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खिलती कलियाँ-21 श्रेष्ठ बालमन की कहानियां चंडीगढ़

बड़े से घर के आंगन में दो बच्चियाँ भाग-भाग कर एक-दूसरे को पकड़ती, छुड़वाती फिर पकड़ने का प्रयास करती ऐसे लग रही थीं जैसे किसी बाग में दो तितलियां एक-दूसरे का अनुसरण कर अटखेलियाँ करती नज़र आती हैं। इन दोनों बच्चों में से एक है “मुस्कान” जो कि सात बरस की होगी और दूसरी है […]