Amitabh Bachchan 16 Flops
Amitabh Bachchan 16 Flops

Summary : अमिताभ के बुरे दौर की दास्तां जहां उन्हें कोई काम नहीं दे रहा था

अमिताभ को शुरू में ‘शक’ के लिए लीड रोल में लिया गया था और उनके अपोजिट थीं वहीदा रहमान।

Amitabh Bachchan 16 Flops: बॉलीवुड के ‘शहंशाह’ बनने से पहले अमिताभ बच्चन का फिल्मी सफर बहुत संघर्षों से भरा था। अपने करियर की शुरुआत में ही उन्होंने 16 लगातार फ्लॉप फिल्में दीं। इस बुरी शुरुआत और इतनी फिल्में फ्लॉप देने के बाद अमिताभ की पहचान एक असफल अभिनेता के रूप में बन गई थी। उस वक्त प्रोड्यूसर उन्हें कास्ट करने से डरने लगे थे। यह डर इतना था कि उन्हें कई फिल्मों से बाहर तक कर दिया गया। ऐसी ही एक फिल्म थी 1976 की थ्रिलर ‘शक’, जिसमें उन्हें विनोद खन्ना ने रिप्लेस किया।

अरुणा राजे पटिल (फिल्म की निर्देशक और एडिटर) ने हाल ही में बताया कि शुरू में ‘शक’ के लिए अमिताभ बच्चन को लीड रोल में लिया गया था और उनके अपोजिट थीं वहीदा रहमान। लेकिन जब निर्माता एनबी कामत ने देखा कि अमिताभ की फिल्में लगातार फ्लॉप हो रही हैं, तो उन्होंने उन्हें फिल्म से निकालने का फ़ैसला कर लिया।

निर्माता को लगा कि बच्चन को लेकर फिल्म बनाई गई तो शायद वो रिलीज ही न हो पाए, इसलिए टीम को कोई और विकल्प खोजना पड़ा। तब उन्होंने विनोद खन्ना को संपर्क किया, जो उस समय हिट फिल्मों के चलते दर्शकों के बीच लोकप्रिय थे। विनोद खन्ना ने फौरन फिल्म के लिए हां कर दी, और अमिताभ बच्चन को फिल्म से रिप्लेस कर दिया गया… ठीक उस वक्त जब उनकी किस्मत पलटने ही वाली थी।

एक पुराने इंटरव्यू में अभिनेता रज़ा मुराद ने भी अमिताभ बच्चन के संघर्ष के दिनों का जिक्र किया था। उन्होंने बताया कि ‘दुनिया का मेला’ नाम की फिल्म में भी अमिताभ को पहले कास्ट किया गया था, लेकिन बाद में उन्हें हटा कर संजय खान को ले लिया गया। उस समय डिस्ट्रीब्यूटर्स को लगता था कि अमिताभ की मौजूदगी से फिल्म का बिजनेस बिगड़ सकता है। उन्हें दर्शकों को थियेटर तक खींचने वाला चेहरा नहीं माना जाता था।

फिर आया साल 1973, जब फिल्म ‘जंजीर’ ने अमिताभ की किस्मत बदल दी। लेकिन दिलचस्प बात यह है कि जंजीर के लिए भी पहले कई बड़े स्टार्स को अप्रोच किया गया था जैसे दिलीप कुमार, धर्मेन्द्र, देव आनंद और राजकुमार… लेकिन सबने किसी न किसी वजह से फिल्म को ठुकरा दिया। तब जया भादुरी (बाद में जया बच्चन) ने अमिताभ का नाम सुझाया। जब कोई और विकल्प नहीं बचा, तो डायरेक्टर प्रकाश मेहरा ने आखिरकार अमिताभ को मौका दिया। ये मौका ऐसा निकला कि अमिताभ की जिंदगी ही बदल गई। उनकी दमदार एक्टिंग ने उन्हें बना दिया बॉलीवुड का ‘एंग्री यंग मैन’ और दर्शकों का चहेता हीरो।

जंजीर के बाद अमिताभ बच्चन की गाड़ी चल पड़ी। उन्होंने सलीम-जावेद की जोड़ी के साथ मिलकर एक से बढ़कर एक सुपरहिट फिल्में दीं जैसे दीवार, शोले, काला पत्थर, त्रिशूल, मजबूर, शक्ति और डॉन। अमिताभ की सफलता का सबसे बड़ा नुकसान रोमांटिक फिल्मों के हीरो राजेश खन्ना को हुआ। अमिताभ ने एक्शन का दौर शुरू कर दिया था और राजेश की फिल्में लोग नहीं देख रहे थे।

ढाई दशक से पत्रकारिता में हैं। दैनिक भास्कर, नई दुनिया और जागरण में कई वर्षों तक काम किया। हर हफ्ते 'पहले दिन पहले शो' का अगर कोई रिकॉर्ड होता तो शायद इनके नाम होता। 2001 से अभी तक यह क्रम जारी है और विभिन्न प्लेटफॉर्म के लिए फिल्म समीक्षा...