Hindu Faith of Foot Touching: हिंदू धर्म में पैर छूने की परंपरा सदियों पुरानी है। पैर छूना या चरण स्पर्श करना एक प्राचीन परंपरा है। खास बात यह है कि प्राचीन समय से लेकर आधुनिक युग में भी इस परंपरा का महत्व बना हुआ है और आज भी हम गुरुजन और बड़े-बुजुर्गों के प्रति सम्मान प्रकट करने के लिए या प्रणाम करने के लिए उनके चरण स्पर्श करते हैं। इसी के साथ चरण स्पर्श करना या पैर छूना आपकी विनम्रता को भी दर्शाता है और इससे आपमें अहंकार और नकारात्मकता की भावना समाप्त होती है। पैर छूने के बाद गुरुजन या बुजुर्गों से हमें शुभेच्छा और आशीर्वाद भी मिलता है। साथ ही वैज्ञानिक दृष्टि से भी पैर छूने को कई शारीरिक लाभ बताए गए हैं। शास्त्रों में भी पैर छूने के महत्व और इसके लाभ का वर्णन मिलता है।
लेकिन कुछ लोगों के पैर छूना आपके लिए मुसीबत का कारण बन सकता है। क्योंकि हिंदू धर्म में ऐसे लोगों के बारे में बताया गया है जिनके पर हमें नहीं छूना चाहिए। अगर आप गलती से भी इन लोगों के पैर छूते हैं तो इससे आर्थिक तंगी के साथ ही विभिन्न तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। साथ ही आप पाप के भागीदार भी बन सकते हैं। इसीलिए यह जान लीजिए कि किन लोगों के चरण स्पर्श करने या फिर पैर छूने से बचना चाहिए।

कभी न करें इन लोगों का चरण स्पर्श

नकारात्मक और गलत विचार वालों के:- चरण स्पर्श करना एक अच्छा संस्कार माना जाता है। इसीलिए हम नई पीढ़ियों को भी यही सीख देते हैं कि माता-पिता, गुरु या फिर बड़े-बुजुर्गों के पैर छूकर आशीर्वाद लेना चाहिए। लेकिन शास्त्रों में बताया गया है कि जो लोग नकारात्मक विचारों से लिप्त रहते हैं उनके पैर कभी नहीं छूने चाहिए। नकारात्मक या बुरे विचार और गलत भावना वाले लोगों के पैर छूने का बुरा प्रभाव आप पर भी पड़ सकता है। इन लोगों के पैर छूने पर आप भी इसी दिशा में जा सकते हैं। यही कारण है कि ऐसे लोगों के पैर छूने की मनाही होती है।
मंदिर या पूजा-पाठ के समय:- मंदिर को देवी-देवताओं का पवित्र स्थान माना जाता है और संपूर्ण सृष्टि में देवी-देवता से सर्वोच्च कोई भी नहीं। इसीलिए जब आप मंदिर में हों या पूजा पाठ कर रहे हो तब भूल कर भी किसी के पैर न छुएं। फिर चाहे सामने वाला आपसे कितना ही बड़ा और सम्माननीय क्यों ना हो। इसी आप भी पूजा कर रहे हों या मंदिर में हों तो आपको भी अपने पैर किसी को नहीं स्पर्श करने देना चाहिए। एक मान्यता यह भी है कि मंदिर में किसी व्यक्ति के पैर छूने से पवित्रता भंग हो सकती है।
कुंवारी कन्या:- हिंदू धर्म में कन्याओं को देवी स्वरूप माना जाता है और इसीलिए कन्या पूजन का भी विधान है। यही कारण है कि घर की बेटियों को कभी अपने पैर नहीं छूने देना चाहिए। ऐसी मान्यता है कि छोटी कन्या या कुंवारी कन्याओं से चरण स्पर्श कराने पर आप पाप के भागीदार बन सकते हैं। इसके अलावा मामा-मामी के भी चरण स्पर्श नहीं करने चाहिए।
शमशान से लौटते व्यक्ति के:- जब कोई व्यक्ति शमशान घाट से लौट रहा हो, तब भी उसके पैर नहीं छूने चाहिए। चाहे वह व्यक्ति आपसे उम्र में कितना ही बड़ा क्यों ना हो। ऐसी स्थिति में पैर छूना अशुभता का कारण बन सकता है। इसके साथ ही शास्त्रों में बताया गया है कि जो व्यक्ति बिस्तर पर लेटा या फिर सोया हुआ हो तो ऐसी अवस्था में भी उस व्यक्ति के पैर नहीं छूने चाहिए।
