विद्या की देवी सरस्वती की पूजा का पर्व बसंत पंचमी एक पवित्र हिन्दू त्योहार है। इस दिन विद्या की देवी सरस्वती की पूजा की जाती है। यह पूजा उत्तर प्रदेश, पूर्वी भारत, पश्चिमोत्तर बांग्लादेश, नेपाल और कई राष्ट्रों में बड़े उल्लास से मनायी जाती है। इस दिन स्त्रियां और कुछ धार्मिक पुरुष पीले वस्त्र धारण करते हैं। बसंतऋतु का स्वागत करने के लिए माघ महीने के पांचवे दिन एक बड़ा उत्सव मनाया जाता है जिसमें मां सरस्वती, विष्णु और कामदेव की पूजा होती है, यह बसंत पंचमी का त्योहार कहलाता है।
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नूतन उत्साह का प्रतीक बसंत पंचमी
प्रकृति में बसंत के आगमन की टोह मन में एक नए उल्लास, आशा एवं उत्साह के रूप में प्रकट होती है। अचानक ही लगता है कि मन प्रसन्न एवं प्रफुल्लित हो उठा है। परिवर्तन में भावों की पावन धाराएं बहने लगी हैं और हमारे तन, मन और व्यवहार में सुंदर एवं सुमधुर अभिव्यक्तियां झलकने लगती हैं। कहते हैं, प्रकृति जब मुस्कुराने लगती है, तब उसके अंतर्गत आने वाले सभी जड़- जीव एवं मनुष्यों में मुस्कुराहट फैल जाती है।
