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Summary: महिलाओं की ज़िंदगी बदलने वाले नए साल के आसान संकल्प

नए साल में बड़े रेज़ोल्यूशन नहीं, बल्कि छोटे और निभाए जा सकने वाले संकल्प ही असली बदलाव लाते हैं। ये 7 आसान संकल्प महिलाओं को खुद से जुड़ने, गिल्ट छोड़ने और ज़िंदगी में संतुलन व खुशी लाने में मदद करेंगे।

New Year Resolutions for Women: हर नया साल अपने साथ उम्मीदें लेकर आता है खुद को बेहतर बनाने की, कुछ बदलने की, और थोड़ा खुश रहने की। लेकिन अक्सर हम बड़े-बड़े रेज़ोल्यूशन बना लेते हैं, जो कुछ ही हफ्तों में बोझ लगने लगते हैं। सच यह है कि ज़िंदगी छोटे बदलावों से बदलती है। खासकर महिलाओं की ज़िंदगी, जहाँ जिम्मेदारियाँ कभी खत्म नहीं होतीं। ऐसे में छोटे, सच्चे और निभाए जा सकने वाले संकल्प ही असली बदलाव लाते हैं।

महिलाएँ अक्सर सबका ख्याल रखते-रखते खुद को भूल जाती हैं। पहला और सबसे ज़रूरी संकल्प यही हो सकता है कि इस साल मैं खुद को हमेशा आख़िरी प्राथमिकता नहीं दूँगी। इसका मतलब स्वार्थी होना नहीं, बल्कि खुद की ज़रूरतों को भी उतना ही महत्व देना है जितना दूसरों की ज़रूरतों को।

self love
self love

काम और घर, बच्चों और रिश्तों के बीच महिलाएँ लगातार गिल्ट में जीती हैं कभी कम समय देने का, कभी ज़्यादा बोल देने का। इस साल छोटा-सा संकल्प लें कि हर बात के लिए खुद को दोषी नहीं ठहराएँगी। जो आपने किया, उस वक्त आपने अपनी पूरी समझ से कियाइतना काफ़ी है।

हर रिक्वेस्ट पर हाँ कहना आपकी मजबूरी नहीं है। इस साल तय करें कि जहाँ मन न हो, वहाँ विनम्र लेकिन साफ़ ‘ना’ कहेंगी। बिना लंबी सफ़ाइयों के। यह संकल्प धीरे-धीरे आपको मानसिक आज़ादी देता है।

“फिर कभी”, “बच्चे बड़े हो जाएँ तब”, “थोड़ा समय मिले तब”महिलाओं की खुशी अक्सर भविष्य में टाल दी जाती है। इस साल संकल्प लें कि छोटी-छोटी खुशियाँ आज ही चुनेंगीचाहे वो अपनी पसंद की चाय हो, किताब हो या चुपचाप बैठने का वक्त।

happiness
happiness

हर साल वजन, शेप और उम्र को लेकर खुद से नाराज़ रहना थका देता है। इस साल का संकल्प हो सकता हैअपने शरीर से लड़ने के बजाय उससे दोस्ती करना। उसे हेल्दी रखने की कोशिश करें, पर नफरत नहीं, सम्मान के साथ।

कई बार शांति बनाए रखने के लिए महिलाएँ चुप रहना चुनती हैं। लेकिन अंदर दबी बातें धीरे-धीरे थकान बन जाती हैं। इस साल संकल्प लें कि ज़रूरी बातों पर अपनी राय रखेंगेशांत तरीके से, लेकिन ईमानदारी से।

परफेक्ट माँ, परफेक्ट पत्नी, परफेक्ट बहूइन खांचों में खुद को फिट करने की कोशिश में महिलाएँ खुद को खो देती हैं। इस साल का सबसे खूबसूरत संकल्प हो सकता हैजैसी हूँ, वैसी ही काफी हूँ।

ये सातों संकल्प कोई भारी वादा नहीं हैं, बल्कि रोज़मर्रा की ज़िंदगी में किए जाने वाले छोटे बदलाव हैं। जब महिलाएँ खुद के लिए थोड़ी जगह बनाती हैं, तो उनकी पूरी दुनिया अपने आप संतुलित होने लगती है। नया साल खुद को बदलने का नहीं, खुद को अपनाने का मौका हो सकता है। और वही असली बदलाव की शुरुआत है।

राधिका शर्मा को प्रिंट मीडिया, प्रूफ रीडिंग और अनुवाद कार्यों में 15 वर्षों से अधिक का अनुभव है। हिंदी और अंग्रेज़ी भाषा पर अच्छी पकड़ रखती हैं। लेखन और पेंटिंग में गहरी रुचि है। लाइफस्टाइल, हेल्थ, कुकिंग, धर्म और महिला विषयों पर काम...