Varun dhawan and janhvi kapoor with dogs
Varun dhawan and janhvi kapoor with dogs

Summary: सुप्रीम कोर्ट बनाम स्ट्रे डॉग्स: बॉलीवुड सेलेब्स का शुरू हुआ विरोध

जाह्नवी कपूर, वरुण धवन और कई अन्य सेलेब्रिटी इस आदेश के खिलाफ आवाज उठा चुके हैं, जिनका मानना है कि नसबंदी, टीकाकरण और गोद लेने के अभियान ही सही समाधान हैं, न कि कैद।

Stray Dog Removal Order: दिल्ली-एनसीआर की सड़कों से आवारा कुत्तों को हटाने के सुप्रीम कोर्ट के हालिया आदेश के बाद देशभर में बहस छिड़ गई है। फिल्मी सितारे भी इस फैसले के खिलाफ सामने आ रहे हैं। एक्ट्रेस जाह्नवी कपूर और एक्टर वरुण धवन ने सोशल मीडिया पर इस आदेश को अमानवीय बताते हुए एक ऑनलाइन पेटीशन का समर्थन किया। ये दोनों सेलिब्रिटी खुद पेट पैरेंट्स हैं।

सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है कि दिल्ली-एनसीआर से सभी आवारा कुत्तों को आठ हफ्तों के भीतर पकड़कर डॉग शेल्टर में भेजा जाए। आदेश के अनुसार, नगर निगम और अन्य एजेंसियां मिलकर पर्याप्त शेल्टर होम बनाएंगी। कोर्ट ने कहा कि यह कदम बच्चों और शिशुओं को कुत्तों के हमलों से बचाने के लिए जरूरी है। आदेश का उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।

Stray Dog Removal Order
Janhvi Kapoor Post

जाह्नवी कपूर ने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर एक पेटीशन शेयर की और एक भावुक बयान दिया। उन्होंने लिखा, “वे इसे ‘मेनस’ कहते हैं, हम इसे ‘हार्टबीट’ कहते हैं। आज सुप्रीम कोर्ट कहता है कि हर आवारा कुत्ते को कैद कर दो। न धूप, न आज़ादी, न वो चेहरे जिनसे वो हर सुबह मिलते हैं। ये सिर्फ आवारा कुत्ते नहीं हैं ये वही हैं जो चाय की दुकान के बाहर बिस्किट का इंतजार करते हैं, रात के सन्नाटे में दुकानों की रखवाली करते हैं, और बच्चों का स्कूल से लौटने पर स्वागत करते हैं।”

उन्होंने आगे लिखा कि समस्याएं हैं, जैसे काटना और सुरक्षा चिंताएं, लेकिन समाधान कैद नहीं है। असली समाधान है बड़े स्तर पर नसबंदी कार्यक्रम, नियमित टीकाकरण, कम्युनिटी फीडिंग जोन और गोद लेने के अभियान।

Varun dhawan Status
Varun dhawan Status

एक्टर वरुण धवन, जो लंबे समय से पेट पैरेंट हैं, ने भी इस पेटीशन को अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर शेयर किया। उन्होंने कहा कि एक सभ्य समाज की पहचान यह है कि वह अपने ‘वॉइसलेस’ यानी बोल न सकने वाले जीवों की रक्षा करे।

सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि हम अपने बच्चों की बलि सिर्फ इसलिए नहीं दे सकते कि कुछ लोग खुद को एनिमल लवर्स मानते हैं। उनका तर्क था कि आवारा कुत्तों के हमलों से बचाने के लिए यह कदम आवश्यक है।

इस आदेश के बाद सोशल मीडिया पर दो पक्ष बन गए हैं। एक तरफ वे लोग हैं जो सुरक्षा के लिए इस कदम का समर्थन कर रहे हैं। दूसरी तरफ एनिमल लवर्स हैं, जो इसे अमानवीय मान रहे हैं और इसका विरोध कर रहे हैं।

अब गायिका चिन्मयी और फिल्ममेकर सिद्धार्थ आनंद ने भी इस फैसले पर नाराजगी जताई है। चिन्मयी ने एक्स पर लिखा कि वह इस आदेश को सभी कुत्तों के लिए मौत की सजा मानती हैं। उन्होंने कहा कि भारत में लोग हस्की, लैब और जर्मन शेफर्ड जैसी नस्लों को ब्रीडिंग के बाद छोड़ देते हैं और अब शेल्टर में भी इनका भविष्य सुरक्षित नहीं होगा। भगवान काल भैरव के वाहन होने की बात करते हुए उन्होंने इसे संवेदनहीन कदम बताया।

Social Media Reaction
Social Media Reaction

वहीं, सिद्धार्थ आनंद ने कहा कि अब इंसानियत में कोई दया नहीं बची है। उन्होंने सवाल किया कि शेल्टर में कुत्तों को खाना और पानी कौन देगा, जबकि सड़कों पर कुछ लोग उन्हें खिलाते-पिलाते हैं। सिद्धार्थ ने इसे ‘मौत का फरमान’ और ‘नरसंहार’ करार देते हुए लोगों से पेटीशन शुरू करने और इस कदम को रोकने की अपील की।

Siddharth Anand Post
Siddharth Anand Post

आवारा कुत्तों को लेकर यह बहस अब सिर्फ कानून और व्यवस्था का नहीं, बल्कि संवेदनशीलता और इंसानियत का सवाल बन गई है। आने वाले समय में देखना होगा कि क्या ऐसा समाधान निकलता है जो इंसानों और जानवरों दोनों के लिए सुरक्षित हो।

राधिका शर्मा को प्रिंट मीडिया, प्रूफ रीडिंग और अनुवाद कार्यों में 15 वर्षों से अधिक का अनुभव है। हिंदी और अंग्रेज़ी भाषा पर अच्छी पकड़ रखती हैं। लेखन और पेंटिंग में गहरी रुचि है। लाइफस्टाइल, हेल्थ, कुकिंग, धर्म और महिला विषयों पर काम...