भारतीय संस्कृति सबसे प्राचीन और श्रेष्ठ परम्पराओं में से एक है, जिसके हर नियम या मान्यता के पीछे कोई न कोई वाजिब वजह छुपी है, अब जैसे नमस्ते करने के प्रचलन को ही देख लीजिए। आज कोरोना जैसे जानलेवा बीमारी से बचने के लिए पश्चिम देश भी नमस्ते करने के चलन को अपना की बात कर रहे हैं, जबकि भारतीय संस्कृति में हमेशा से नमस्कार और प्रणाम के जरिए अभिवादन करने की परम्परा रही है। असल में, नमस्कार करना न सिर्फ आपके संस्कार को प्रदर्शित करता है, बल्कि इससे आपको कई तरह के स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं। आज हम आपको नमस्कार करने के कुछ ऐसे ही स्वास्थ्य लाभ बताने जा रहे हैं। तो चलिए जानते हैं नमस्कार करने के फायदे के बारे में…

ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है

जब हम हाथ जोड़कर नमस्कार करते हैं तो दोनों हाथों पर दबाव पड़ता है, जिससे हृद्य च्रक में सक्रीयता आता है। इससे हृदय यानि की दिल तो मजबूत होता ही है, साथ ही रक्त संचार भी बेहतर होता है और रक्त संचार बेहतर होने से कई स्वास्थ्य समस्याओं में सुधार हो जाता है।

मानसिक शांति और एकाग्रता बढ़ती है

दरअसल, हाथ जोड़कर प्रणाम करने से हाथों की अंगुलियों पर जो दबाव पड़ता है, वो एक तरह से एक्यूप्रेशर का काम करता है, जिसका सीधा असर दिमाग पर पड़ता है। इससे व्यक्ति को मानसिक शांति मिलती है और उसकी एकाग्रता बढ़ती है। ऐसे में नियमित रूप से नमस्कार करने से मानसिक सेहत में भी सुधार होता है और व्यक्ति की याददाश्त तेज होती है। 

मन प्रसन्न रहता है

नमस्कार करने से व्यक्ति का मन भी प्रसन्न रहता है। असल में, नमस्कार करते वक्त दोनो हाथों को जोड़कर सीने पर लगाते हैं, जहां कि अनाहत चक्र होता है और ऐसे में ये चक्र सक्रीय हो जाता है, जिससे मन में स्नेह और प्रेम भाव का संचार होता है। इस तरह नमस्ते करने से मन प्रसन्न रहता है। 
वहीं इसके उलट जब आप किसी का अभिवादन करने के लिए उससे हाथ मिलाते हैं, तो सीधे तौर पर उसके सम्पर्क में आते हैं। ऐसे में किसी तरह के संक्रमण की सम्भावना तो होती ही है, साथ ही हाथों के जरिए उस व्यक्ति की नकारात्मक तरंगे भी आप में प्रवाहित हो सकती हैं। ऐसे में देखा जाए तो हाथ मिलाकर किसी का अभिवादन करने की बजाए दूर से हाथ जोड़कर नमस्कार करना बेहतर होता है।