Posted inहिंदी कहानियाँ

बिल्लू-21 श्रेष्ठ बालमन की कहानियां बिहार

“अरे …देखिए जी, बिल्लू ने फिर से कॉपी का पेज फाड़कर दरवाजे के पीछे मरोड़ कर फेंका है। कितना भी समझाओ पर यह नहीं समझता। पढ़ना तो चाहता ही नहीं कॉपी का पेज फाड-फाडकर फेंकता रहता है। पता नहीं क्या होगा इसका! आप तो इसे कुछ कहते नहीं।” बिल्लू की माँ वीणा, जो कमरे में […]

Gift this article