Tallest Hanuman Statue In India
Tallest Hanuman Statue In India

भारत के इन शहरों में हैं हनुमान जी की सबसे ऊंची प्रतिमाएं: Tallest Hanuman Statue In India

आज हम आपको भारत में मौजूद सबसे उंचे हनुमान प्रतिमाओं के बारे में बताने वाले हैं।

Tallest Hanuman Statue In India: हनुमान जयंती का त्यौहार आने वाला है, जिसकी तैयारी में हनुमान भक्त जुट चुके हैं। इस दिन हनुमान भक्त उनके मंदिर में जाकर पूजा-अर्चना करते हैं। दुनिया भर में हनुमान जी की कई विशाल प्रतिमाएं हैं। भारत में भी हनुमान जी की असंख्य विशालकाय प्रतिमाएं हैं। ऊंची से ऊंची हनुमान प्रतिमा बनाने के तो हर 3 वर्षों में रिकॉर्ड टूट जाते हैं। ऐसे में आप अपनी छुट्टियों में इन हनुमान मंदिरों के दर्शन कर सकते हैं। आज हम आपको भारत में मौजूद सबसे उंचे हनुमान प्रतिमाओं के बारे में बताने वाले हैं।

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Veer Abhay Anjani Hanuman Swami

यह भगवान हनुमान को समर्पित दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा है, जो आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा शहर में स्थित है। इस प्रतिमा की ऊंचाई 135 फीट है। इस मूर्ति को साल 2003 में विजयवाड़ा में स्थापित किया गया था। प्रतिदिन हजारों श्रद्धालु वीर अभय अंजनी हनुमान स्वामी प्रतिमा को देखने आते हैं। वैसे ये मंदिर विजयवाड़ा शहर से लगभग 30 किलोमीटर दूर NH-9 पर परितला गाँव में स्थित है। जहां आप बिना किसी शुल्क के हनुमान जी के दर्शन कर सकते हैं।

Jakhu Hanuman mandir

हिमाचल प्रदेश का शिमला शहर अपनी खूबसूरती के लिए मशहूर है। ऐसे ही बजरंगबली की विशालकाय मूर्ति शिमला में भी मौजूद है, जिसकी ऊंचाई 33 मीटर है। शिमला के जाखू मंदिर में इस मूर्ति की स्थापना की गई। यह मूर्ति 2,296 फुट की ऊंचाई पर स्थित है। इस मूर्ति की स्थापना नवंबर 2010 में एचसी नंदा न्यास की तरफ से की गई थी। इस मंदिर के लोकार्पण में बॉलीवुड के कई सेलिब्रिटीज भी शामिल हुए थे और हर साल यहां पर लाखों हनुमान भक्त दर्शन करने के लिए आते हैं।

पंजाब का अमृतसर शहर अपने गोल्डन टेंपल के लिए मशहूर है। ऐसे ही वहां पर रामतीर्थ मंदिर में हनुमान जी की 80 फीट वाली मूर्ति है। यह मूर्ति अमृतसर से मात्र 12 किलोमीटर की दूरी पर रामतीर्थ मंदिर वाल्मीकि परिसर में स्थित है। कहा जाता है कि यहां वाल्मीकिजी का आश्रम था, जहां सीताजी रुकी थीं और यहीं पर लव और कुश का जन्म हुआ था।

महाराष्ट्र के नंदुरा में हनुमानजी की विशालकाय मूर्ति की लंबाई 32 मीटर है। यह दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी मूर्ति है, जिसकी लंबाई 105 फीट है। खास बात यह है कि हनुमान जी के साथ उनकी गदा की भी लंबाई 30 फिट है। नंदुरा महाराष्ट्र का एक छोटा-सा कस्बा है, जो बुलढाणा जिले में आता है। मूर्ति के दर्शन के लिए गांव में अंदर जाने की आवश्यकता नहीं है। हाईवे से ही आप मूर्ति के दर्शन कर सकते हैं।

Karol Bagh Hanuman Mandir

दिल्ली के करोल बाग में स्थित हनुमान जी के मूर्ति के बारे में दुनिया भर के लोग जानते हैं। यह मूर्ति झंडेवालन और करोल बाग मेट्रो स्टेशन के बीच में मौजूद है, जिसकी लंबाई 108 फीट है। हनुमानजी की छाती में उनके हाथों के पीछे श्रीराम-सीता विराजमान हैं। इस मंदिर को लेकर कहा जाता है कि एक संत नागबाबा सेवागिरिजी यहां आए थे। प्रभु श्रीराम के आदेशानुसार ही उन्होंने हनुमानजी की प्रतिमा और मंदिर का निर्माण 1994 से आरंभ करवाया था, जो 2 अप्रैल 2007 को संपन्न हुआ। बता दें, प्रत्येक मंगलवार और शनिवार को इसी मूर्ति को देखने के लिए भक्त उमड़ पड़ते हैं।

Hanumat Dham

उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में हनुमान जी की 122 फुट वाली मूर्ति है, जिसे हनुमत धाम भी कहा जाता है। बता दें, इस प्रतिमा की ऊंचाई पहले 101 फुट रखने की योजना थी, लेकिन बाद में इसके नीचे 21 फुट का चबूतरा बनाया गया, जिस वजह से इसकी ऊंचाई 122 फुट हो गई। आप इस मूर्ति के दर्शन के लिए जा सकते हैं।

कर्नाटक राज्य के बेंगलुरु शहर में 102 फीट ऊंची अगारा हनुमान प्रतिमा स्थापित है, जो बेंगलुरु के किसी भी देवता की सबसे ऊंची मूर्ति मानी गई है। इस मूर्ति का उद्घाटन साल 2012 में हुआ था, जिसके बाद से प्रत्येक वर्ष यहां पर लोगों की भीड़ उमर पड़ती हैं। खासतौर पर हनुमान जयंती के मौके पर यहां पर विशेष कार्यक्रम भी आयोजित किए जाते हैं।

आंध्र प्रदेश के डोड्डीपटला में हनुमान जी की अबिराजुपालम प्रतिमा स्थित है। यह 98 फीट उूंची प्रतिमा है। इस मंदिर का लोकार्पण साल 2013 में हुआ था। इस मंदिर में मंगलवार और शनिवार को हनुमान भक्त की भीड़ रहती है। आपको इस मंदिर में जाने के लिए कोई भी शुल्क नहीं देना पड़ेगा।

Pitreshwar Hanuman Mandir

इंदौर के पितेृश्वर हनुमानजी की मूर्ति का वजन 108 टन और ऊंचाई 71 फुट है। इस प्रतिमा को बनाने के लिए सोना, चांदी, प्लेटिनम, एंटीमनी, जस्ता, सीसा और रांगा यानी अष्टधातु का इस्तेमाल किया गया है। इस मूर्ति की विशेष बात यह है कि ये भारत की पहली विशालकाय विराजमान मूर्ति है, जबकि सभी मूर्तियां खड़े हुनमानजी की है। इसके अलावा इस हनुमान मंदिर की खासियत यह भी है कि यहां पर आपको रामायण के कुछ अंश भी देखने को मिलेंगे।