेसिया के लक्षण
चेहरे पर लाल दाने व मुहांसे, लाल आंखे, कंजक्टिवाइटिस आदि। सूर्य की तेज किरणों से झुलसने, शराब, स्मोकिंग, तनाव, तथा तेज मसालेदार खाने पीने की आदतें रोसेसिया को अधिक गंभीर बना देती हैं। त्वचा का संवेदनशील होना भी इसका मुख्य लक्षण है। यह समस्या पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं में ज्यादा दिखाई देती है। गोरी त्वचा वाले लोग भी इससे ज्यादा पीडि़त होते हैं क्योंकि उनकी त्वचा पर जलन या लालिमा का ज्यादा पता चलता है।
समाधान
रोसेसिया से मुक्ति पाने के लिए अच्छे इलाज की जरूरत है, परंतु साथ ही तेज मसालेदार भोजन, शराब व स्मोकिंग से परहेज़ करें और पानी खूब पीएं। अपने त्वचा विशेषज्ञ से परामर्श लें और खुद इलाज न करें। पहले कारण का पता लगाएं फिर इलाज करें। रोसेसिया का इलाज चिकित्सा के साथ-साथ लेजर से भी किया जा सकता है। जब त्वचा के लाल होने का कारण रक्त वाहिकाओं का तनना होता है, वैसे लेजर से उपचार करना बेहतर होता है और क्रीम इसका सप्लीमेंट होता है, इसलिए सिर्फ क्रीम पर भरोसा न करें। सल्फेट मुक्त क्लिंजर का उपयोग करें, जो कि आपकी त्वचा को शुष्क नहीं करता। खासकर वैसे क्लिंजर का उपयोग करें जिसमें हाइड्रेटिंग गुण मौजूद हो। सूर्य के संपर्क में आने से पहले चेहरे की लालिमा को कम करने के लिए मॉइश्चराइजर का उपयोग करें, जिसमें एसपीएफ-30 या उससे अधिक हो। संवेदनशील त्वचा के लिए स्क्रब, एस्ट्रीजेंट टोनर समस्या पैदा कर सकता है। त्वचा की मरम्मत के लिए मॉइश्चराइजर का उपयोग करें।
सावधानी
कई लोग डाक्टरों की दवाओं का उपयोग करने या त्वचा विशेषज्ञ की सलाह लेने से डरते हैं क्योंकि वे ‘रासायनिक मुक्त’ चाहते हैं और नींबू जैसे घरेलू प्राकृतिक पदार्थों का उपयोग करते हैं जो स्थिति को और भी बिगाड़ देता है, क्योंकि इसका पीएच त्वचा के लिए उपयुक्त नहीं है, इसलिए चिकित्सक की सलाह जरूर लें।
(डॉ. सोमा सरकार, डर्मेटोलॉजिस्ट, स्किन इन और डॉ. अप्रतिम गोयल, डर्मेटोलॉजिस्ट, क्यूटिस स्किन स्टूडियो से बातचीत पर आधारित)
