साइबर क्राइम
साइबर क्राइम Credit: Istock

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शेयर बाजार में मोटा मुनाफा कमाने का जाल बिछाकर साइबर ठगों ने हैदराबाद के 63 वर्षीय एक बुजुर्ग से 50 लाख रुपए ठग लिए। इन ठगों ने बुजुर्ग को विश्वास दिलाया कि वे उन्हें शेयर बाजार से मुनाफा कमाने का आसान तरीका बताएंगे।

Cyber Scams Targeting Seniors: भारत में मोबाइल और इंटरनेट की सुविधा जैसे-जैसे बढ़ रही है, वैसे-वैसे ही ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामले भी बढ़ते जा रहे हैं। हर साल लाखों लोग साइबर ठगी का शिकार हो रहे हैं। चिंता की बात तो यह है कि ये साइबर ठग बुजुर्गों को खासतौर पर टारगेट कर रहे हैं। बढ़ती उम्र के साथ टेक्नोलॉजी के साथ चलने की कोशिश कर रहे बुजुर्ग इन ठगों के लिए सॉफ्ट टारगेट बन गए हैं। हाल ही में ऑनलाइन धोखाधड़ी का ऐसा ही एक मामला सामने आया है हैदराबाद में। इस बुजुर्ग से शैतानों ने एक दो नहीं पूरे 50 लाख रुपए ठगे हैं। क्या है पूरा मामला आइए जानते हैं।

शेयर बाजार में मोटा मुनाफा कमाने का जाल बिछाकर साइबर ठगों ने हैदराबाद के 63 वर्षीय एक बुजुर्ग से 50 लाख रुपए ठग लिए।
Cyber ​​fraudsters swindled Rs 50 lakh from a 63-year-old man in Hyderabad

शेयर बाजार में मोटा मुनाफा कमाने का जाल बिछाकर साइबर ठगों ने हैदराबाद के 63 वर्षीय एक बुजुर्ग से 50 लाख रुपए ठग लिए। इन ठगों ने बुजुर्ग को विश्वास दिलाया कि वे उन्हें शेयर बाजार से मुनाफा कमाने का आसान तरीका बताएंगे। इसके लिए ठगों ने पीड़ित को ‘स्कायरिम कैपिटल’ नामक प्लेटफॉर्म पर निवेश करवाया था। ठगों की बातों में आकर बुजुर्ग ने 50 लाख रुपए निवेश कर दिए, लेकिन जब पीड़ित ने अपने पैसे निकालने की कोशिश की, तब वे उन्हें निकाल नहीं पाए और उन्हें धोखाधड़ी का एहसास हुआ।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार साइबर ठगों ने वॉट्सऐप के जरिए पीड़ित बुजुर्ग की जान पहचान बढ़ाई थी। उन्होंने पीड़ित को ‘स्टॉक डिस्कशन ग्रुप’ नाम का एक वॉट्सऐप ग्रुप लिंक भेजा था। जिसमें ग्रुप एडमिन कुणाल सिंह ने खुद को एक मशहूर फाइनेंस एडवाइजर बताया था। कुणाल ने दावा किया था कि वह लोगों से शेयर बाजार में निवेश करवाते हैं, जिससे उन्हें मोटा मुनाफा मिलता है। ठगों ने यह भी दावा किया कि उन्होंने कई लोगों की किस्मत बदल दी है। यहां तक कि कई निवेशकों को तो 500 प्रतिशत तक रिटर्न भी मिला है। ठग कुणाल ने बुजुर्ग को ऑनलाइन क्लास में एडमिशन लेने के लिए कहा।  

पीड़ित ने कुणाल के कहने पर ऑनलाइन क्लास ज्वॉइन की। इस क्लास में कुणाल शेयर बाजार के रुझानों और निवेश की बारीकियां सिखाने का दावा करता था। इस तरीके से कुणाल धीरे-धीरे क्लास ज्वाइन करने वाले लोगों का ब्रेनवॉश करने लगता था और उन्हें झांसे में लेकर अपने ठगी के प्लेटफार्म में निवेश करवा लेता था। 63 वर्षीय पीड़ित ने भी इसी झांसे में आकर ‘स्कायरिम कैपिटल’ नामक प्लेटफॉर्म में रुपए निवेश कर दिए। शुरुआत में विश्वास जमाने के लिए पीड़ित को मुनाफा भी दिखाया गया। जब पीड़ित को विश्वास होने लगा तो ठगों ने उनसे करीब 50 लाख रुपए निवेश करवा दिए। लेकिन जब पीड़ित ने रुपए निकालना चाहा तो वे ट्रांजेक्शन नहीं कर पाए। जिसके बाद उन्हें ठगी का एहसास हुआ। जब उन्होंने कुणाल से संपर्क करना चाहा तो वे भी गायब था। जिसके बाद पीड़ित ने ​थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई।

इन दिनों साइबर ठग बुजुर्गों को ज्यादा निशाना बनाते हैं। क्योंकि बुजुर्ग उनके लिए सॉफ्ट टारगेट होते हैं। इसलिए बुजुर्गों को टेक्नोलॉजी की जानकारी देने के साथ ही सावधानियां भी बताएं। बुजुर्ग बहुत जल्दी दूसरों के प्रभाव में आ सकते हैं। ऐसे में समय-समय पर उनके पास बैठकर आप उनसे बात करें और उन्हें ऐसे ठगी के विषय में सचेत करते रहें। साथ ही निवेश से पहले परिवार से सलाह लेने या जानकारी देने के लिए भी कहें।

आपको बता दें कि साइबर अपराध की शिकायत आप साइबर थाने में करवा सकते हैं। इसी के साथ भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र (I4C) की वेबसाइट https://cybercrime.gov.in/ पर भी आप अपनी रिपोर्ट दर्ज करवा सकते हैं। वित्तीय साइबर धोखाधड़ी से संबंधित शिकायतें राष्ट्रीय हेल्पलाइन नंबर 1930 पर कॉल करके भी दर्ज करवाई जा सकती हैं। पोर्टल पर साइबर अपराध की रिपोर्ट करने के लिए दो विकल्प उपलब्ध होते हैं। पहला महिलाओं और बच्चों से संबंधित साइबर अपराध की रिपोर्ट दर्ज करवाने से संबंधित है। इसके अंतर्गत आप ऑनलाइन चाइल्ड पोर्नोग्राफी, बाल यौन शोषण सामग्री या यौन रूप से स्पष्ट सामग्री जैसे बलात्कार/सामूहिक बलात्कार सामग्री से संबंधित शिकायतों की रिपोर्ट कर सकते हैं। वहीं दूसरे में अन्य साइबर अपराध शामिल हैं। इसके अंतर्गत आप साइबर अपराध जैसे सोशल मीडिया अपराध, ऑनलाइन वित्तीय धोखाधड़ी, रैनसमवेयर, हैकिंग, क्रिप्टोकरेंसी अपराध, ऑनलाइन साइबर तस्करी आदि की शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।

मैं अंकिता शर्मा। मुझे मीडिया के तीनों माध्यम प्रिंट, डिजिटल और टीवी का करीब 18 साल का लंबा अनुभव है। मैंने राजस्थान के प्रतिष्ठित पत्रकारिता संस्थानों के साथ काम किया है। इसी के साथ मैं कई प्रतियोगी परीक्षाओं की किताबों की एडिटर भी...