Dasvi Review: बॉलीवुड में अकसर फिल्म अभिनेताओं को आलोचना का शिकार होना पड़ता है। दर्शक आपके काम की अगर सराहना करते हैं तो वहीं आपकी ज़रा सी गलती को वो आलोचनात्मक ढंग से भी सामने लाकर खड़ा कर देते हैं। कलाकारों के जीवन में उतार- चढ़ाव आता ही रहता है किसी फिल्म में उन्हें अभिनय के लिए रातो—रात स्टार बना दिया जाता है तो वहीं किसी फिल्म में उनके किरदार के लिए उन्हें नीचे गिरा दिया जाता है।
अभी हाल ही में आई यामी गौतम की फिल्म दसवीं ने सिनेमा हाल में दस्तक दी थी। फिल्म के आते ही इनके दर्शको ने उनके काम और फिल्म की कहानी की आलोचना शुरु कर दी। आपको बता दूं यामी गौतम ने अपनी नई रिलीज़ फिल्म ‘दसवीं’ में अपने प्रदर्शन की नकारात्मक समीक्षा पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। इस फिल्म में अभिषेक बच्चन और निम्रत कौर भी हैं, यह फिल्म 7 अप्रैल को नेटफ्लिक्स और जियो सिनेमा पर रिलीज़ हुई।
आजकल अपनी बातों को सीधे किसी के भी सामने रखने का एक अच्छा माध्यम ट्विटर है जिसके ज़रिए दर्शक अपनी भावनाओं को सीधा फिल्मी कलाकारों के सामने रखते हैं तो दूसरी ओर फिल्मी कलाकार भी अपनी प्रतिक्रियाएं वही जाहिर करते है। अपने ट्विटर अकाउंट के ज़रिए यामी ने कहा कि उन्हें अपने प्रदर्शन की समीक्षाओं से कोई परेशानी नहीं है लेकिन उन सब में से एक “बेहद अपमानजनक” लगा। इतना ही नहीं उसने नोट किया कि उसने यहां तक पहुंचने के लिए और एक स्व-निर्मित अभिनेता के रूप में कड़ी मेहनत की है कई तरह के उतार चढ़ाव देखें हैं। साथ ही साथ प्रकाशन से भी अनुरोध किया है कि वह फिर से उसकी समीक्षा न करे।
यामी फिल्म कंपेनियन की समीक्षा पर प्रतिक्रिया दे रही थीं। यामी गौतम ने समीक्षा के हिस्से का एक स्क्रीनशॉट साझा किया, जिसमें लिखा था, “यामी गौतम अब हिंदी फिल्मों में मृत प्रेमिका नहीं हैं, लेकिन उनकी जुझारू मुस्कान दोहराई जाने लगी है।” जिस पर यामी ने कहा की मैं इसे पहले कुछ और कहूं तो ये बता दूं कि जब एक जगह पर आपका बार बार अपमान होने लगे और आपको हद से ज्यादा नीचे गिराने लगा जाए तो आपका जवाब देना बेहद ज़रूरी हो जाता है।

एक ट्विटर कॉमेंट की टिप्पणी पर रिएक्शन देते हुए, यामी ने लिखा, “इससे पहले कि मैं कुछ और कहूं, मैं यह कहना चाहूंगी कि मैं आमतौर पर अपनी प्रगति में रचनात्मक आलोचना करती हूं। लेकिन जब एक निश्चित प्लेटफार्म आपको लगातार नीचे खींचने की कोशिश करता है, बार बार आपका कॉन्फिडेंस गिराने लगे, तो मुझे लगा इसके बारे में बात करना जरूरी है। मेरी हाल की फिल्मों और प्रदर्शनों में गुरुवार, बाला, उरी इत्यादि शामिल हैं और फिर भी यह मेरे काम की ‘समीक्षा’ के रूप में योग्य है! यह बेहद अपमानजनक है!”
बात इतने भर से ही बात खत्म नहीं होती है उन्होंने आगे और भी कहा, “किसी को भी और विशेष रूप से मेरे जैसे एक स्व-निर्मित अभिनेता के लिए कुछ भी कहना आसान हैं , जो हर अवसर के साथ बार-बार अपनी योग्यता साबित करने में वर्षों की मेहनत लगती है। यामी की यह बात कुछ प्रतिष्ठित पोर्टलों से सामने आती है। जब से मैंने काम किया है तब से यह समीक्षा दिल दहला देने वाला है। हम में से कई लोगों की तरह एक बार @FilmCompanion को देखें, लेकिन मैं लंबे समय से इसकी तलाश नहीं कर रही हूं , आख़िर में मैं आपसे अनुरोध करती हूं कि अब से मेरे प्रदर्शन की ‘समीक्षा’ न करें। मुझे जिससे थोड़ी सी राहत मिलेगी और शायद ये मेरे लिए कम दर्दनाक होगा।”
जाते जाते आपको बता दूं कि अगर आपने अब तक यह फिल्म न देखी हो तो आपको इस फिल्म की कहानी के बारे में बता दूं कि इस फिल्म दासवी में एक ओर अभिषेक बच्चन ने राजनेता गंगा राम चौधरी की भूमिका निभाई है, जो जेल में बंद हो जाता है। तो वहीं यामी ने एक सख्त और वैध पुलिस वाले ज्योति देसवाल की भूमिका निभाई है, जिसे नए अधीक्षक के रूप में नियुक्त किया गया है, और अभिषेक के चरित्र को उसके द्वारा उसकी कक्षा 10 की परीक्षा पास करने के लिए उकसाता है। निम्रत कौर भी फिल्म में गंगा राम चौधरी की पत्नी बिमला देवी के रूप में अभिनय करती हैं, जो जेल भेजे जाने के बाद आकस्मिक मुख्यमंत्री बन जाती हैं।
