Baazigar Untold Story
Baazigar Untold Story

Summary: शाहरुख को हीरो साबित करने के लिए बदली गई थी बाजीगर

पहले की कहानी पर अगर यह फिल्म बनती तो शाहरुख खान शुद्ध रूप से खलनायक ही साबित होते...

Baazigar Untold Story: शाहरुख खान की फिल्म बाजीगर अपने वक्त में बिल्कुल अलग हटकर फिल्म थी। उस समय जब हर हीरो ‘मसीहा’ बनने में लगा था, शाहरुख ने ठंडे दिल वाले कातिल का रोल करके सबको चौंका दिया। लेकिन क्या आप जानते हैं, अगर फिल्म की ओरिजिनल स्क्रिप्ट पर फिल्म बनती, तो आखिर में काजोल शाहरुख खान को मार देती!

हाल ही में फिल्म के डायरेक्टर अब्बास-मस्तान ने इस फिल्म के पीछे की कहानी शेयर की। उन्होंने बताया कि बाज़ीगर का कॉन्सेप्ट उस समय के लिए बिलकुल नया था। मस्तान ने कहा, “लोग शाहरुख के कैरेक्टर को नेगेटिव मानते थे, पर हमारे लिए वह हीरो ही था। अगर किसी कैरेक्टर के पीछे कोई इमोशनल वजह हो, तो उसके नेगेटिव बनने पर भी लोग उससे जुड़ जाते हैं।”

अब्बास-मस्तान ने खुलासा किया कि फिल्म की पहली ड्राफ्ट स्क्रिप्ट पूरी तरह अलग थी। उस कहानी में शाहरुख का कैरेक्टर एकदम खलनायक था। उसकी बचपन की जिंदगी बहुत मुश्किलों में बीती थी। उसके पिता शराब पीकर मां को मारते थे और वह बच्चा मन ही मन ठान लेता है कि एक दिन वह अमीर बनेगा। बड़ा होकर वह एक करोड़पति की दोनों बेटियों से रिश्ता बनाता है, फिर उस अमीर की संपत्ति पाने के लिए एक बेटी को मार देता है। बड़ा ट्विस्ट ये था कि बाद में दूसरी बेटी (जिसे फिल्म में काजोल ने निभाया) को शाहरुख के इरादों का पता चल जाता है और वह उसे मार देती।

अब्बास-मस्तान ने बताया कि उन्होंने उस समय मनमोहन देसाई और प्रकाश मेहरा जैसी फिल्मों से इंस्पिरेशन ली थी और महसूस किया कि बिना इमोशंस के फिल्म हिट नहीं हो सकती। उन्होंने कहा, “फिल्म में सबसे बड़ा इमोशन मां-बाप का होता है। अगर इमोशंस नहीं होंगे, तो फिल्म नहीं चलेगी।” इसीलिए उन्होंने शाहरुख के कैरेक्टर को इमोशनल बैकस्टोरी दी। फिल्म में दिखाया गया कि कैसे उसके पिता को बिजनेसमैन मदन चोपड़ा ने धोखा देकर उसकी फैमिली को बर्बाद कर दिया था। उसके पिता की मौत और छोटी बहन की मौत ने शाहरुख के किरदार को बदला। इस तरह शाहरुख का कैरेक्टर भले नेगेटिव रहा, लेकिन दर्शक उसके साथ कनेक्ट कर पाए। उन्होंने बताया कि इस बदलाव को लेकर उन्होंने प्रोड्यूसर से समय लिया ताकि नई स्क्रिप्ट पर फिर से काम कर सकें। उन्होंने कहा, “बाज़ीगर में स्क्रीनप्ले ही सबसे महत्वपूर्ण था। यही वजह थी कि फिल्म हिट हुई।”

फिल्म में शाहरुख खान के किरदार ‘अजय शर्मा’ की कहानी दिखाई गई, जो मदन चोपड़ा से बदला लेने के लिए उसकी बेटियों को अपने प्यार में फंसा देता है। वह एक बेटी को मार देता है और दूसरी से सच में प्यार कर बैठता है। अंत में वह एक हिंसक टकराव में मारा जाता है, लेकिन बदला लेकर ही मरता है। फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर धमाका कर दिया था और शाहरुख खान का करियर ऊंचाइयों पर ले गई। लोग, शाहरुख के इस नेगेटिव रोल से इतना कनेक्ट कर गए कि वो विलेन होते हुए भी हीरो बन गए।

ढाई दशक से पत्रकारिता में हैं। दैनिक भास्कर, नई दुनिया और जागरण में कई वर्षों तक काम किया। हर हफ्ते 'पहले दिन पहले शो' का अगर कोई रिकॉर्ड होता तो शायद इनके नाम होता। 2001 से अभी तक यह क्रम जारी है और विभिन्न प्लेटफॉर्म के लिए फिल्म समीक्षा...