अपने बैकग्राउंड के बार में कुछ बताइए?
 
मेरे मम्मी-पापा एनआरआई थे। उन्हें मेरा एक्टिंग करना पसंद नहीं था। मनचेस्टर में मैने एक थियेटर ग्रुप ज्वाइन किया लेकिन ज्यादा कुछ नहीं कर पाई। पढ़ाई में भी मैं तेज थी। कुछ साल मैंने एक प्राइवेट कंपनी में चार्टेड अकाउंटेंट के तौर पर भी काम किया। 
 
ऐसी कौन सी वजह थी जो आपको लंदन से मुम्बई खींच ले आई ?
 
वजह सिर्फ एक्टिंग नहीं बल्कि एक्टिंग ही है जो मुझे लंदन से मुम्बई ले आई। मुझमें एक्टिंग का कीड़ा बचपन से ही था लोग मुझे ड्रामा क्वीन कहकर बुलाते थे। बस एक मौका चाहिए था हौंसलों को पंख लगने का वो अवसर मुझे यहां आ कर मिल गया।
 
आप स्टार प्लस को कैसे मिली ?
 
मैं स्टार प्लस को नहीं बल्कि स्टार प्लस मुझे मिल गया। मैं पहले साउथ में ट्राई कर रही थी फिर शो के बारे में सुना तो ऑडिशन देेने आ गई। उस समय तो मैं काफी नर्वस थी लेकिन जब आस्था का रोल मुझे मिला तो लगा जल्द ही ख्वाब पूरे होने को हैं।
 
आपका स्ट्रगल का दौर कैसा रहा ?
 
अनजान देश में फ्लैट ढूंढना उसका रेंट चुकाना, दिनभर लाइन में लग कर ऑडीशन देना आसान नहीं था। और मेरी कोई खास जान-पहचान नहीं थी इंडस्ट्री में इसलिए कई बार रिजेक्शन मिले। 2 साल तक मैंने कड़ी चुनौैतियों का सामना किया तब जाकर मुझे उम्मीद की डोर हाथ लगी।
 
आपके सपनों का राजकुमार कैसा होना चाहिए ?
 
मुझे अपने लाइफ पार्टनर को लेकर बहुत ज्यादा उम्मीदें नहीं हैं बस ऐसा लगता है कि आपके लिए कहीं न कहीं कोई तो जरूर ऐसा बना होगा जो मेरी खामियों को भी अपनाएगा। हां बस वो एक अच्छा इंसान होना चाहिए ।
 
आपका ड्रीमरोल क्या है?
 
अभी-अभी तो मैं इंडस्ट्री में आईं ही हूँ जो कर रहीं हूँ उसी में खुश हूँ लेकिन अगर मुझे कभी मौका मिला तो मैं रानी मुखर्जी का ब्लैक फिल्म वाला रोल प्ले करना चाहूँगी। इसीलिए की ये रोल काफी चैलेंजिंग है।
 
आप इंडस्ट्री में अपना रोल मॉडल किसे मानती हैं?
 
मुझे शाहरूख खान पर्सनली बहुत पसंद हैं। उनकी जर्नी मुझे प्रेरणा देती है कि आप किसी भी बैकग्राउंड के हो.. अगर आप में प्रतिभा है तो बिना किसी सपोर्ट के भी दुनिया के लिए एक उदाहरण बन सकते हो। 
 
 
फेवरेट फूड – शाही पनीर, दाल मखनी
फेवरेट डेस्टिनेशन – मुंबई
ड्रीम डेस्टिनेशन – ग्रीस