Kannur Places
Kannur Places

कन्नूर की ख़ास बात

यह केरल राज्य का एक खूबसूरत तटीय शहर है। यह स्थान अपनी समृद्ध संस्कृति, प्राकृतिक सुंदरता और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है।

Kannur Places: कन्नूर को द नॉर्दर्न गेट ऑफ केरल के रूप में भी जाना जाता है। यह केरल राज्य का एक खूबसूरत तटीय शहर है। यह स्थान अपनी समृद्ध संस्कृति, प्राकृतिक सुंदरता और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है। कन्नूर वह जगह है जहां पर आपको परंपराएं, कला और प्रकृति का अद्भुत संगम देखने को मिलता है। यहां का हर कोना कहानी कहता है जो इसे पर्यटकों के लिए एक अनोखा अनुभव बनाता है। जिसकी वजह से देश दुनिया से पर्यटक इस जगह पर घूमने के लिए चले आते हैं। 

The Northern Gate of Kerala

कन्नूर का इतिहास प्राचीन काल से जुड़ा है। यह स्थान पुराने समय में मसालों के व्यापार के लिए एक महत्वपूर्ण केंद्र था। अरब, पुर्तगाली, डच और ब्रिटिश व्यापारियों ने यहां व्यापार किया जिसके कारण कन्नूर का इतिहास कई संस्कृतियों का मिलन है। यहां के किले, मंदिर और मस्जिदें उस समृद्ध इतिहास की गवाही देती हैं। सेंट एंजेलो किला कन्नूर का एक प्रमुख ऐतिहासिक स्थल है। 1505 में पुर्तगालियों द्वारा निर्मित यह किला अरब सागर के किनारे स्थित है और शानदार दृश्य प्रस्तुत करता है। यह किला न केवल स्थापत्य कला का उत्कृष्ट नमूना है बल्कि यहां से समुद्र के अद्भुत नज़ारे भी देखे जा सकते हैं।

कन्नूर अपने खूबसूरत समुद्री तटों के लिए प्रसिद्ध है। पय्याम्बलम बीच और मुझप्पिलंगड बीच यहां के सबसे लोकप्रिय तटों में से हैं। मुझप्पिलंगड बीच भारत का सबसे लंबा ड्राइव-इन बीच है जहां आप अपनी गाड़ी के साथ समुद्र किनारे की सैर का मजा ले सकते हैं। यहां का साफ पानी और सुनहरी रेत पर्यटकों को मंत्रमुग्ध कर देती है। कन्नूर के आसपास के क्षेत्र भी हरे-भरे पहाड़ों, बैकवाटर्स और वन्य जीवन से समृद्ध हैं। प्रकृति प्रेमियों के लिए यह जगह किसी स्वर्ग से कम नहीं है।

Beauty of Kerala

कन्नूर अपनी पारंपरिक कला और त्योहारों के लिए जाना जाता है। यहां का थेय्यम नृत्य विश्वप्रसिद्ध है। यह एक पारंपरिक नृत्य-नाटक है जिसमें देवी-देवताओं के रूप में सजकर कलाकार अपने प्रदर्शन से दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर देते हैं। यह नृत्य स्थानीय मंदिरों और त्योहारों का अभिन्न हिस्सा है और केरल की सांस्कृतिक विविधता को दर्शाता है।

इस जगह पर कई दर्शनीय स्थल हैं। जिनमें परस्सिनी कडावु मंदिर का नाम प्रमुखता से आता है। यह मंदिर श्री मुथप्पन को समर्पित है और कन्नूर का एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल है। आप आरालम वन्यजीव अभयारण्य भी जा सकते हैं। वन्यजीव प्रेमियों के लिए यह स्थान बेहद खास है। यहां की हरियाली और जीव-जंतु प्रकृति के करीब होने का अहसास कराते हैं। थलास्सेरी में भी लोग जाते हैं। यह ऐतिहासिक शहर अपने किले, मंदिरों और मसालों के लिए जाना जाता है।

कन्नूर का भोजन केरल के पारंपरिक स्वाद का अनोखा मिश्रण है। यहां का समुद्री भोजन बेहद प्रसिद्ध है। मलाबार बिरयानी, पुट्टु-कडला करी और अप्पम जैसे व्यंजन पर्यटकों के बीच खासे लोकप्रिय हैं। नारियल और मसालों का उपयोग यहां के खाने में विशेष स्वाद जोड़ता है।

कन्नूर अपने हस्तशिल्प और हथकरघा उत्पादों के लिए जाना जाता है। यहां के पारंपरिक कपड़े, खासकर कन्नूर का हाथ से बुना हुआ कपड़ा, पर्यटकों के बीच बेहद लोकप्रिय है।

संजय शेफर्ड एक लेखक और घुमक्कड़ हैं, जिनका जन्म उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में हुआ। पढ़ाई-लिखाई दिल्ली और मुंबई में हुई। 2016 से परस्पर घूम और लिख रहे हैं। वर्तमान में स्वतंत्र रूप से लेखन एवं टोयटा, महेन्द्रा एडवेंचर और पर्यटन मंत्रालय...