धार्मिक भावनाओं को रूप देते हैं मंदिर। वही मंदिर जहां मन शांत रहता है और अपने दुख दर्द थोड़े कम नजर आते हैं। मंदिर यानि आस्था का केंद्र या वो जगह जहां आप अपने दुख बयां करने पहुंच जाते हैं। कहीं-कहीं मंदिर बहुत छोटे होते हुए भी काफी मान्यता रखते हैं। मगर इनकी भव्यता भी कम नहीं होती। कुछ-कुछ मंदिर ऐसे कमाल के बना दिए गए हैं कि कई लोग तो सिर्फ उसे ही देखने चले आते हैं। पर ये मत सोचिएगा कि ऐसे मंदिर सिर्फ भारत में ही हैं। भव्य होते हुए भी मान्यता रखने वाले मंदिर सिर्फ भारत में नहीं हैं विदेशों में भी हैं। विदेशी धरती पर भी आस्था के प्रतीक अनेक मंदिर हैं। इनको देखने सैलानी भी आते हैं हिन्दू धर्म को मानने वाले भी। इन मंदिरों के एक दर्शन तो बनते ही हैं। कोरोना के खत्म होने के बाद अगर आप विदेश घूमने का प्लान बनाएं  तो इन मंदिरों के दर्शन भी जरूरी कीजिएगा। चलिए फिर-
मुरुगन टेंपल, ऑस्ट्रेलिया-
ऑस्ट्रेलिया की राजधानी सिडनी में बने भगवान मुरुगन के इस खूबसूरत मंदिर को हिल्स पर बनाया गया है। ऐसा इसलिए है क्योंकि भगवान मुरुगन को पहाड़ों का देवता माना जाता है। इस मंदिर को ‘सिडनी मुरुगन’ भी कहा जाता है। ऑस्ट्रेलिया में बसा हिन्दू समुदाय इस मंदिर को आस्था का रूप मानता है। 
अंगकोर वट, कंबोडिया-
इस मंदिर को दुनिया का सबसे बड़ा धार्मिक स्मारक माना जाता है। भगवान विष्णु को समर्पित इस मंदिर को 12वीं शताब्दी में खेमर किंग सूर्यवर्मनम ने बनवाया था। मंदिर की मान्यता खूब है और इसकी इमारत की भी। यही वजह है कि युनेस्को ने इसे वर्ल्ड हेरिटेज साइट का दर्जा दिया हुआ है। 
पशुपतिनाथ मंदिर, नेपाल 
भगवान शिव के रूप पशुपति के लिए बना ये मंदिर बागमति नदी के किनारे बना है। काठमांडू की खाड़ी में बहती इस नदी का नजारा भी दिल को खुश कर देता है। युनेस्को की इस वर्ल्ड हेरिटेज साइट के लिए माना जाता है कि यहां मांगी गई हर इच्छा पूरी होती है। 
प्रम्बानान, इंडोनेशिया
9वीं शताब्दी में बने प्रम्बानान मंदिर की इंडोनेशिया में काफी मान्यता है और इस देश का ये सबसे बड़ा मंदिर भी है। सिर्फ इतना ही नहीं ये साउथ एशिया का भी सबसे बड़ा मंदिर है। इसे युनेस्को की वर्ल्ड हेरिटेज साइट भी माना गया है। 
बाप्स श्री स्वामीनारायण मंदिर, यूनाटेड स्टेट्स-
भगवान स्वामीनारायण के लिए बनाए गए इस मंदिर को ब्रिटेन का पहला हिन्दू मंदिर माना जाता है। इसको बहुत ही पारंपरिक तरीके से बनाया गया है। मंदिर का का कार्यभार देखने वाली संस्था का नाम बोचासनवासी श्री अक्षर पुरुषोत्तम स्वामीनारायण संस्था है। 
वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर, यूनाइटेड स्टेट्स-
1990 में यूनाटेड स्टेट्स के जार्जिया में ये मंदिर बनवाया गया था। इसको पूरी तरह से दक्षिण भारतीय अंदाज में बनाया गया है। इसमें दो मंदिर हैं एक भगवान वेंकेटेश्वर के लिए तो दूसरा शिव जी के लिए।