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सूनी अंगना खिले नाही फूल-गृहलक्ष्मी की कहानियां

Hindi Kahaniya: सुबह-सुबह मोबाइल में रिंग हो रहा था। बबलू भैया ने फोन किया था। मेरा दिल एक बार धक से कर गया लेकिन फिर भी मैंने हिम्मत कर फोन उठाया और कहा ” प्रणाम बबलू भैया!, कैसे हैं आप?” ” बिल्कुल ठीक हूँ सुरभि। तुम लोग कैसे हो? विनीत कैसे हैं और अपना बिट्टू..!” […]