Relationship with Step Mother: माता-पिता हर बच्चे के लिए खास होते हैं। ये दुनिया का सबसे खूबसूरत रिश्ता होता है जिसमें कोई मिलावट नहीं होती। लेकिन किन्ही कारणवश यदि बच्चे के दोनों पेरेंट्स में से किसी एक का साथ छूट जाए तो बच्चे को सौतेली मां या पिता के साथ जीवन यापन करना पड़ता है। फिल्मों में अक्सर सौतेली मां को करकष और जालिम दिखाया जाता है। यही वजह है कि बच्चे मां से मिलने से पहले ही उसकी खराब छवि अपने मन में बना लेते हैं और उन्हें एक्सेप्ट नहीं करते। लेकिन हर व्यक्ति एक समान नहीं होता। हो सकता है कि स्टेपमॉम यानी सौतेली मां सगी मां से अधिक बच्चों को प्यार और अपनापन दे। समय के साथ रिश्तों में बदलाव आ सकता है लेकिन इसके लिए मां और बच्चे दोनों को कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है। यदि आप अपनी सौतेली मां के साथ रिश्ता बेहतर बनाना चाहते हैं तो ये टिप्स आपके काम आ सकती हैं।
इंट्रेस्ट को समझें

किसी व्यक्ति के व्यक्तित्व को समझने के लिए उसके इंट्रेस्ट को समझना महत्वपूर्ण होता है। सौतेली मां की घर-परिवार और नौकरी की जिम्मेदारियों को संभालने के अलावा अपनी कई हॉबीज होंगी। यदि आप उनके साथ अच्छा और बेहतर रिश्ता कायम करना चाहते हैं तो उनकी हॉबीज के बारे में बात करें और उन्हें आगे बढ़ाने में मदद कर सकते हैं।
समस्याएं करें शेयर
सौतेली मां भी बच्चों के साथ सामंजस्य बैठाने की पूरी कोशिश करती है। यही वजह है कि वह अपनी बातें बच्चों से शेयर करना पसंद करती हैं लेकिन कई बार बच्चे सौतेली मां से बातें और समस्याएं बताने में झिझक महसूस करने लगते हैं। ऐसे में समस्याएं बढ़ सकती हैं और रिश्ते में दूरियां आ सकती हैं। इसलिए मां से हर बात शेयर करें। हो सकता है कि उनकी बातें या समझाइश आपके काम आ जाए।
मानें उनकी बात
किसी भी रिश्ते को मजबूत बनाने के लिए जरूरी होता है सम्मान। यदि आप सामने वाले व्यक्ति की बात सुनेंगे या मानेंगे तो रिश्ता गहरा हो सकता है। साथ ही प्यार और अपनापन भी बढ़ सकता है। हो सकता है कि आपको सौतेली मां से बात करने में झिझक महसूस होती हो। इसलिए आप उनसे सामान्य बातें करें और उन्हें मानें। उनकी बात मानने से हो सकता है कि वह भी आपकी भावनाओं की कद्र करें।
हर गतिविधि में करें शामिल

किसी अंजान व्यक्ति के साथ रहना और अपने पिता को शेयर करना किसी भी बच्चे के लिए आसान काम नहीं है। लेकिन यदि आप सौतेली मां के साथ बॉन्ड बनाना चाहते हैं तो उन्हें अपनी हर गतिविधियों में शामिल करें। किचन के काम से लेकर बैड टाइम स्टोरी तक उन्हें अपने साथ रखें। यकीन मानिए कुछ ही दिनों में वह आपको सगी मां के समान प्यार और दुलार करने लगेंगी।
भावनात्मक संबंध बनाएं
सौतेली मां हमेशा खराब नहीं होती, उनके साथ भी भावनात्मक संबंध बनाए जा सकते हैं। कई मामलों में देखा गया है कि बच्चे सौतेली मां को अपनी सगी मां जैसा दर्जा नहीं दे पाते। ऐसे में रिश्ते में दूरियां और दरार आना स्वाभाविक है। इसलिए मां के साथ भावनात्क रिश्ता कायम करें। उन्हें अपने दोस्तों से मिलवाएं, उनके लिए गिफ्ट लाएं या सरप्राइज दें। इससे सौतेली मां और आपके बीच एक गहरा रिश्ता बन पाएगा।
