पैरंट्स को लगता है कि जर्म्स उनके बच्चों के लिए खराब हैं और इसको लेकर वह बच्चों को जरूरत से ज्यादा स्टर्लाइज करते रहते हैं। एक्सपर्ट्स बताते हैं कि ऐसा करना बच्चों की इम्युनिटी को स्ट्रांग नहीं बनाता है। कुछ जर्म्स बच्चों को स्ट्रांग बनाने के लिए अच्छे भी साबित हो सकते हैं। घर पर नॉर्मल साफ-सफाई तो रखी ही जाती है लेकिन हर बात पर बच्चों के सैनिटाइजर से हाथ साफ करवाना और बात-बात पर उन्हें नहला देना ठीक नहीं है । ज्यादातर बड़ी बीमारियों के लिए बच्चों को वैक्सीन दिया जाता है। लिहाजा उनको थोड़ी-बहुत धूल-मिट्टी और बैक्टीरिया का सामना करने देना चाहिए।
कभी-कभी धूल में खेलने दें
पैरेंट्स बच्चों की हेल्थ के लिए ओवरप्रोटेक्टिव हो जाते हैं इसलिए उन्हें धुल मिटटी में बिलकुल जाने ही नहीं देते हैं। पैरेंट्स को लगता है कि धूल मिटटी से बच्चों में बीमारियां फ़ैल सकती हैं। जबकि कभी -कभी धूल में खेलने से बच्चों का इम्यून सिस्टम स्ट्रांग होता है और बीमारियों से लड़ने की क्षमता डेवलप होती है।
पेट्स से दूर न रखें
कई बार जब घर में बच्चे का जन्म होने वाला होता है या फिर कोई छोटा बच्चा होता है तब लोग अपने घर से पेट्स को हटा देते हैं या कोई नया पालतू जानवर घर में नहीं लाते हैं। पैरेंट्स की लगता है की पेट्स बच्चों में एलर्जी न पैदा कर दें। लेकिन सच्चाई इससे हर कर होती है। जो बच्चे पेट्स के आसपास रहते हैं उनका इम्यून सिस्टम मजबूत होता है और उनको आगे चलकर एलर्जी की समस्या नहीं होती है। शुरुआत में ही जर्म्स से निपटकर बच्चों का इम्यून सिस्टम स्ट्रांग हो जाता है।
