गृहलक्ष्मी की कहानियां : एक बार मेरा पढ़ने-लिखने में मन नहीं लगा रहा था। उसी दौरान मेरी मां ने मुझे टोका तो मैंने कहा, ‘मैं बहुत टेंशन में हूं।’ मां ने पूछा क्यों? मैं बोली, ‘सारे बच्चे शादी करने वाले हैं। क्या तुम मुझे शादी करने दोगी? तुम तो नहीं करने दोगी इसलिए मेरा मन पढ़ने में नहीं लगता है।’ मेरी बात सुनकर मां जोर से हंस पड़ी। आज भी यह बात सोचकर मुझे खुद पर हंसी आती है।
1- नानी तेरी मोरनी को मोर ले गया
बात उस समय की है जब मेरे जन्मदिन पर मेरे नाना-नानी आए हुए थे। पार्टी में मैंने मोरनी वाला डांस भी किया और नानी ने उपहार में मोर का शो-पीस दिया। पार्टी खत्म होने के बाद रात को जब सब लोग सोने चले गए तभी मैंने नानी की बत्तीसी यानी नकली दांत छुपाकर रख दिया। जब सुबह शिकायत हुई तो नानी के पुचकारने पर मैंने भोलेपन से कहा कि आपकी मोरनी को तो मोर ले गये, बाकी बची बत्तीसी को काले चोर ले गए, मेरी इस नादान हरकत पर सब हंस पड़े।



2- चीनी बच्चे पैदा कर रहा हूं
बात तब की है जब मैं पांच वर्ष का था। मेरे चाचाजी मेरे पास बैठे हुए थे। उन्होंने बताया कि तुम्हें मालूम है कि चीन में सबसे ज्यादा लोग रहते हैं और जितने समय में तुम एक बार सांस लेते हो उतने समय में 3 चीनी बच्चे जन्म ले लेते हैं। यह सुनकर मैं थोड़ी देर बाद जल्दी-जल्दी सांस लेने लगा। चाचाजी ने जब इसका कारण पूछा तो मैंने कहा कि मैं जल्दी-जल्दी चीनी बच्चे पैदा कर रहा हूं। यह सुनकर वह बहुत हंसे। मैं उस वक्त कुछ समझ न पाया, पर जब आज सोचता हूं तो अनायास ही हंसी आ जाती है।
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