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साधु, संतों, शाही स्नान, जप-तप के साथ ही एक 'साध्वी' इन दिनों महाकुंभ 2025 में काफी सुर्खियां बटोर रही है। इस युवती को महाकुंभ की सबसे खूबसूरत साध्वी का दर्जा दिया जा रहा है। सोशल मीडिया पर इन्हें लेकर नित एक खुलासे और दावे भी हो रहे हैं।
most beautiful sadhvi in kumbh 2025 : उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में महाकुंभ 2025 की शुरुआत हो चुकी है। दुनियाभर से लाखों श्रद्धालु आस्था के इस कुंभ में पुण्य की डुबकी लगाने आए हैं। सोशल मीडिया महाकुंभ की झलकियों से भर चुका है। साधु, संतों, शाही स्नान, जप-तप के साथ ही एक ‘साध्वी’ इन दिनों काफी सुर्खियां बटोर रही है। इस युवती को महाकुंभ की सबसे खूबसूरत साध्वी का दर्जा दिया जा रहा है। सोशल मीडिया पर इन्हें लेकर नित एक खुलासे और दावे भी हो रहे हैं। आइए जानते हैं, आखिर क्या है सच्चाई।
वीडियो वायरल होते ही छा गईं
महाकुंभ की शुरुआत 13 जनवरी को हुई थी। इसी के साथ सोशल मीडिया पर कुंभ के कई वीडियोज वायरल हुए। उन्हीं में से एक वीडियो था कुंभ की सबसे सुंदर साध्वी का। इनका नाम है हर्षा रिछारिया। दरअसल, साध्वी के भेष में नजर आने वाली हर्षा इंस्टाग्राम इंफ्लूएंसर भी हैं। उनके इंस्टाग्राम पर इस वक्त करीब 1.3 मिलियन फॉलोअर्स हैं। महाकुंभ के दौरान वायरल हुए वीडियो के बाद इन फॉलोअर्स में दिनों दिन बढ़ोतरी भी हो रही है। हर्षा खुद सिर्फ 145 लोगों को फॉलो करती हैं। जिनमें से अधिकांश साधु, संत और सन्यासी शामिल हैं। हर्षा ने अभी तक इंस्टाग्राम पर करीब 2,149पोस्ट्स किए हैं। जिन्हें हजारों लाखों व्यूज मिले हैं। इनमें कई महाकुंभ, सनातन धर्म, ट्रैवलिंग पोस्ट हैं तो कई डांस, मूवी रिव्यू आदि के। हालांकि हर्षा से अब कई प्रकार के विवाद भी जुड़ गए हैं। कुछ लोगों का आरोप है कि हर्षा ने सबकुछ पब्लिसिटी पाने के लिए किया है।
यूट्यूब चैनल भी है हर्षा का
इंस्टाग्राम के साथ ही हर्षा का एक यूट्यूब चैनल भी है, जिसमें वे अपने ट्रैवलिंग के साथ ही बाकी अनुभव शेयर करती हैं। इसमें उनके कई वीडियोज सनातन धर्म को लेकर भी हैं। इससे पहले हर्षा टिक टॉक पर भी काफी एक्टिव थीं। उनके यूट्यब चैनल ‘ट्रैवलर हर्षा’ पर भी बड़ी संख्या में सब्सक्राइबर हैं।
और चुन लिया आस्था का मार्ग
विवादों में आने के बाद हर्षा ने खुद कहा है कि वह साध्वी नहीं हैं, लेकिन उन्होंने अपने लिए आस्था की राह चुनी है। हर्षा ने बताया कि वह आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी श्री कैलाशानंद गिरी महाराज की शिष्या हैं। हर्षा ने कहा कि उन्हें अब शोर शराबा पसंद नहीं आता। उन्हें शांति अच्छी लगती है। वह अपना अधिकांश समय भजन सुनने में, ध्यान लगाने में और पूजा करने में बिताती हैं। उन्हें बाहरी दुनिया की कोई जानकारी नहीं है। हर्षा कहती हैं कि वह जब गुरुदेव से मिली तो उन्होंने महाराज से कहा था कि वह सब कुछ छोड़कर गुरु दीक्षा लेना चाहती है और अपना काम छोड़ना चाहती हैं। लेकिन गुरुदेव ने उन्हें समझाया कि काम छोड़ने से कुछ नहीं होता है। हर इंसान को ऊपर वाले ने कुछ जिम्मेदारियां दी हैं। सन्यास लेने से पहले आप अपनी जिम्मेदारियां निभाएं, गृहस्थ जीवन जिएं और उसके बाद सन्यास लें। गुरुदेव की बात मानते हुए ही उन्होंने गुरु दीक्षा नहीं ली। लेकिन उन्होंने अपना शहर बदला और उत्तराखंड के पहाड़ों में आकर बस गईं। आज भी वह अपना ज्यादातर समय ध्यान में ही बिताती हैं। इससे वह अंदर से शांति महसूस करती हैं।
हर्षा ने किया पोस्ट
विवादों में घिरने के बाद हर्षा ने खुद 15 जनवरी को एक पोस्ट किया। जिसमें उन्होंने लिखा,’ मैंने शुरुआत से अभी तक यह बात कहीं नहीं बोली कि मैं साध्वी हूं। मेरे नाम का सहारा लेकर अपनी पब्लिसिटी की रोटियां मत सेकिए। हर-हर महादेव।’ इसी के साथ हर्षा ने महाकुंभ से संबंधित कई अन्य वीडियोज भी अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर शेयर किए हैं। जिसमें वह कुंभ में आए श्रद्धालुओं की सेवा करती नजर आ रही हैं।
