भो, जा, जी उत्तराषाढ़ा‒3
जू, जे, जो, खा अभिजित-4
खा खी, खू, खे, खो श्रवण‒4
गा, गी धनिष्ठा‒2
1 अक्टूबर से 7 अक्टूबर तक
मासारंभ में शारीरिक कष्ट की प्राप्ति होगी। 1, 2 को आसपास में किसी से बोलचाल हो सकती है। मकान मालिक-किराएदार के बीच कहासुनी की स्थिति बनेगी। कोई मोबाइल पर बातचीत करके आपका समय बर्बाद करेगा। भावनात्मक रूप से ठेस पहुंच सकती है। खुद को आर्थिक रूप से सुदृढ़ बनाने के बारे में सोचेंगे परन्तु आर्थिक बजट गड़बड़ाएगा। 3, 4 को ज्ञानवर्धक समय रहेगा। भौतिक व आध्यात्मिक उपलब्धियां प्राप्त होंगी। आपका ध्यान लक्ष्य की ओर होगा। लोग आपकी पीठ थपथपाएंगे। गुम हुई वस्तु पुनः प्राप्त होगी। ससुराल के वैवाहिक कार्यक्रमों की तैयारी में लगे रहेंगे। विद्यार्थी वर्ग पढ़ाई पर ध्यान देंगे। 5, 6, 7 को उत्तम सम्पत्तिदायक दिवस रहेगा। आप अपनों के साथ समय व्यतीत करेंगे। आप किसी त्योहार विशेष की तैयारियों में लगे रहेंगे।
ग्रह स्थिति
मासारंभ में शनि कुम्भ राशि का द्वितीय भाव में, राहु+बृहस्पति+चंद्रमा मेष राशि का चतुर्थ भाव में, शुक्र कर्क राशि का सप्तम भाव में, बुध सिंह राशि का अष्ठम भाव में, सूर्य+मंगल कन्या राशि का नवम भाव में, केतु तुला राशि का दशम भाव में चलायमान है।
मकर राशि की शुभ-अशुभ तारीख़ें
2023 | शुभ तारीख़ें | सावधानी रखने योग्य अशुभ तारीख़ें |
जनवरी | 17, 18, 22, 23, 25, 26 | 1, 2, 10, 11, 12, 20, 28, 29 |
फरवरी | 14, 15, 18, 19, 22, 23 | 6, 7, 8, 16, 17, 24, 25, 26 |
मार्च | 13, 14, 18, 19, 21, 22 | 6, 7, 8, 15, 16, 24, 25 |
अप्रैल | 9, 10, 11, 14, 15, 18, 19 | 2, 3, 4, 12, 20, 21, 29, 30 |
मई | 6, 7, 11, 12, 15, 16 | 1, 9, 10, 11, 18, 19, 27, 28, 29 |
जून | 3, 4, 7, 8, 11, 12, 30 | 5, 6, 14, 15, 23, 24, 25 |
जुलाई | 1, 5, 6, 8, 9, 27, 28, 29 | 3, 11, 12, 20, 21, 22, 30, 31 |
अगस्त | 1, 2, 5, 6, 24, 25, 29, 30 | 7, 8, 16, 17, 18, 26, 27 |
सितम्बर | 1, 2, 20, 21, 25, 26, 28, 29, 30 | 4, 5, 13, 14, 15, 23 |
अक्टूबर | 17, 18, 22, 23, 26, 27 | 1, 2, 10, 11, 12, 20, 21 |
नवम्बर | 14, 15, 18, 19, 20, 22, 23 | 6, 7, 8, 16, 17, 25, 26 |
दिसम्बर | 11, 12, 16, 17, 19, 20, 21 | 4, 5, 6, 14, 22, 23, 31 |
मकर राशि का वार्षिक भविष्यफल

मकर राशि के जातकों के लिए | यह साल कुछ मिला-जुला रहेगा। शनि की साढ़ेसाती अंतिम चरण में है। अतः | यात्राओं का दौर चलेगा। यात्राओं से कुछ उपलब्धियां तो कुछ परेशानियां भी रहेंगी। वर्षारम्भ में शनि आपकी राशि में स्वग्रही हैं। जो कि खूब मेहनत कराएगा। 17 जनवरी से दूसरे स्थान में धन भाव में आ जाएंगे। अतः धन आगम के स्रोत भी प्रबल होंगे। आर्थिक रूप से आप सक्षम व सुदृढ़ स्थिति में रहेंगे। आपकी राशि स्वामी शनि बलवान होने के कारण आत्मबल व मनोबल मजबूत रहेगा। आप इस साल जमकर पैसा कमाएंगे। वहीं खुले दिल से पैसा खर्च भी करेंगे। मित्र व सहयोगी आपको हर प्रकार से सहयोग करेंगे। 22 अप्रैल के पश्चात् चौथे स्थान में गुरु राहु की युति के कारण कोई एक्सीडेंट या दुर्घटना घटित हो सकती है। व्यापार में जल्दबाजी में किये गए निर्णय के परिणाम घातक रह सकते हैं। अतः हर निर्णय बहुत ही सोच-समझकर बहुत विचार करने के बाद लें। जिस काम को एक बार करने की ठान लेते हैं। उसे पूरा करके ही दम लेते हैं। रिश्तेदारों को काम में सहयोग करेंगे। आपकी जान-पहचान व संपर्कों का दायरा बढ़ेगा।
इस वर्ष स्वास्थ्य का पाया भी ठीक ही रहेगा। किसी गंभीर व घातक बीमारी की आशंका नहीं है। खान-पान का विशेष रूप से ध्यान रखें। इस साल पैसा जितनी तेजी से आएगा, उतनी तेजी से खर्चा भी होगा। इस साल चौथे स्थान पर शनि की दृष्टि रहेगी। अतः भूमि, भवन, वाहन आदि की खरीद का योग बनेगा। पिछले काफी समय से जो काम लंबित चल रहा था, वह पूरे होने के योग बन गए हैं। नौकरी में अफसरों व अधिकारियों से सम्बन्ध अच्छे बनेंगे। आप उनके लिए कई काम ऐसे ही कर देंगे।
प्रशंसा करेंगे। आप सहकर्मियों को उनके काम में उनका हाथ बटाएंगे। घन भाव में शनि के प्रभाव से पैसा तीव्रता से आएगा, परन्तु जितनी तीव्रता से आएगा उतनी तीव्रता से खर्चा भी होगा। धन संचय में बाधा है। आमदनी व आय के हालात कोई खास अच्छे नहीं रहेंगे। आप खर्चों में नियंत्रण करके अपने बजट को व्यवस्थित व संतुलित कर सकते हैं। शत्रु व विरोधी सक्रिय तो रहेंगे, परन्तु अनिष्ट कुछ नहीं कर पाएंगे। आपके विरुद्ध कोई गुप्त योजना या षड्यंत्र बना सकते हैं। अनजान व अपरिचित लोगों से आपको सावधान व सतर्क रहना चाहिए। __धन के लेन-देन में बहुत सतर्कता व सावधानी आवश्यक है। अपरिचित व अजनबी व्यक्तियों के साथ रुपयों-पैसों का व्यवहार बिलकुल सावधानी से करें। 17 जून से 4 नवम्बर के मध्य शनि की वक्रगति आपके स्वास्थ्य में हानि का कारण बन सकती है। खान-पान का, पथ्य-अपथ्य का विशेष ध्यान रखें। नौकरी में अपने काम को पूरी संजीदगी व गंभीरता से अंजाम दें। छोटी-से-छोटी लापरवाही आपके लिए नुकसान का, हानि का कारण बन सकती है। वाणी व क्रोध पर नियंत्रण रखें। कोई बड़ा ऑर्डर या बिग डील आपके हाथों से निकल सकती है। कोई आरोप-प्रत्यारोप आप पर लग सकता है। ऐसा कोई काम आपके हाथों से हो सकता है, जो कि कहीं न कहीं बदनामी व अपयश का कारण बनेगा।
मकर राशि–कैसी रहेगी 2023 में आपकी सेहत?
इस वर्ष शारीरिक स्वास्थ्य बढ़िया रहेगा। शारीरिक रूप से एवं मानसिक रूप से आप एकदम फिट एण्ड फाइन रहेंगे। इस वर्ष शनि का प्रभाव साढ़ेसाती का अंतिम चरण में है। अतः यात्राओं में खान-पान का विशेष ध्यान रखें, दिनचर्या को व्यवस्थित रखें। दुर्व्यसन के कारण स्वास्थ्य में नकारात्मकता रह सकती है। दीर्घकालिक बीमारियों में नियमित जांच व परीक्षण करवाते रहें। शनि के वक्र काल में जून से नवम्बर के मध्य आपको अस्पताल के चक्कर काटने पड़ सकते हैं। मौसमी बीमारियां तो रहेंगी ही, परन्तु उनका समाधान व हल भी पास ही रहेगा। वाहन सावधानीपूर्वक चलाएं, किसी एक्सीडेंट आदि के योग हैं। सिरदर्द, सर्दी, जुखाम जैसी बीमारियां फरवरी से जून के मध्य रह सकती हैं। पाचन तंत्र के योग रहेंगे। रोग निवृति हेतु “ॐ हौं जूं सः” इस मंत्र का जप करें।
मकर राशि–व्यापार, व्यवसाय व धनके लिए कैसा रहेगा आने वाला साल 2023 ?
रुपयों-पैसों के मामले में यह समय मिश्रित फलकारी है। कहीं से रुका हुआ या अटका हुआ रुपया प्राप्त होगा। परिश्रम व मेहनत इस साल खूब रहेगी। परन्तु उसके अनुपात में परिणाम व प्रतिफल कमजोर ही रहेंगे। किसी परिचित या जान-पहचान वाले के माध्यम से आपको व्यापार में कोई बड़ा ऑर्डर प्राप्त होगा। लेकिन पेमेंट फंस जाएगा। इस वर्ष अंतिम चरण में शनि की साढ़ेसाती का प्रभाव व्यर्थ की यात्राएं अधिक कराएगा। इस वर्ष व्यापार में विस्तार की योजना बना सकते हैं लेकिन साधनों के अभाव व धनाभाव के कारण योजना कागजों में ही अटक कर रह जाएगी। कार्यरूप में परिणति पर संदेह रहेगा। व्यावसायिक प्रतिद्वंद्वी व प्रतिस्पर्धी आपको इस वर्ष कड़ी चुनौती देंगे। हालांकि स्वराशि में शनि की स्थिति के कारण आप भी हर चुनौती व टक्कर के लिए तैयार रहेंगे। जुनून की तरह काम करेंगे। अतः नुकसान को कम कर जाएंगे। इस वर्ष 17 जून से 4 नवम्बर के मध्य शनि की वक्र स्थिति के कारण कुछ सरकारी परेशानियां हो सकती हैं, इन्कमटैक्स, सेल्स टैक्स, यू.डी. टैक्स, जी.एस.टी. आदि से जुड़ी परेशानी के आसार हैं। संपत्ति संबधी विवाद या बंटवारे सम्बन्धी विवाद का हल आपसी सहमति से तथा मध्यस्थता से निकलेगा। देवगुरु बृहस्पति 22 अप्रैल के बाद चौथे स्थान में आकर भूमि, भवन, वाहन आदि का योग बनाएगा। रियल एस्टेट, ठेकेदारी, भूमि, भवन, वाहन आदि से जुड़े जातकों के लिए समय अनुकूल है। भुगतान के प्रति पूर्ण रूप से आश्वस्त होकर ही किसी को उधार दें। अन्यथा वापस आने की सम्भावना न के बराबर है। आपको इस समय व्यापार पर गंभीरता से ध्यान रखना चाहिए और क्वालिटी से साथ कोई समझौता नहीं करें।
जानिए कैसा रहेगा 2023 में आपका घर-परिवार, संतान व रिश्तेदार के साथ सम्बन्ध ?
पारिवारिक दृष्टि से यह साल अच्छा रहेगा। परिवार के सभी लोग हर परिस्थिति में आपके साथ कंधे से कन्धा मिलाकर खड़े रहेंगे। पुत्र संतान की हरकतें, गतिविधियां व सन्तान के करियर को लेकर मन में चिंता जरूर रहेगी। चंद्रमा वर्षारम्भ में राहु के साथ पीड़ित हुआ है, अतः कभी-कभार जीवन साथी व दाम्पत्य संबंधों में मतभेद रहेगा। आपसी सहमति, मध्यस्थता से सारे विवादों का निराकरण हो जाएगा। बच्चों के करियर भविष्य व विवाह से सम्बंधित कोई योजना बनेगी। संतान पर शिक्षा के लिए अधिक दबाव नहीं बनाएं, अन्यथा संतान डिप्रेशन या अवसाद में आ सकती है। परिवार के सदस्यों से आपसी सूझ-बूझ से सामंजस्य स्थापित कर देंगे। माता-पिता या घर के बड़े-बुजुर्गों का स्वास्थ्य कुछ कमजोर रह सकता है। रिश्तेदारों से मेल-जोल व संवाद कायम होगा। हालांकि रिश्तेदार आपसे ईर्ष्या व द्वेष करेंगे।
जानिए कैसा रहेगा 2023 में आपका विद्याध्ययन, पढ़ाई व करियर ?
इस वर्ष अध्ययन में सफलता मिल जाएगी। एकाग्रचित होकर लक्ष्य प्राप्ति की दिशा में जुट जाएं। मकैनिकल, इंजीनियरिंग व पॉलिटेक्नीक आदि के क्षेत्र में प्रयासरत हैं तो निश्चित ही सफलता मिल जाएगी । इंटरव्यू, साक्षात्कार आदि में सफलता मिल ही जाएगी। प्रतियोगी परीक्षा, विभागीय परीक्षा व नौकरी से संबंधित परीक्षा का परिणाम अच्छा रहेगा। करियर में इस साल बेहतर नौकरी का अवसर सुलभ होगा। इस वर्ष 22 अप्रैल के बाद आप संतान की शिक्षा पर व्यवस्तताओं के चलते इतना ध्यान नहीं दे पाएंगे, जिससे कहीं न कहीं अध्ययन प्रभावित होगा। प्रोफेशनल स्टडीज में प्रयासरत विद्यार्थियों को शुरुआत में ठोस परिणाम मिलेंगे, लेकिन बाद में कहीं न कहीं शिथिलता आ जाएगी।
जानिए कैसा रहेंगे 2023 में आपके प्रेम-प्रसंग व मित्रता सम्बन्घ ?
तुलसीदास जी ने कहा है। धीरज धर्म, मित्र और नारी आपतकाल परखिये चारी। अतः मित्र की परीक्षा करने का समय अब आ गया है। इस साल आपको सही व सच्चे मित्र की पहचान होगी। प्रेमी-प्रेमिका से संबंधों में मधुरता रहेगी। गलतफहमियों का निराकरण होगा। प्रेमी-प्रेमिका दोनों एक दूसरे की भावनाएं और स्थितियां समझकर आचरण करेंगे। जरूरतमंद मित्रों की तरफ आप मदद का हाथ बढ़ाएंगे। मित्रों की संख्या में इजाफा होगा। अवसरवादी मित्रों से थोड़ा संभलकर रहें।
जानिए कैसा रहेंगे 2023 में आपकेवाहन, खर्च व शुभ कार्य?
इस वर्ष वाहन पर बार-बार खर्चा होगा। उसकी रिपेयरिंग व रखरखाव पर हो रहे खर्चों से आप परेशान हो जाएंगे। जहां तक शुभकार्य की बात है इस साल शुभ कार्य, मांगलिक प्रसंग की रूपरेखा बन सकती है। साथ ही वाहन सावधानीपूर्वक चलाएं। खासकर 17 जून से 4 नवम्बर के मध्य किसी अशुभ घटना या एक्सीडेंट आदि के योग बने हुए हैं। आप मकर राशि के जातक हैं तथा मकर राशि के जातकों का हाथ रुपयों-पैसों के मामले में खुला हुआ होता है। इस साल भी खर्च की प्रबलता रहेगी। खर्चों पर नियंत्रण रखें, पैसों का संचय करें, यही पैसा आपके बेवक्त काम आएगा। बुरी आदतों, बुरे लोगों का परित्याग कर दें।
मकर राशि वाले कैसे बचेहानि, कर्ज व अनहोनी से?
इस साल शनि की साढ़ेसाती अंतिम चरण में आरम्भ हो जाएगी। अतः धन हानि की सम्भावना है। कोई बड़ी धनराशी कहीं पर अटक जाएगी। इस वर्ष 4 सितम्बर से 31 दिसम्बर के मध्य रुपया किसी को उधार नहीं दें। अन्यथा पैसा वापस नहीं आ पाएगा। व्यापार में भी अगर उधार देना आवश्यक हो तो धन वापसी सुनिश्चित करके ही दें। 17 जून से 4 नवम्बर के मध्य किसी अनहोनी की आशंका व सम्भावना बनी हुई है। व्यापार में विस्तार के चलते ऋण लेने की नौबत आ सकती है। इस साल कुछ घनिष्ठ लोगों, मित्रों से विछोह साल के उतरार्द्ध में हो सकता है।
जानिए कैसा रहेंगे 2023 मेंआपका यात्रा योग?
इस वर्ष यात्राओं पर जोर रहेगा। कुछ लम्बी दूरी की यात्राएं हो सकती हैं, विदेश यात्रा के योग भी प्रबल हैं। विद्यार्थी इस साल अपने करियर को लेकर कोई यात्रा का कार्यक्रम बना सकते हैं।
कैसे बनाये मेष राशि वाले 2023 को लाभकारी ?
वर्ष की शुभता बढाने के लिए शनिवार को कीड़ी नगरा सींचें। कटैला युक्त शानियंत्र गले में धारण करें। शनिवार को 3 मुट्ठी काले तिल अपने ऊपर से 7 बार उसार कर पक्षियों को चुगाएं। दिव्यांग व अपाहिज व्यक्तियों की सेवा करें।
मकर राशि की चारित्रिक विशेषताएं
मकर राशि का स्वामी शनि है। शनि प्रधान व्यक्ति मेहनत से नहीं घबराते हैं। मकर राशि के जातक व्यावहारिक (प्रैक्टिकल) तथा बलवान होते हैं, परंतु पैरों में कभी-कभार तकलीफ रहती है।
शनि पाप ग्रह है तथा उनका रंग काला है। इस राशि वाले व्यक्ति प्रायः काले, नाक चपटी, पैनी आंखें, शरीर से ये पतले, फुर्तीले तथा कुछ लम्बे कद के होते हैं। यह चर संज्ञक व पृथ्वी तत्त्व प्रधान राशि है। इसका प्राकृतिक भाव उच्च पदाभिलाषी प्रकृति की होती है। क्रोध इनको धीरे-धीरे आता है व शांत भी ये देरी से होते हैं। जहां ये अपना पक्ष कमजोर देखते हैं, वहां पर ये नम्र हो जाते हैं।
मकर राशि में उत्पन्न जातक शान्त तथा उदार प्रवृत्ति के होते हैं तथा अन्य जनों के प्रति उनके मन में प्रेम तथा सहानुभूति का भाव विद्यमान रहता है। इनके मुखमंडल पर विचारशीलता, शांति एवं गंभीरता सदैव बनी रहती है। ये अत्यंत ही कर्मशील एवं परिश्रमी होते हैं। फलतः सांसारिक महत्त्व के कार्यों को सम्पन्न करके उनमें सफलता अर्जित करते हैं। इनमें कार्य करने की क्षमता प्रबल होती है तथा यही इनकी सफलता का रहस्य होता है। समाज एवं देशसेवा के प्रति ये उद्यत रहते हैं। ये साहसी एवं संघर्षशील होते हैं तथापि मन में यदा-कदा उदासीनता के भाव उत्पन्न होते हैं, जिससे सुख-दुःख में समान भाव की अनुभूति करते हैं। परिश्रमी एवं अध्ययनशील होने के कारण ये अनुसंधान विज्ञान या शास्त्रीय विषयों का ज्ञान अर्जित करके एक विद्वान के रूप में सामाजिक पहचान प्राप्त करते हैं। आप स्वस्थ एवं बलशाली पुरुष होंगे। आप में आदर्शवादिता का भाव होगा तथा अपने आदर्शों पर चलने के लिए आप स्वतंत्र होंगे। देश-सेवा का भाव भी आप में विद्यमान रहेगा तथा शत्रु एवं प्रतिद्वन्द्वियों से भी उदारता का व्यवहार करेंगे। फलतः वे भी आपसे प्रभावित होंगे।
आप बुद्धिमत्तापूर्वक अपने कार्यकलापों को सम्पन्न करके धनैश्वर्य, वैभव एवं सुख अर्जित करेंगे। संगीत के प्रति आपकी विशेष रुचि रहेगी तथा इस क्षेत्र में परिश्रमपूर्वक कोई विशिष्ट उपलब्धि भी अर्जित कर सकते हैं। आप श्रेष्ठ कार्यों को करने में रुचि लेंगे तथा एक चतुर व्यक्ति के रूप में जाने जाएंगे। आपकी पुत्र संतति प्रसिद्ध रहेगी तथा उनसे आपको इच्छित सुख एवं सहयोग मिलता रहेगा।
पिता के प्रति आपके मन में पूर्ण सम्मान तथा आदर की भावना होगी तथा उनकी सेवा करने में हमेशा तत्पर रहेंगे। आपकी आर्थिक स्थिति भी सुदृढ़ होगी तथा प्रचुर मात्रा में धन एवं लाभ अर्जित करके एक धनवान के रूप में सामाजिक प्रतिष्ठा प्राप्त करेंगे। आप युवावस्था में संघर्षशील रहेंगे और वृद्धावस्था में सुख एवं शांति प्राप्त करेंगे।
धर्म में आस्था होने के कारण समयानुसार धार्मिक कार्यकलापों को भी सम्पन्न करेंगे। इससे आपको मानसिक शांति प्राप्त होगी। मित्र एवं बंधु वर्ग के आप प्रिय होंगे तथा इनसे आपको पूर्ण लाभ एवं सहयोग प्राप्त होगा। आप किसी बात पर निर्णय सोच-विचार कर धीरे-धीरे लेंगे। आप ऊंची-ऊंची योजनाएं बनाने में सदा तत्पर रहते हैं। कमाते बहुत हैं पर धन पास में टिकता नहीं, हर समय द्रव्य का अभाव महसूस करते हैं। पत्नी व आपके विचारों में असमानताएं, आपके वैवाहिक सुख को कटुतर बनाने में सहायक हैं। आपकी राशि का चिह्न ‘मगरमच्छ’ है। ‘मगरमच्छ के आंसू’ वाली कहावत लोक-प्रसिद्ध है। ऐसे व्यक्ति दीन स्वरूप व दयनीय स्थिति का बोध कराते हैं, लेकिन कपटी होते हैं। ये बहुभोगी व विषयवासना में आसक्त रहने वाले व्यक्ति होते हैं। भोजन के बाद शीघ्र आराम करने की इच्छा रहती है। ये कहते कुछ हैं व करते कुछ हैं।
यदि आपका जन्म मकर राशि के ‘उत्तराषाढ़ा नक्षत्र’ के (भो, जा, जी) चरणों में हुआ है, तो आपका जन्म 6 वर्ष की सूर्य की महादशा में हुआ है। आपकी योनि-नकुल, गण-मनुष्य, वर्ण-क्षत्रिय, हंसक-अग्नि, नाड़ी-अन्त्य, पाया-तांबा है। इस नक्षत्र का द्वितीय चरण का वर्ग-मूषक, अन्य दोनों चरणों का वर्ग-सिंह है। इस नक्षत्र में जन्मा जातक बहुत नम्र, बहुत मित्रों वाला, धार्मिक, कृतज्ञ, भाग्यशाली होता है। उत्तराषाढ़ा सूर्य का नक्षत्र है, जो कि चंद्रमा का मित्र है, इसलिए यह शुभ फल कहा जाता है।
यदि आपका जन्म मकर राशि के ‘श्रवण नक्षत्र’ (जू, जे, जो, खा) में हुआ है, तो आपका जन्म 10 वर्ष की चंद्रमा की महादशा में हुआ है। आपकी योनि-कपि, गण-देव, वर्ण-वैश्य, हंसक-भूमि, नाड़ी-अन्त्य, पाया-तांबा तथा प्रथम तीन चरण का वर्ग-सिंह एवं अन्तिम चरण का वर्ग-बिलाव है। श्रवण नक्षत्र में जन्मे लोग अपने कार्यक्षेत्र में ऊंचा नाम कमाते हैं। परोपकार व धार्मिक कार्यों में धन, समय व श्रम का समुचित उपयोग करेंगे।
यदि आपका जन्म मकर राशि के ‘धनिष्ठा नक्षत्र’ के प्रथम व द्वितीय चरण (गा, गी) में हुआ है, तो आपका जन्म 7 वर्ष की मंगल की महादशा में हुआ है। आपकी योनि-सिंह, गण-राक्षस, हंसक-भूमि, नाड़ी-मध्य, पाया-तांबा एवं वर्ग-बिलाव है। धनिष्ठा नक्षत्र में जन्मा व्यक्ति निडर व निर्भीक होता है। ये संगीत प्रेमी होते हैं और समाज में इनकी प्रतिष्ठा होती है।
मकर राशि वाले व्यक्ति प्रायः एकांतप्रिय व भीड़-भाड़ से दूर रहना पसन्द करते हैं। इनमें स्वार्थ की प्रवृत्ति कुछ विशेष रहने के कारण इनको धार्मिक व राजनैतिक क्षेत्र में सफलताएं कम मिलती हैं। ये अत्यधिक गोरे होंगे या काले। इसी प्रकार या तो ये कट्टर आस्तिक होंगे या फिर एकदम नास्तिक। आपके अनुकूल फलदायक रत्न ‘नीलम’ है।
मकर राशि वालों के लिए उपाय
आपकी राशि का अधिपति शनि है। अतः 7 प्रकार के अनाज व दालों को मिलाकर पक्षियों को चुगाएं। काले कुत्ते को रोटी खिलाना भी आपके लिए लाभप्रद रहेगा। गहरे रंग के कपड़ों का प्रयोग करें। बैंगनी रंग व नीला रंग उपयुक्त रहता है। नीलम, नीली या शनि यंत्र धारण करें। शनिवार का व्रत करें।
मकर राशि की प्रमुख विशेषताएं
- राशि ‒ मकर
- राशि चिह्न ‒ मगरमच्छ
- राशि स्वामी ‒ शनि
- राशि तत्त्व ‒ पृथ्वी तत्त्व
- राशि स्वरूप ‒ चर
- राशि दिशा ‒ दक्षिण
- राशि लिंग व गुण ‒ स्त्री, तमोगुणी
- राशि जाति ‒ वैश्य
- राशि प्रकृति व स्वभाव ‒ सौम्य स्वभाव, वात प्रकृति
- राशि का अंग ‒ घुटना (टखने)
- अनुकूल रत्न ‒ नीलम
- अनुकूल उपरत्न ‒ कटेला
- अनुकूल धातु ‒ लोहा, त्रिलोह
- अनुकूल रंग ‒ नीला, आसमानी, काला
- शुभ दिवस ‒ शनिवार
- अनुकूल देवता ‒ शनिदेव
- व्रत, उपवास ‒ शनिवार
- अनुकूल अंक ‒ 8
- अनुकूल तारीख़ें ‒ 8/17/26
- मित्र राशियां ‒ कुंभ
- शत्रु राशियां ‒ सिंह
- व्यक्तित्व ‒ परोपकारी, दयालु, प्रशासक
- सकारात्मक तथ्य ‒ व्यावहारिक धरातल पर चलने वाला कठोर परिश्रमी, सही सलाह देने वाला
- नकारात्मक तथ्य ‒ सन्देहास्पद प्रवृत्ति, कठिनता से मानने वाला