आमतौर पर पैरेंट्स की यही शिकायत होती है कि उनका बच्चा किसी बात को भी पूरी तरह से सुने बिना ही ओवर रियेक्ट करता है। यहाँ तक कि क्लास रूम में भी टीचर की बातों को नज़रअंदाज़ करता है जिसकी वजह से उसका परफॉरमेंस खराब होने लगता है। बच्चे या एक स्टूडेंट की एक्टिव लिसनिंग पॉवर क्लास रूम  के अंदर और बाहर दोनों के लिए आवश्यक कम्युनिकेशन स्किल्स के निर्माण पर एक बड़ा प्रभाव डालती है। एक्टिव लिसनिंग हैबिट किसी बच्चे की अन्य महत्वपूर्ण स्किल्स जैसे प्रॉब्लम सॉल्विंग हैबिट्स , नेतृत्व और टीम वर्क की तरह ही विकास के लिए अति आवश्यक है। यह एक ऐसा कौशल है जिसे हांसिल किया जा सकता है और विकसित किया जा सकता है – लेकिन इसमें समय और धैर्य की आवश्यकता होती है!

एक्टिव लिसनिंग क्या है 

एक्टिव लिसनिंग का मतलब है वक्ता पर पूरा ध्यान देना और भेजे जा रहे पूर्ण संदेश को समझने की कोशिश करना। एक्टिव लिसनर में सुनने के मौखिक और अशाब्दिक लक्षण दिखाई देते हैं। सकारात्मक रूप से डिस्कशन में भाग लेना , याद रखना और पूछताछ करना किसी भी एक्टिव लिसनर के गुण होते हैं। एक्टिव लिसनिंग में  पॉजिटिव कम्युनिकेशन को प्रोत्साहित करना भी शामिल है। इसका मतलब है कि दूसरे व्यक्ति की बात को स्वीकार करना और अपने शब्दों में कही गई बातों को दोहराना।

बच्चों के लिए क्यों जरूरी है एक्टिव  लिसनिंग 

बच्चों का एक्टिव लिसनर होना बहुत जरूरी है। इसके कई फायदे हैं जैसे कक्षा में बेहतर समझ के अलावा, एक्टिव लिसनर बच्चे अच्छे कम्यूनिकेटर होने के साथ प्रॉब्लम सॉल्विंग भी होते हैं। यहां एक्टिव लिसनर होने के फायदे दिए गए हैं –
  • कम गलतफहमी
  • तेजी से काम करने की क्षमता का बढ़ना 
  • कॉन्फिडेंस डेवलप होना 
  • आत्मनिर्भरता बढ़ना 
  • अच्छी प्रोडक्टिविटी 

बच्चों के लिए ऐक्टिव लिसनिंग एक्टिविटीज

स्टोरी टेलिंग एक्टिविटी 

बच्चे को स्टोरी सुनाएं और बीच में  उससे पूछें कि आगे क्या होगा। जब बच्चे से बीच में ऐसे प्रश्न पूछेंगे तो वो कहानी को ध्यान से सुनेगा।

बच्चे के साथ कुकिंग करें 

बच्चे के साथ कुकिंग करें और रेसिपीज़ वीडियो में सुनने के लिए बोलें और बच्चे से बीच-बीच में कुकिंग के स्टेप्स पूछें जिससे वो एक्टिवली सुनेगा और आपकी हेल्प करेगा। 

रूचि के अनुसार बातें करें 

बच्चे से उन चीजों के बारे में बातचीत करें, जिनमें आपका बच्चा दिलचस्पी रखता है। यह आपके बच्चे को एक वास्तविक बातचीत में संलग्न होने का मौका देता है।  बच्चा एक्टिवली इन बातों में इन्वॉल्व तो होता ही है साथ ही उसकी सुनने की क्षमता भी बढ़ती है। 

सिबलिंग से प्रश्न पूछने के लिए लिस्ट बनाएं 

बच्चे के सिबलिंग यानी भाई या बहन से पूछने के लिए अपने बच्चे के साथ प्रश्नों की एक सूची बनाएं । एक व्यक्ति द्वारा उत्तर दिए जाने के बाद, देखें कि दूसरा कितना याद रख सकता है। भूमिकाओं को स्विच करें और देखें कि दूसरा व्यक्ति कितना अच्छा करता है।

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