CIFF 2025 Delhi Cinema Culture: राजधानी दिल्ली में शुक्रवार को सेलिब्रेटिंग इंडिया फिल्म फेस्टिवल (सीआईएफएफ 2025) का आगाज हुआ। यह पहला मौका था जब दिल्ली में इतने बड़े फिल्म फेस्टिवल की मेज़बानी हुई। भारत के 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर आयोजित इस कार्यक्रम ने अपनी यादगार मौजूदगी दर्ज करा दी है। इस तीन दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन एनसीयूआई ऑडिटोरियम में किया गया। इस दौरान भारत के सिनेमा की गहराई और सांस्कृतिक विविधता को प्रदर्शित किया गया।
उद्घाटन समारोह में दिल्ली के कैबिनेट मंत्री कपिल मिश्रा, पूर्व केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी, सांसद कल्पना सैनी, राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता फिल्मकार मधुर भंडारकर, सितारे ज़मीन पर के निर्देशक आर.एस. प्रसन्ना, अभिनेता हेमंत पांडे और अभिनेत्री हृषिता भट्ट सहित कई हस्तियां पहुंची। मंच पर दीप प्रज्वलित कर सभी ने कार्यक्रम का आनंद लिया। इस दौरान मंच पर कलाकारों ने विभिन्न राज्यों की संस्कृति को दर्शाता हुए भव्य नृत्य पेश किया गया।
फिल्में संस्कृति को दुनिया तक पहुंचाने का सशक्त माध्यम

भारत में बढ़ते हुए कोरियाई कल्चर के बीच फेस्टिवल को संबोधित करते हुए कपिल मिश्रा ने “सीआईएफएफ सिर्फ फिल्मों का उत्सव नहीं, बल्कि भारत की सांस्कृतिक और भाषाई विविधता का उत्सव है। यहां दिखाई जाने वाली हर फ्रेम हमारे बदलते राष्ट्र की कहानी कहती है। भारत की अपनी समृद्ध संस्कृति है और आज के बदलते दौर में फिल्में इसे दुनिया तक पहुंचाने का सशक्त माध्यम बन चुकी हैं। उन्होंने कहा कि मेरा प्रस्ताव है कि अगले साल से यह आयोजन दिल्ली सरकार के साथ मिलकर किया जाए, जिसमें माननीय मुख्यमंत्री भी समापन समारोह में शामिल हों।”
इंडिया लॉकडाउन की स्क्रीनिंग

फेस्टिवल के पहले दिन मधुर भंडारकर निर्देशित फिल्म ‘इंडिया लॉकडाउन’ की स्क्रीनिंग हुई। इस फिल्म में कोरोना महामारी के दौरान लगे लॉकडाउन के भावनात्मक और सामाजिक प्रभावों को गहराई से दिखाया गया, जिसको भारत का आम आदमी अपनी जिंदगी से जुड़ा हुआ पाता है। इसके साथ ही मनोज कुमार अभिनीत 1981 की देशभक्ति पर आधारित क्लासिक फिल्म क्रांति को भी दिखाया गया। इसके साथ ही फिल्ममेकर आर.एस. प्रसन्ना के “ब्रेकिंग स्टीरियोटाइप्स एंड मेकिंग कल्चरल इनक्लूसिव फिल्म्स” के साथ फेस्टिवल के पहले दिन का सफल समापन हुआ।
