Overview: जन्माष्टमी पर कैसे जलाएं बाल गोपाल का झूला
जन्माष्टमी पर वास्तु अनुसार झूला पूर्व या ईशान दिशा में रखें, लकड़ी या पीतल का झूला चुनें, सजावट में तुलसी, फूल व रेशमी वस्त्र का प्रयोग करें। इससे सुख-समृद्धि बढ़ेगी।
Janmashtami 2025 Vastu Tips: कृष्ण जन्माष्टमी का त्योहार हिंदू धर्म में बड़े ही धूमधाम और श्रद्धा के साथ मनाया जाता है। यह पर्व मुख्य रूप से श्रीकृष्ण के जन्मदिवस के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। मान्यता है कि भाद्रपद (भादो) माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था। इसलिए हर साल इस तिथि पर श्रीकृष्ण जन्माष्टमी मनाई जाती है। इस साल जन्माष्टमी का पर्व शनिवार 16 अगस्त 2025 को मनाया जाएगा।
जन्माष्टमी के दिन लोग व्रत रखते हैं और श्रीकृष्ण का पूजन करते हैं। इसी के साथ इस दिन लड्डू गोपाल का झूला भी सजाने की परंपरा है। मान्यता है कि झूला सजाने से घर पर सुख-समृद्धि आती है। लेकिन अगर आप वास्तु शास्त्र के अनुसार कान्हा का झूला सजाएंगे तो यह और भी शुभ रहेगा। आइये जानते हैं जन्माष्टमी पर वास्तु अनुसार कैसे सजाएं बाल गोपाल का झूला।
इस दिशा में रखें झूला

वास्तु शास्त्र में किसी भी वस्तु को रखने या स्थापित करने के लिए दिशा का खास महत्व होता है। शुभ दिशा में रखी गई चीजों से शुभता और सकारात्मकता आती है, तो वहीं गलत दिशा में रखी चीजों से नकारात्मक ऊर्जा संचार बढ़ने लगता है। वास्तु शास्त्र के मुताबिक श्रीकृष्ण का झूला रखने के लिए उत्तर-पूर्व (ईशान कोण) या पूर्व दिशा को अच्छा माना जाता है। इस बात का भी ध्यान रखें कि झूले में लड्डू गोपाल की मूर्ति का मुख पूर्व या उत्तर दिशा की ओर हो। क्योंकि इस यह दिशा देवताओं की मानी जाती है।
झूले का रंग और सामग्री

कान्हा का झूला अगर लकड़ी का निर्मित हो तो यह शुभ होता है। इसी के साथ आप चांदी या पीतल जैसी धातुओं का भी झूला तैयार करा सकते हैं। लेकिन स्टील या लोहे का झूला सजाने से परहेज करें। झूला लगाते समय रंग का भी ध्यान रखें। वास्तु शास्त्र के मुताबिक पीला, सफेद, हल्का नीला या सुनहरे रंग का झूला लगाएं।
इन चीजों से करें सजावट
बाल गोपाल का झूला तैयार करते समय उसकी सजावट भी की जाती है, जिसके लिए कई तरह की सामग्रियों की आवश्यकता होती है। झूले की सजावट के लिए तुलसी, गेंदे का फूल, गुलाब फूल, आम के पत्ते आदि का प्रयोग कर सकते हैं। इसके साथ ही तोरण, रेशमी कपड़े, मोती, मणि आदि से सवाजट कर झूले को सुंदर और भव्य बना सकते हैं।
ऐसे करें कान्हा का श्रृंगार

जन्माष्टमी के लिए कान्हा का श्रृंगार करना बहुत शुभ होती है। जो लोग भक्ति भाव और प्रेमपूर्वक कान्हा को सजाते हैं, कान्हा उनसे प्रसन्न होकर सुख-समृद्धि, सफलता, खुशहाली का आशीर्वाद देते हैं। कान्हा को सजाने के लिए पीताम्बर वस्त्र, मुकुट, मोरपंख, बांसुरी, आभूषण, काजल आदि का इस्तेमाल करें। झूले में रेशमी या मखमल आसन और तकिया रखें।
ऐसे करें पूजा

धार्मिक मान्यता के अनुसार कान्हा का जन्म रात्रि 12 बजे हुआ था। इसलिए 12 के बाद ही जन्माष्टमी की पूजा करने की परंपरा है। शुभ मुहूर्त में आप कान्हा की पूजा करें। कान्हा को पंचामृत से स्नान कराएं, सुंदर, चमकीले व रेशमी वस्त्र पहनाएं, चंदन का तिलक लगाएं, काजल लगाएं, आभूषण पहनाएं और विधि-विधान से पूजा करें। इसके बाद मिश्री-माखन, धनिया, पंजीरी, मौसमी फल आदि का भोग लगाएं। इसके बाद घी के दीपक और कपूर से आरती गाएं।
