आध्यात्म को कई सारी दिक्कतों का हल माना जाता है। ये वो दवा है, जो मन में बंधी गांठों को बहुत आराम से खोल लेती है। कोरोना वाले लॉकडाउन के इस दौर में यही मन की गांठें खोलने की जरूरत जरा ज्यादा हो गई है। महामारी हमारे आस-पास है अकेले यही बात बहुत परेशान करती है। इसके अलावा पहले से मन अशांत हो तो दिक्कत कुछ ज्यादा ही हो जाती है। आजकल की भागदौड़ की जिंदगी वैसे भी मानसिक तनाव बहुत देती है। अब ऐसे में ये जरूरी है कि मन शांत किया जाए और इसमें आध्यात्म का सहारा लिया जाए। आध्यात्म जो किसी धर्म के नियम मानने नहीं बल्कि खुद को पहचान लेने की कला है। ये वो अनोखा रिश्ता है, जो आप दूसरों और खुद के साथ बनाते हैं। एक तरह से आप जीवन के असल माने समझ जाते हैं। जीवन को हंसीखुशी जीने के लिए आध्यात्म के गुण जान लेना वैसे भी जरूरी हो जाता है। मन शांत रखने की इस बेहद खूबसूरत कला से पहचान बनाने के आसान तरीके चलिए जान लें- 
कैसे पहचाने आपके आध्यात्म को-
  • आपकी आध्यात्म से मुलाकात कैसे होगी? ये सवाल जरूर आपके मन में उठ रहा होगा। आप जरूर जानना चाहती होंगी कि आध्यात्म का डोज लिया कैसे जाए। इसके लिए आपको खुद से कुछ सवाल पूछने होंगे। जैसे-
  • आपके लिए सबसे जरूरी रिश्ते क्या हैं?
  • आपके लिए जिंदगी में सबसे जरूरी क्या है?
  • कौन से लोग आपको साथ होने का अहसास दिलाते हैं?
  • आपको क्या प्रेरित करता है और आपको आशावान भी बनाता है?
  • किस चीज से आपको खुशी मिलती है?
    आध्यात्म वाला जीवन-
    उम्र और अनुभवों के साथ आपके आध्यात्म को लेकर विचार बदल सकते हैं। लेकिन याद रखिए आध्यात्म हमेशा आपकी लाइफ को बेहतर करता है। इसके साथ अपनी अंतरआत्मा से रिश्ता मजबूत रखना बेहद जरूरी हो जाता है। आस-पास के लोगों से आपका व्यवहार कैसा है, ये भी आपके मन की शांति की वजह बन सकते हैं। 

     

रिश्ते कराएंगे आध्यात्म से रूबरू-
रिश्ते भी आध्यात्म से आपका रिश्ता मजबूत करते हैं। इसलिए अपने रिश्तों पर निवेश कीजिए। अपने दोस्तों और परिवार को प्राथमिकता देना इसके लिए जरूरी होगा। उनमें और खुद में अच्छाई देखें। इस दौरान किसी भी तरह से जजमेंटल ना बनें। वो जैसे हैं, उन्हें वैसे ही स्वीकार करना भी अच्छे रिश्ते की निशानी है। 

क्या करना होगा-

  • आध्यात्म का रंग खुद पर चढ़ाने के लिए कुछ टिप्स आजमाए जा सकते हैं, ये आपकी मदद जरूर करेंगे, जैसे-
  • मेडिटेशन या पूजा-अर्चना की जा सकती है। 
  • हर वो कम जिससे आप अपने सारे दुख भूल जाती हैं। 
  • ऐसे किसी दोस्त से बात करें, जो आपको आपके लिए क्या सही है, क्या गलत बता सके। 
  • प्रेरित करने वाली कहानियां पढ़ें। 
  • ऐसे लोग जो पहले भी आध्यात्म का सहारा ले चुके हैं, उनसे उनके अनुभव जानिए।
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