दादा दादी की कहानी: “शीर्ष 30 दादा-दादी की कहानियों का संग्रह: इस पृष्ठ पर हमने लाए हैं वो कहानियाँ जो हमें दादा-दादी (Dada Dadi Ki Kahani) के आधारित अनगिनत उपदेशों और महत्वपूर्ण सिखों से रूपांतरित करती हैं। हर कहानी अद्वितीय रूप से जीवन के विभिन्न पहलुओं को छूने वाली है और हमें दादा-दादी के संबंधों, […]
Category: दादा दादी की कहानी
बच्चों को जीवन के मूल्य सिखाने में कहानी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। पहले बच्चे दादा—दादी के पास बैठकर ऐसी कहानियां सुनते थे जिनसे उनका मनोरंजन भी होता था और वह नैतिक शिक्षा भी ग्रहण करते थे।
समय बदलने के साथ ही इंटरनेट युग में भी ऐसी कई कहानियां हैं जो बालमन को प्रभावित भी करते हैं और उन्हें शिक्षित भी कर रहे हैं। यहां दी गई हर एक कहानी एक छोटे से बच्चे के अनुसार लिखी गई है। जिसे पढ़कर उनके कोमल मन पर सार्थक प्रभाव पड़े।
दूरदर्शी सुमन – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : प्रिया एक अमीर और सुंदर लड़की थी, उसके पास पहनने के लिए ढेर सारे सुंदर कपड़े थे। लेकिन उसका मन किसी भी कपड़े से बहुत जल्दी भर जाता था। दो-चार बार पहनकर ही वह अपने सुंदर-सुंदर कपड़े भी फेंक देती थी। उसको किसी भी चीज़ की कीमत का अहसास नहीं […]
गीत-परी – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : बहुत पुरानी बात है। एक थी गीत-परी। उसे बहुत-बहुत-बहुत सारे गीत आते थे। उसके गीत बहुत मीठे और सुरीले होते थे। एक रात उसने सभी पक्षियों को नदी के किनारे बुलाया। उसने पक्षियों से कहा, ‘रात को ठीक बारह बजे आप सभी मेरे पास आ जाइए। मैं आपको सुबह होने […]
टेढ़े मुँह की मछली – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : सोल एक मछली होती है, जिसका मुँह थोड़ा टेढ़ा होता है। उसका मुँह ऐसा कैसे हुआ, उसकी भी एक कहानी है। बहुत पुरानी बात है, एक समुद्र में सोल मछली के साथ और भी बहुत सारी मछलियाँ रहती थीं। उनमें हमेशा इस बात पर लड़ाई होती थी कि कौन-सी मछली […]
सादा पेड़ – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : दो दोस्त, रवि और राजीव स्कूल से घर जा रहे थे। धूप बहुत तेज़ थी और गर्मी के दिन थे। दोनों को भूख भी लगी थी और प्यास भी। उन्होंने देखा कि सड़क के किनारे एक मैदान था। उस मैदान में एक बड़ा और घना पेड़ लगा हुआ था। वे […]
समुद्र की बूंदें – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : एक बुद्धिमान चरवाहा था। चरवाहा वह होता है जो गाय-भैंसों, भेड़-बकरियों को चराने ले जाता है और शाम को वापस ले आता है। उस चरवाहे का नाम था यश। यश की बुद्धिमानी की चर्चा राजा तक पहुँची। राजा ने उसे अपने दरबार में बुलाया और कहा, ‘हम तुम्हारी बुद्धिमानी की […]
पौष्टिक भोजन – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : एक गधे को अपनी आवाज़ बिल्कुल भी अच्छी नहीं लगती थी। वह हमेशा सोचा करता था- ‘काश मैं भी मीठी बोली में बोल सकता। काश मैं भी गाना गा सकता।’ एक दिन वह घास के एक मैदान में घास चर रहा था। तभी उसने एक सुरीली आवाज़ सुनी। उसने देखा […]
पक्के दोस्त – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : एक शेर और एक चूहा दोस्त थे। दोनों के घर पास-पास थे। एक दिन शेर को एक शिकार मिला। उसने चूहे को आवाज़ लगाई, ‘आओ दोस्त, मेरे साथ खाना खा लो।’ ‘तुम्हें जो खाना है खाओ, मुझे इससे ज़्यादा ज़रूरी काम करने हैं।’ बाहर से आवाज़ आई। शेर को बड़ा […]
गुलाब के फूल का बेटा – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : एक दुष्ट जादूगरनी थी। उसके घर के सामने एक बड़ा-सा बाग था। बाग में बहुत सारे फूल लगे हुए थे। एक महिला उस घर के आगे से होकर जा रही थी। उसने सुंदर गुलाब देखे। उसने सोचा कि मंदिर में चढ़ाने के लिए एक फूल तोड़ लिया जाय। लेकिन जैसे […]
स्वर्ग में अमीर-गरीब – दादा दादी की कहानी
Dada dadi ki kahani : मैंने कुछ समय पहले एक कहानी तुम्हें सुनाई थी, जिसका नाम था-‘स्वर्ग के स्टूल’। तुम्हें याद होगा, मैंने बताया था कि ‘स्वर्ग’ और ‘नर्क’ क्या हैं। तो एक और कहानी सुनो, स्वर्ग के लोगों के बारे में। स्वर्ग के दरवाज़े पर एक दिन दो व्यक्ति एक साथ आए। एक बहुत […]