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“फ्योंली रौतेली” —गृहलक्ष्मी की कहानियां

यह तब की बात है जब यह माना जाता था कि हिसंक से हिंसक वन्यजीव भी मानव मांस नहीं खाते हैं। उसी जमाने में एक बहुत प्यारी सी लड़की हुई थी -फ्योंली। उसे प्रकृति से बहुत प्रेम था। यूं ही विचरते-विचरते एक दिन वह किसी जंगल में भटक गई। माता-पिता, भाई-बहन सब एक झटके में […]

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