20+ काठमांडू के ये हैं घूमने के लिए बेहतरीन स्थान और प्रमुख दर्शनीय स्थल
Famous Places in Dubai : दुबई अमीरों का शहर है, जहां पर आपको कई तरह की ऊंची-ऊंची इमारतें देखने का मौका मिलेगा। आप बुर्ज खलीफा से लेकर बर दुबई घूमने का लुत्फ उठा सकते हैं। आइए जानते हैं कुछ प्रसिद्ध स्थलों के बारे में-
Kathmandu Me Ghumne ki Best Jagah: भारत और नेपाल का रिश्ता काफी विशेष हैं, क्योंकि यहां भगवान श्रीराम की ससुराल है। जनकपुर की मां सीता से श्रीराम का विवाह हुआ था। धर्म की दृष्टि से भी दोनों देश एक-दूसरे से काफी जुड़े हुए हैं। नेपाल में दो धर्म प्रमुख है पहला हिंदू धर्म और दूसरा बौद्ध धर्म। नेपाल की राजधानी काठमांडू घूमने के लिए काफी अच्छी जगह है। भारत से बहुत से लोग काठमांडू घूमने के लिए जाते हैं। यहां की संस्कृति और सभ्यता लोगों को काफी आकर्षित करती है। काठमांंडू में घूमने की काफी सारी जगह हैं। पशुपतिनाथ मंदिर समेत कई सारे मंदिर व पर्यटक स्थल है, जहां सैलानियों की भीड़ लगती है। चलिए काठमांडू के बारे में और अधिक विस्तार से जानते हैं और यहां की प्रमुख जगह के बारे में आपको बताते हैं।
काठमांडू में घूमने के लिए 20 खूबसूरत जगह – Famous Places in Kathmandu
| जगह | शहर से दूरी/किलोमीटर |
| पशुपतिनाथ मंदिर (Pashupatinath Temple) | 3.2 किमी |
| स्वयंभूनाथ मंदिर (Swayambhunath Temple) | 5 किमी |
| नगरकोट (Nagarkot) | 32 किमी |
| जनकपुर (Janakpur) | 200 किमी |
| लुम्बिनी (Lumbini) | 260 किमी |
| पोखरा (Pokhara) | 200 किमी |
| चितवन नेशनल पार्क (Chitwan National Park) | 96 किमी |
| चंगुनारायण मंदिर (Changu Narayan Temple) | 12 किमी |
| मनकामना मंदिर (Manakamana Temple) | 105 किमी |
| जल नारायण मंदिर (Jal Narayan Temple) | 10 किमी |
| डोलेश्वर महादेव मंदिर (Doleshwar Mahadev Temple) | 18 किमी |
| पाटन कृष्ण मंदिर (Patan Krishna Temple) | 8 किमी |
| सपनों का बागीचा (garden of dreams) | 1.6 किमी |
| नमो बुद्ध (स्तूप) (Namo Buddha (Stupa)) | 40 किमी |
| कीर्तिपुर (Kirtipur) | 5 किमी |
| बौधनाथ स्तूप (Boudhnath Stupa) | 11 किमी |
| दक्षिणकाली मंदिर (Dakshinkali Temple) | 22 किमी |
| नारायणहिती पैलेस संग्रहालय (Narayanhiti Palace Museum) | 1.5 किमी |
| दरबार स्क्वायर (Durbar Square) | 3 किमी |
| बिन्ध्यबासिनी मंदिर (Bindhyabasini Temple) | 2.9 किमी |
पशुपतिनाथ मंदिर (Pashupatinath Temple)
काठमांडू से लगभग 3 किलोमीटर की दूरी पर पशुपतिनाथ मंदिर है। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। यह नेपाल की बागमती नदी के किनारे पर बना हुआ है। पशुपतिनाथ मंदिर को यूनेस्को ने सन 1979 में विश्व धरोहर के रूप में शामिल किया था। अगर आप काठमांडू घूमने का प्लान कर रहे हैं तो भगवान शिव को समर्पित पशुपतिनाथ मंदिर के दर्शन जरूर करें।
प्रवेश शुल्क
पशुपतिनाथ मंदिर में जाने के लिए भारत और नेपाल के भक्तों को कोई प्रवेश शुल्क नहीं देना पड़ता है। मंदिर के कपाट सुबह 4:00 बजे से रात 9:00 बजे तक खुलते है।

स्वयंभूनाथ मंदिर (Swayambhunath Temple)
स्वयंभूनाथ मंदिर को बंदर मंदिर के नाम से भी जानते हैं। स्वयंभू का शाब्दिक अर्थ है स्वयं का अस्तित्व। स्वयंभूनाथ क्षेत्र के आसपास महत्वपूर्ण स्मारक हैं। 460 ईस्वी पूर्व के मिले एक शिलालेख के अनुसार, स्वयंभूनाथ मंदिर का निर्माण 13वीं शताब्दी में हुआ था। इसे उस वक्त के राजा मानदेव ने बनवाया था। स्वयंभूनाथ मंदिर बौद्धों के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान है। यह मंदिर काठमांडू से महज 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।
प्रवेश शुल्क
स्वयंभूनाथ मंदिर यानी बंदर मंदिर में प्रवेश के लिए शुल्क लिया जाता है। भारतीय और सार्क नागरिकों को एनपीआर 50 लागू करना होगा। विदेशी नागरिकों को एनपीआर 200 का भुगतान करना होगा।मंदिर जाने का समय सुबह 9 बजे से पहले जाना सबसे अच्छा रहता है। दिन के समय में यहां काफी भीड़ रहती है, जिससे पर्यटन संबंधी चीजें करना मुश्किल हो जाता है।

नगरकोट (Nagarkot)
काठमांडू से लगभग 32 किलोमीटर पूर्व में नगरकोट में आप प्राकृतिक की सुंदरता देख सकते हैं। भगतपुर ज़िले में स्थित नगरकोट 2000 मीटर की ऊंचाई पर स्थित हैं। यहां से आप हिमालय की 8 पर्वतमाला देख सकते हैं। यहां काफी संख्या में पर्यटक घूमने हेतू आते हैं। काठमांडू आने वाले टूरिस्ट नगरकोट में प्राकृतिक सुंदरता निहारने जरूर आते हैं। आप अपने वाहन या फिर सार्वजनिक बस से भी नगरकोट जा सकते हैं।
प्रवेश शुल्क
नगरकोट में कुछ दृष्टिकोण और सांस्कृतिक स्थलों में प्रवेश शुल्क हो सकता है। आमतौर पर प्रति व्यक्ति $2 से $10 तक हो सकता है। नगरकोट में आप किसी भी मौसम में कभी भी जा सकते हैं। लेकिन यहां पर सुर्योदय का शानदार दृश्य देखा जा सकता है। इस कारण नगरकोट में प्रात: सुबह जाना ही अच्छा माना जाता है।

जनकपुर (Janakpur)
नेपाल के जनकपुर से भारतीयों को खास लगाव है। दरअसल, यह श्रीराम का ससुराल और माता सीता का मायका है। मां सीता के जन्म स्थान होने के नाते जनकपुर से भारत के लोग खासा जुड़ाव महसूस करते हैं। काठमांडू से लगभग 200 किमी दूर स्थित, जनकपुर विभिन्न मार्गों से आसानी से पहुंचा जा सकता है। यह नेपाली पर्यटन का एक अभिन्न अंग है। यहां पर भव्य मंदिर है, जिन्हें देखने के लिए यहां भक्तों की भीड़ लगती है। बहुत से पर्यटक जनकपुर आते हैं और यहां की संस्कृति के प्रति आकर्षित होते हैं।
प्रवेश शुल्क
जनकपुर में कोई प्रवेश शुल्क नहीं लगता है। यहां पर आप प्रात: सुबह से शाम तक जा सकते हैं।

लुम्बिनी (Lumbini)
लुंबिनी भगवान बुद्ध की जन्मस्थली है। यह नेपाल के प्रमुख पर्यटक स्थलों में से एक है। काठमांडू और लुंबिनी के बीच की दूरी 260 किलोमीटर से अधिक है। यहां पर बहुत से पर्यटक स्थल है, जैसे अशोकन स्तंभ, बौद्ध मंदिर, जापान शांति स्तूप, बोधि वृक्ष, लुंबिनी संग्रहालय और लुंबिनी अंतर्राष्ट्रीय अनुसंधान संस्थान। आप हवाई मार्ग या बस से काठमांडू से लुंबिनी जा सकते हैं। यहां पर्यटकों के लिए ठहरने के लिए कई होटल भी है।
प्रवेश शुल्क
मुख्य द्वार पर केवल एक टिकट की कीमत और एक वीडियो कैमरा उपलब्ध है। लुंबिनी प्रवेश शुल्क 500 रुपए है। नेपाली के लिए निशुल्क और भारतीयों के लिए 16 रुपए हैं। श्रीलंका, पाकिस्तान, बांग्लादेश, भूटान के लिए 200 रुपए प्रवेश शुल्क है। मूल रूप से कहा जाए तो एक विदेशी के लिए शुल्क 500 रुपए है, जिसमें आपका एक स्टिल कैमरा भी शामिल है। यहां यात्रा का सबसे अच्छा समय अक्टूबर-नवंबर है।

पोखरा (Pokhara)
पोखरा पड़ौसी देश नेपाल का एक प्रमुख पर्यटक स्थल है। यह हिमालय के तलहटी में स्थित है। यह नेपाल की पर्यटक राजधानी भी है। यहां पर हर दिन हजारों पर्यटक घूमने आते हैं। यह शहर 900 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। यहां पर पर्यटक बोटिंग का आनंद ले सकते हैं। यहां धार्मिक स्थल भी है। काठमांडू से पोखरा की दूरी लगभग 200 किलोमीटर है।
प्रवेश शुल्क
पोखर में विभिन्न पर्यकट स्थलों पर जाने पर पर्यटन शुल्क देना होगा। पोखरा जाने का सही समय नवंबर, दिसंबर और जनवरी का महीना है।

चितवन नेशनल पार्क (Chitwan National Park)
काठमांडू में घूमने वाले पर्यटकों को चितवन नेशनल पार्क भी जरूर आना चाहिए। यहां पर तेंदुए, भालू आदि समेत सभी प्रकार के वन्य जीव है। यहां आपको इंटरनेशनल जीव भी देखने को मिलेंगे। यहां पर देशी वन्य जीव तो है ही इसके अलावा विदेशी जीव जंतु भी इस नेशनल पार्क में हैं। यहां पर जीप सफारी में सवारी की जा सकती है।
प्रवेश शुल्क
नेपाली नागरिकों के लिए 150 एनपीआर, सार्क नागरिकों के लिए 1000 पीएनआर, विदेशियों और 10 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए 2000 एनपीआर निःशुल्क है। चितवन नेशनल पार्क में जाने का समय सुबह 10 बजे से लेकर शाम के 6 तक है।

चंगुनारायण मंदिर (Changu Narayan Temple)
काठमांडू के पास चंगुनारायण मंदिर स्थित है। काठमांडू जाने वाले पर्यटकों को इस मंदिर के दर्शन भी करने चाहिए। यहां भगवान विष्णु और शेषनाग की मूर्ति स्थापित है। यह मंदिर नेपाल में काफी प्रसिद्ध है। चंगुनारायण मंदिर यहां का सबसे प्राचीन मंदिर है। यहां काफी संख्या में लोग दर्शन करने के लिए आते हैं। काठमांडू से लगभग 12 किलोमीटर पूर्व में चांगु नारायण में एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित है।
प्रवेश शुल्क
इस मंदिर में नेपालियों के लिए कोई शुल्क नहीं लगता है। सार्क नागरिक के लिए 100 एनआरपी और विदेशी नागरिक के लिए 300 एनआरपी लगता है। मंदिर के खुलने का समय सुबह 4 बजे से अपराह्न 10 बजे तक है।

मनकामना मंदिर (Manakamana Temple)
काठमांडू से लगभग 105 किलोमीटर उत्तर-पश्चिम में गोरखा जिले में कुरिन्तार की एक पहाड़ी पर मनकामना मंदिर स्थित है। यह एक प्रसिद्ध हिंदू मंदिर है। माना जाता है कि यहां आकर भक्तों की मन की कामना पूरी हो जाती है।
प्रवेश शुल्क
मनकामना मंदिर में जाने के लिए कोई प्रवेश शुल्क नहीं देना होता है। मंदिर खुलने का समय सुबह 5 बजे से दोपहर 12 बजे तक है। उसके बाद अपराह्न 2 बजे से अपराह्न 9 बजे है। यहां जाने के लिए काठमांडू से बस भी मिलती है। साथ ही आप अपने निजी वाहन या किसी वाहन को किराए पर ले जा सकते हैं।

जल नारायण मंदिर (Jal Narayan Temple)
नेपाल की काठमांडू घाटी में जल नारायण मंदिर स्थित है। इसे बुधनिलकंठ के नाम से भी जाना जाता है। काठमांडू से लगभग 10 किलोमीटर उत्तर में स्थित यह एक प्रसिद्ध हिंदू मंदिर है। यह मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। इस मंदिर में शेषनाग पर आराम करते हुए भगवान विष्णु की विशाल पत्थर की मूर्ति है। यह एक कुंडलित नाग है जो चमत्कारिक रूप से विश्राम तालाब में तैरता है। मान्यता के अनुसार, भगवान विष्णु की यह छवि सातवीं शताब्दी में लिच्छवी काल के दौरान बनाई गई थी, जो प्राचीन नेपाली पत्थर की मूर्तिकला का उत्कृष्ट नमूना है।
प्रवेश शुल्क
इस मंदिर में जाने के लिए प्रवेश शुल्क नहीं लिया जाता है। इस मंदिर के खुलने का समय प्रातः 04:00 से सायं 07:30 बजे तक है। इस मंदिर में काठमांडू से बस से जाया जा सकता है।

डोलेश्वर महादेव मंदिर (Doleshwar Mahadev Temple)
भक्तपुर के सूर्यबिनायक में डोलेश्वर महादेव मंदिर स्थित है। यह प्राचीन मंदिर काठमांडू के पास सुविधाजनक रूप से स्थित है। बता दें कि इस मंदिर का इतिहास हिंदू महाकाव्य रामायण के पन्नों से मिलता है। स्थानीय किंवदंती के अनुसार, यह वह पवित्र स्थान है जहां कहा जाता है कि राक्षस राजा रावण के साथ एक महान युद्ध के बाद भगवान शिव का सिर उनके शरीर से अलग हो गया था। यह पौराणिक संबंध मंदिर को एक अद्वितीय आध्यात्मिक आभा प्रदान करता है जो विभिन्न स्थानों से तीर्थयात्रियों को आकर्षित करता है।
प्रवेश शुल्क
इस मंदिर के दर्शन के लिए प्रवेश शुल्क की आवश्यकता नहीं पड़ती है। मंदिर के खुलने का समय प्रातः 05:30 से सायं 07:00 बजे तक है। काठमांडू से भक्तपुर बस द्वारा आसानी से जा सकते हैं।

पाटन कृष्ण मंदिर (Patan Krishna Temple)
पाटन कृष्ण मंदिर एक हिंदू तीर्थ स्थल है। यह भगवान कृष्ण को समर्पित है। इस मंदिर का निर्माण 17वीं शताब्दी में हुआ था। इस मंदिर के पहली मंजिल पर भगवान कृष्ण, राधा और रुक्मिणी के मंदिर हैं। दूसरी कहानी भगवान शिव को समर्पित है, जबकि तीसरी भगवान बुद्ध को समर्पित है। यह ऐतिहासिक और धार्मिक रूप से काफी महत्वपूर्ण तीर्थ स्थल है।
प्रवेश शुल्क
इस मंदिर में जाने के लिए कोई प्रवेश शुल्क नहीं लगता है। मंदिर के खुलने का समय सुबह प्रातः 04:00 बजे से रात्रि 09:00 बजे तक है। काठमांडू से पाटन 8 किलोमीटर दूर है। आप बस से पाटन आसानी से जा सकते हैं।

सपनों का बागीचा (garden of dreams)
काठमांडू में घूमने वाले पर्यटक स्वप्ना बैगिचा भी जाते हैंं। स्वप्ना बैगिचा को हिंदी में सपनों का बागीचा व अंग्रेजी में गार्डन ऑफ़ ड्रीम्स भी कहा जाता है। यह 1920 के दशक में निर्मित, बगीचे को ऑस्ट्रियाई-वित्तपोषित टीम द्वारा पुनर्जीवित किया गया था। सपनों का बगीचा जिसे छह मौसमों का बगीचा भी कहा जाता है, एक नव-शास्त्रीय नियोजित उद्यान है जो काठमांडू के कैसर महल जिले में स्थित है।
प्रवेश शुल्क
सपनों का बागीचा में प्रवेश के लिए प्रति व्यक्ति 200 नेपाली रुपए लगते हैं। यह सप्ताह के प्रत्येक दिन सुबह 9 बजे से रात 10 बजे तक खुला रहता है।

नमो बुद्ध स्तूप (Namo Buddha Stupa)
नमो बुद्ध काठमांडू शहर के केंद्र से लगभग 40 किमी दूर है। नमो बुद्ध काठमांडू में सबसे प्रसिद्ध बौद्ध धार्मिक स्मारकों में से एक है। नमो बुद्ध तीर्थस्थल बौधनाथ स्तूप से चार किलोमीटर दूर है। यह पर्ययन की दृष्टि से काफी अच्छी जगह मानी जाती है। यहां पर पहाड़ व जंगल का अच्छा दृश्य देखने को मिलता है।
प्रवेश शुल्क
काठमांडू से नमो बुद्ध धार्मिक स्मारक जाने के लिए बस की सुविधा मिलती है।

कीर्तिपुर (Kirtipur)
कीर्तिपुर शहर काठमांडू के केंद्र से सिर्फ 5 किमी दूर स्थित है। इसका पुराना हिस्सा एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित है। यहां के मुख्य दर्शनीय स्थल हैं त्रिरत्न मंदिर, देव पुक्को (रानी के महल के साथ शहर का केंद्र), बाग भैरब मंदिर और उमा महेश्वर मंदिर।
प्रवेश शुल्क
कीर्तिपुर में सभी दर्शनीय स्थलों में प्रवेश निःशुल्क है। इस शहर में घूमने के लिए आधा दिन काफी है। काठमांडू से बस द्वारा यहां आसानी से आया जा सकता है।

बौधनाथ स्तूप (Boudhnath Stupa)
बौधनाथ स्तूप दुनिया के सबसे बड़े स्तूपों में से एक है। यह स्तूप एक आश्चर्यजनक गोलाकार वर्ग के भीतर स्थित है। यह काठमांडू के केंद्र से 11 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। आप बस से बौधनाथ स्तूप जा सकते हैं।
प्रवेश शुल्क
बौधनाथ स्तूप को पास के पशुपतिनाथ मंदिर की एक छोटी यात्रा के साथ जोड़ने की सलाह दी जाती है। यदि आप वर्ग के कई माध्यमिक प्रवेश द्वारों में से किसी एक का लाभ उठाते हैं, तो आप 400 एनपीआर प्रवेश द्वार का भुगतान करने से बच सकते हैं।

दक्षिणकाली मंदिर (Dakshinkali Temple)
दक्षिणकाली मंदिर एक प्रमुख हिंदू मंदिर है, जो देवी कापी को समर्पित है। यह काठमांडू से लगभग 22 किलोमीटर दक्षिण पश्चिम में स्थित है। यह मंदिर असामान्य अनुष्ठानों और वफादार भक्तों के लिए प्रसिद्ध है। काली की सबसे प्रसिद्ध अभिव्यक्ति माँ दक्षिणकाली है।
प्रवेश शुल्क
मंदिर में प्रवेश के लिए कोई शुल्क नहीं लिया जाता है। मंदिर में दर्शन का समय सुबह 6 बजे से रात 9 बजे तक है।

नारायणहिती पैलेस संग्रहालय (Narayanhiti Palace Museum)
नारायणहिती पैलेस संग्रहालय नेपाल के शाह राजवंश के पूर्व महल का एक आकर्षक प्रवेश द्वार है। यह काठमांडू के मध्य में स्थित है। इसका निर्माण 1863 में राजा महेंद्र ने किया था। अंतिम सम्राट राजा ज्ञानेंद्र को गद्दी से हटाने के बाद 2008 में महल को एक संग्रहालय के रूप में घोषित किया गया था।
प्रवेश शुल्क
नारायणहिती पैलेस संग्रहालय में विदेशी नागरिकों के लिए एनपीआर 500 है। सार्क नागरिक के लिए एनपीआर 250 है। नेपाली छात्र के लिए एनपीआर 20 व अन्य लोगों के लिए एनपीआर 100 है। नारायणहिती पैलेस संग्रहालय बुधवार से सोमवार तक सुबह 11 बजे से शाम 4 बजे तक खुलता है।

दरबार स्क्वायर (Durbar Square)
काठमांडू में दरबार स्क्वायर एक प्रसिद्ध विश्व धरोहर स्थल है। यह नेपाल की संस्कृति और अद्भुत वास्तुकला को प्रदर्शित करता है। दरबार स्क्वायर नेपाल में सांस्कृतिक कार्यक्रमों के लिए भी प्रमुख स्थान है। आप शाम के समय यहां जा सकते हैं।
प्रवेश शुल्क
नेपाल के लोगों के लिए यहां निशुल्क प्रवेश है। वहीं सार्क देश के नागरिकों के लिए एनपीआर 150 है। विदेशी नागरिकों के लिए एनपीआर 1000 है।

बिन्ध्यबासिनी मंदिर (Bindhyabasini Temple)
पोखरा में स्थित बिन्ध्यबासिनी मंदिर एक प्रसिद्ध हिंदू मंदिर है। यह मंदिर हिंदू देवी दुर्गा को समर्पित है। मां दुर्गा को पोखरा और इसके निवासियों का रक्षक माना जाता है। भक्त यहां अपनी मनोकामना पूरी करने के लिए पूजा करने और बलिदान देने आते हैं। माना जाता है कि इस मंदिर की स्थापना 17वीं शताब्दी में कास्की साम्राज्य के राजा सिद्धि नारायण शाह ने की थी।
प्रवेश शुल्क
इस मंदिर में कोई प्रवेश शुल्क नहीं लिया जाता है। यह मंदिर चौबीस घंटे खुला रहता है।

काठमांडू घूमने का सही समय (Best time to visit Kathmandu)
काठमांडू घूमने का सबसे अच्छा समय सितंबर से नवंबर तक है। इस समय मौसम शुष्क और स्पष्ट होता है और इसमें भाग लेने के लिए बहुत सारे सांस्कृतिक कार्यक्रम होते हैं।
काठमांडू कैसे जाएं
हवाई जहाज : अपने शहर से दिल्ली पहुंचकर नेपाल यात्रा करना काफी आसान हो सकता है। मामूल हो कि दिल्ली से काठमांडू की उड़ानें वाराणसी से काठमांडू की उड़ान के किराये की तुलना में बहुत कम कीमत प्रदान करती हैं।
ट्रेन : अगर आप ट्रेन से जाना चाहते हैं, तो आप अपने शहर से या फिर दिल्ली पहुंचकर वहां से ट्रेन द्वारा काठमांडू तक यात्रा कर सकते हैं। बता दें कि नेपाल के काठमांडू की ट्रेन यात्रा उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से शुरू होती है। कुछ ट्रेनें दिल्ली से गोरखपुर तक चलती हैं।
बसें या राजमार्ग : दिल्ली परिवहन निगम द्वारा 25 नवंबर 2014 को दिल्ली से काठमांडू तक सीधी बस सेवा शुरू की गई थी। यह लग्जरी बस दिल्ली गेट के पास स्थित डॉ. अंबेडकर स्टेडियम बस टर्मिनल से संचालित होती है। आप अपने शहर से दिल्ली पहुंचकर काठमांडू के लिए बस यात्रा कर सकते हैं। यदि आपके शहर से डायरेक्ट काठमांडू के लिए बस उपलब्ध है, तो आप वहां से जा सकते हैं। इसके अलावा अपनी गाड़ी से भी आप काठमांडू पहुंच सकते हैं।
काठमांडू में ठहरने के लिए होटल
होटल प्लेज़र होम
पता : थमेल, काठमांडू 44600, नेपाल
काठमांडू पीस होम
पता : पीस होम, बासुकी मार्ग, काठमांडू 44600, नेपाल
होटल डिस्कवर आईएनएन
पता : मकान नंबर 125, चिबहाल मार्ग 44600, काठमांडू 44600, नेपाल
FAQ | क्या आप जानते हैं
काठमांडू के सभी प्रसिद्ध स्थल व आसपास के अन्य ऐतिहासिक स्थलों को देखने के लिए 3 से 4 दिन काफी हैं।
काठमांडू घूमने के लिए कम से कम 7000 से 8000 हजार रुपए होने चाहिए। हालांकि, इस बात का ध्यान रखें कि हवाई यात्रा या फिर महंगे होटल बुक करके पर यह खर्चा बढ़ सकता है।
काठमांडू घूमने का सबसे अच्छा समय सितंबर से नवंबर के बीच का महीना होता है। इस दौरान प्राकृतिक सुंदरता काफी ज्यादा बढ़ जाती है।
काठमांडू में आपको कई सस्ते और महंगे होटल मिल जाएंगेI आप अपने बजट व पसंद के अनुसार होटल देख सकते हैंI काठमांडू घूमने का सबसे अच्छा समय सितंबर से नवंबर तक है। काठमांडू घूमने में कितने दिन लगते हैं?
रात के समय आप कई तरह के होटल, रेस्टोरेंट, पशुपति नाथ मंदिर, पठान कृष्णा मंदिर, सपनों के बगीचा जैसी जगहों पर घूम सकते हैं।
