Side Effects of AC: तपती दोपहर में एयर कंडीशनर की ठंडी-ठंडी हवा में बैठना आखिर किसे पसंद नहीं है। गर्मी में एसी की हवा से बड़ी राहत मिलती है। शायद यही कारण है कि अब एसी लगभग हर घर की जरूरत बन गया है। लेकिन क्या आपको पता है गर्मी से राहत देने वाला यह एयर कंडीशनर कई बीमारियों की जड़ भी है। जी हां, एसी में लगातार बैठने से आप कई बीमारियों के शिकार हो सकते हैं। जानिए कौनसी हैं वो परेशानियां और कैसे पाएं उनसे मुक्ति-
समझें दर्द की इस शिकायत के पीछे का सच

आपने कई बार सुना होगा या फिर खुद भी महसूस किया होगा कि लगातार एसी में बैठने से आपको शरीर में जकड़न सी महसूस होती है। कभी-कभी ज्वाइंट्स में दर्द की शिकायत होती है। अक्सर बुजुर्ग ऐसी शिकायतें करते हैं। आमतौर हम इसे वहम समझते हैं, लेकिन असल में यह एयर कंडीशनर का साइड इफेक्ट है। लंबे समय तक एसी में बैठे रहने से जोड़ों में अकड़न बढ़ जाती है। एयर कंडीशनर वातावरण को ठंडा करने के साथ नमी भी सोख लेता है। ऐसे में शरीर की नमी भी सोख लेता है, जिससे जकड़न और दर्द की समस्या हो सकती है।
त्वचा के साथ आंखों को भी होती है परेशानी

एसी लगे ऑफिस में घंटों बैठकर काम करने वाले लोगों को आमतौर पर त्वचा और आंखों में खुजली की परेशानी हो जाती है। इसका सबसे प्रमुख कारण है एयर कंडीशनर। दरअसल, एयर कंडीशनर के कारण वातावरण में नमी कम हो जाती है। जिसका असर आपकी स्किन और आंखों पर भी होता है। इससे आपको ड्राई स्किन की समस्या हो सकती है। कई बार यह परेशानी इचिंग और खुजली तक में बदल जाती है। इसी के साथ इससे झुर्रियां पड़ने की शिकायत भी हो सकती है। वहीं एसी आंखों की नमी को भी खत्म करता है, जिससे आंखें ड्राई हो जाती हैं और खुजली जैसी समस्या हो जाती है। ड्राई आई सिंड्रोम से पीड़ित लोगों को एसी में ज्यादा देर बैठने से बचना चाहिए।
सांस से संबंधित बीमारियां

लंबे समय तक एयर कंडीशनर में रहने से गले, नाक और आंखों के साथ ही सांस की समस्या हो सकती है। इसके कारण ड्राई थ्रोट, राइनाइटिस और नाक बंद होने जैसी कई परेशानियां आपको घेर सकती हैं। राइनाइटिस नाक के म्यूकस मेंमब्रेन की सूजन का कारण बनता है। यह अकसर वायरल इंफेक्शन या एलर्जिक रिएक्शन के कारण होता है। वहीं गंदे एसी अस्थमा मरीजों के लिए बड़ी परेशानी खड़ी कर सकते हैं।
दिमाग पर पड़ता है असर

एयर कंडीशनर के कारण होने वाले डिहाइड्रेशन से सिरदर्द और माइग्रेन हो सकता है। डिहाइड्रेशन हमेशा माइग्रेन को ट्रिगर करता है। जब आप बहुत देर तक एसी रूम में बैठने के बाद अचानक से गर्मी में बाहर आते हैं तो शरीर का तापमान संतुलित नहीं हो पाता और आप सिर दर्द के शिकार हो जाते हैं। इतना ही नहीं लगातार लंबे समय तक एसी के कम तापमान में रहने से यह मस्तिष्क की कोशिकाओं को संकुचित कर देता है। जिससे मस्तिष्क की क्रियाशीलता पर असर पड़ता है। इससे चक्कर आने की परेशानी भी हो सकती है।
लो ब्लड प्रेशर की शिकायत

लंबे समय तक एयर कंडीशनर की ठंडी हवा में बैठने से हमारे शरीर का तापमान काफी कम हो जाता है। जिसके कारण शरीर की कोशिकाएं संकुचित होने लगती हैं और रक्त संचार प्रभावित होने लगता है, जिससे लो ब्लड प्रेशर की शिकायत हो सकती है।
आप बच सकते हैं कई परेशानियों से

ऐसा बिल्कुल नहीं है कि एयर कंडीशनर सेहत के लिए बहुत ही नुकसानदायक है, लेकिन इसके उपयोग के साथ कुछ सावधानियां रखना जरूरी है, जिससे हम इसके दुष्प्रभावों से बचे रहें। वैसे भी एयर कंडीशनर आज की जरूर बन गया है। ऐसे में हमारी थोड़ी सी सावधानी हमें कई परेशानियों से बचा सकती हैं।
1. एसी के दुष्प्रभावों से खुद को बचाने के लिए सबसे जरूरी काम है, उन्हें साफ रखना। गंदे एयर फिल्टर से इनडोर वायु की गुणवत्ता खराब हो सकती है, जिससे सांस की समस्या, एलर्जी और अन्य स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए एसी के एयर फिल्टर को नियमित रूप से साफ करना या बदलना सुनिश्चित करें। समर सीजन में कम से कम दो बार एसी यूनिट को साफ करवाएं।
2. एसी वातावरण में मौजूद नमी के स्तर को कम करता है। ऐसे में कई परेशानियां होती हैं। इस समस्या से निजात पाने के लिए आर्द्रता के उचित स्तर को बनाए रखना जरूरी है। इसलिए अपने एसी यूनिट के साथ ह्यूमिडिफायर का उपयोग करें। यह हवा को नम रखने और शुष्कता को रोकने में मदद करेगा।
3. अपने एसी का सही तरीके से इस्तेमाल करने से आप इसके दुष्प्रभावों से भी बच सकते हैं। अपने थर्मोस्टेट को सामान्य तापमान पर सेट करें। इसे बहुत कम तापमान पर सेट करने से बचें। यह न केवल स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को रोकने में मदद करेगा बल्कि ऊर्जा की बचत करेगा। ऐसा करने से आपका बिजली का बिल भी कम आएगा। लंबे समय तक एसी यूनिट के सामने सीधे बैठने से बचें, क्योंकि इससे सर्दी और सांस की अन्य समस्याएं हो सकती हैं।
4. अपने एसी से ब्रेक लेना भी आपको इसके दुष्प्रभावों से बचाएगा। एसी में ज्यादा समय बिताने से थकान, सिरदर्द और अन्य स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए या तो आप बीच—बीच में एसी को बंद कर दें। या फिर हो सके तो खुद एसी वाले रूम से बाहर जाएं। ध्यान रखें ऐसा अचानक न करें। बॉडी को तापमान सेट करने का समय दें।
5. अपने कमरे में ऑक्सीजन देने वाले पौधों को जरूर रखें। ये आपके लिए बड़े काम के साबित होंगे। दरअसल, एसी चलाते समय हम सारे खिड़की, दरवाजे बंद कर देते हैं, ऐसे में कमरे की हवा बासी हो जाती है। ऑक्सीजन देने वाले पौधे कमरे की एयर को प्यूरिफाई करते रहेंगे। साथ ही पौधे आपकी मेंटल हेल्थ को भी बेहतर करते हैं।
6. एसी को सही तापमान पर और सही समय पर चलाना बेहद जरूरी है। कभी भी बाहर से आते ही एसी न चलाएं, नहीं तो अब सर्द गर्म के शिकार हो सकते हैं। इसलिए पांच से दस मिनट बाद आप एसी आॅन करें। इसके साथ ही जल्दी ठंडी हवा पाने के चक्कर में कभी भी एसी को 18 डिग्री पर न चलाएं। इसे हमेशा 25 डिग्री पर सेट करें।
7. जिस कमरे में एसी चलता है, वहां पानी से भरा एक बर्तन हमेशा रखें। इससे वातावरण में नमी बनी रहेगी और आप त्वचा व आंखें ड्राई होने की समस्या से बच पाएंगे। यह एक बहुत ही आसान तरीका है, एसी के दुष्प्रभाव से बचने का।
