योगा से आप अपने को हृष्ट पुष्ट व स्वस्थ बना सकती हैं। यदि आप बहुत अधिक काम करती हैं , इस वजह से आप हमेशा स्ट्रैस व प्रेशर में रहती हैं। तो योगा करना आप के लिए बहुत लाभकारी सिद्ध हो सकता है। परंतु आज हम आप को जो योगा आसन बताएंगे वह आप कभी भी कर सकती हैं। देखा गया है कि महिलाएं अपने मासिक धर्म के चलते एक्सरसाइज नहीं कर पाती हैं। लेकिन ये आसन एक दम दर्द रहित होंगे और इन को कर के आप स्वयं को बहुत रिलैक्स महसूस करेंगी।
मासिक धर्म के दौरान उन्हें मूड स्विंग्स की बहुत दिक्कत होती है। उन्हें हर छोटी छोटी बात से चिढ़ महसूस होती है। आप अपने मूड को स्थिर रखने के लिए भी निम्नलिखित आसनों को अपना सकती हैं।
सुप्त बद्ध कोनासन
अधोमुखा विरासन
बद्धा कोनासन
उपाविष्टा कोनासन
अधो मुखा उपाविष्टा कोनासन
जनु सिरसासन
पश्चिमोत्तानासन
सुप्त पदनगुष्ठा
सेतु बंध सर्वांगासन
शवासन
मासिक धर्म के दौरान योगा करने के कुछ टिप्स
- जितनी हो सके उतनी अपनी एनर्जी को बचाएं। खुद को ज्यादा न थकाएं।
- यह ध्यान रखें कि जो योगा आप कर रहीं हैं वह रिस्टोरेटिव टाइप की हो जिस से कि आप के हारमोन्स बैलेंस हो जाएं और आप का मूड ठीक रहे।
- स्ट्रैस व अधिक प्रेशर को जितना ज्यादा हो उतना अवाइड करें। यह समय आप को अपनी अंतर आत्मा से मिलने का है।
- उन आसनों को ही करें जिस से अबडोमिन एरिया की पैल्विक खुल सके(श्रोणि उदर क्षेत्र और नलिकाएं)
- अपने सिर को उसी जगह पर रखें जहां उस को सहारा मिल सके।
- आसनों का लंबे समय तक अभ्यास करें।
इस समय आप हाई इंटेंसिटी या ज्यादा थकाने वाले वर्क आउट जैसे आर्म वर्क आउट, इंटेंस ट्विस्टिंग आदि न करें।
यदि आप इन टिप्स को फालो करती हैं तो आप बड़ी आसानी से अपने मासिक धर्म के समय भी आसन कर सकेंगी। अच्छी बात यह है कि आप योगा से ज्यादा थकेंगी भी नहीं और आप का मूड भी फ्रेश हो जाएगा। आम तौर पर इस समय ज्यादातर महिलाएं गुस्से में व चिड़चिड़े स्वभाव की हो जाती हैं। जो कि स्वाभाविक है। परंतु यदि आप इस समय योग व मेडिटेशन का सहारा लेंगी तो आप खुद को इन समस्याओं से भी मुक्त कर सकेंगी। आप को अपने शरीर के लिए हर रोज़ सुबह 30 से 40 मिनट जरूर निकालने चाहिए जिस से कि यह स्वस्थ रहे और रोगों से मुक्त रह सकें।
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