Nenoship Dating: व्यस्तता और लाइफस्टास्ल में बदलाव के कारण डेटिंग के तरीके और लैंग्वेज में भी काफी बदलाव आया है। हर साल प्यार और रिलेशनशिप में नए ट्रेंड और शब्द सुनने को मिल रहे हैं। जैसे इस साल सिचुएशनशिप और टेक्स्टेशनशिप का बोलबाला रहा वहीं 2025 में यंगस्टर नैनोशिप में अधिक दिलचस्पी दिखा रहे हैं। आखिर नौनोशिप है क्या, जो युवाओं को अधिक आकर्षित कर रही है। चलिए जानते हैं इसके बारे में।
क्या है नैनोशिप

हर साल डेटिंग ऐप्स अपनी एक ईयर इन स्वाइप रिपोर्ट जारी करते हैं जिसमें डेटिंग के तरीकों और बदलाव के बारे में चर्चा की जाती है। इस रिपोर्ट से नैनोशिप टर्म सामने आया है। नैनोशिप का अर्थ है छोटी-छोटी खुशियां जो आपके जीवन को आनंद से भर दें। रिपोर्ट के अनुसार नैनोशिप का एक उदाहरण सामने आ रहा है कि जैसे आपको कोई लड़का या लड़की ट्रेवल के दौरान मिलते हैं और आपका आई कॉन्टेक्ट होता है। आप एक-दूसरे को देखकर छोटी सी स्माइल पास करते हैं। यानी सामने वाला व्यक्ति आपको पसंद कर रहा है। इसी छोटी सी खुशी और चिंगारी को नैनोशिप का नाम दिया गया है। सफर के बाद भले ही आप उस इंसान से दोबारा न मिलें या बात न करें लेकिन सफर के दौरान रोमांस के इस छोटे से मूवमेंट को आप हमेशा याद रखेंगे। बस यही है 2025 में ट्रेंड होने वाला नैनोशिप रिलेशनशिप।
क्यों बढ़ रही है नैनोशिप में युवाओं की दिलचस्पी
नैनोशिप टर्म अब आधिकारिक तौर पर दुनियाभर में लोकप्रियता हासिल कर रहा है। जो लोग अकेलेपन से पीडित हैं, खासकर युवा, उनके लिए छोटी-छोटी खुशियां मायने रखती हैं। यही वजह है कि यंगस्टर्स छोटे-छोटे मूवमेंट और एक मुलाकात को ही हेल्दी रिलेशनशिप की परिभाषा दे रहे हैं। हसीं मजाक के छोटे-छोटे पलों में खुशियां तलाशना ही नैनोशिप कहलाता हालांकि इस रिश्ते का कोई भविष्य नहीं होता। ये केवल कुछ मिनट या पल के लिए ही होता है।
नैनोशिप के बेनिफिट्स

छोटी-छोटी खुशियां
व्यस्तता और परिवार से दूर रहने के कारण आज की युवा पीड़ी खुद को बेहद अकेला और असहाय मानने लगी है। यही वजह है कि वह लॉन्ग रिलेशनशिप की बजाय नैनो रिलेशनशिप को अपनाना अधिक पसंद करने लगे हैं। नैनोशिप उन्हें पलभर की ही सही लेकिन खुशियां दे सकती है।
इमोशनल कनेक्शन
लॉन्ग टर्म रिलेशनशिप आज के युवाओं को बोझ लगने लगी है। रिश्ते में अपनापन, इमोशनल कनेक्शन और चीटिंग से परे युवा अब वन टाइम रिलेशनशिप को पसंद कर रहे हैं। नैनोशिप उसमें से ही एक है।
मन पर गहरा असर
किसी से एक मुलाकात, एक स्माइल और आई कॉन्टेक्ट मन पर गहरी छाप छोड़ देती है। इसी को नैनोशिप कहते हैं। इस रिलेशनशिप में भले ही गहरा रिश्ता स्थापित नहीं होता लेकिन ये रिश्ता जीवनभर याद रहता है।
अकेला न महसूस होना
इस प्रकार के रिलेशनशिप में युवा खुद को अकेला महसूस नहीं करते। वह किसी न किसी व्यक्ति से रिश्ता बना लेते हैं और उसी को याद करके खुश हो लेते हैं।
नैनोशिप और सिचुएशनशिप में अंतर
सिचुएशनशिप में दो लोग बिना किसी कमिटमेंट और रिश्ते के बस रोमांस के लिए एक-दूसरे के साथ होते हैं। जिसमें एक-दूसरे से अलग होना बेहद आसान होता है। वहीं नैनोशिप में आप सामने वाले व्यक्ति के साथ छोटे-छोटे पल इंज्वॉय करते हैं जिसका कोई फ्यूचर नहीं होता। नैनोशिप में शारीरिक रिश्ता बनाने की जरूरत नहीं होती।
